"स्त्री से बनता है एक पुरुष का पूर्ण घर-बार,
स्त्री ही बनती है उसके आने वाले जीवन का आधार।
स्त्री पुरुष के परिवार पर अपना प्यार लुटाती है,
ख़ुद को अर्पण कर पुरुष पर अपना सब कुछ समर्पण कर जाती है।
स्त्री जहाँ अन्नपूर्णा कहलाई जाती है,
वहीं समय आने पर दुर्गा-काली भी बन जाती है।
सब स्वर्ग के ख़्वाब देखते हैं,
स्त्री घर को ही स्वर्ग बना देती है।।" #Poetry#jaimatadi#AnjaliSinghal