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White सुभग सा गाँव मेरा है, वहीं मेरा बसेरा

White सुभग  सा   गाँव  मेरा  है, वहीं  मेरा  बसेरा   है।
उठूँ  जब  मैं  प्रभाती  में, निहारे  मग  सवेरा  है।।
नहाऊँ  रोज  गंगा   में, बड़ा आनंद है मिलता है,
चढ़ाऊँ धार नित जल की, चमकता विश्व तारा है।।

©Godambari Negi
  #muktak