RAG-ए-राख-ए-ज़िन्दगी---3 उड़ रहा है राख , फिर कोई तलाश में | राज़ सब दबे हैं , रेत भरी लाश में | कीताबो मे कहानी , अब नही छप रहे | रेत मे लाशे भी , चुप नहीं सो रहे | रेत मे लाशो का , राख सिर्फ उड़ रहा | उड़ उड़ के राख , रेत मे ही गीर रहा | क्या है जो नही मिला ? क्या है जो खो गया ? ज़िन्दगी एक मौत है , बाकी क्या रह गया ? राख भरी ज़िन्दगी का , राख ही कहानी है | राख राख राख है , "राग" की ज़ुबानी है | ---RAG The nazm of RAG #RAG-E-RAAKH--ZINDAGI--3 #yqbaba #yqdidi #yqquotes #yqhindi #yqnazm #yqpoetry