- सरसी छंद - शीर्षक "चींटी" ------------------------------------- 1- चींटी हमको यही सिखाती, रहो सदा श्रमशील। कोशिश करने में मत देना, किसी तरह की ढील।। काया है अति लघु लेकिन है, इसमें अद्भुत शक्ति। कर्मशील रहना चींटी से, काश सीख ले व्यक्ति।। 2- यों तो चींटी जैसा कहना, मतलब है कमजोर। किंतु चींटियाँ श्रम करतीं हैं, निशदिन बहुत कठोर।। मिलकर ये करतीं रहतीं हैं, भोजन की ही खोज। कभी नहीं थकतीं रुकतीं यह, मेहनत करतीं रोज।। 3- सदा संगठित होकर रहतीं, चलतीं बना कतार। जीवन में यह नहीं मानतीं, कभी किसी से हार।। कीट पतंगों पर करतीं हैं, चीटीं मिलकर वार। नन्हीं सी चीटी ही देती, हाथी को भी मार।। #हरिओम_श्रीवास्तव# ©Hariom Shrivastava #WallTexture