प्रभु कल आये थे आप मेरे घर पर मैं सो रह था बेखबर मेरे कौनसे कर्मो का फल था ये मेरे प्रेम सागर मेरे रघुवर आप आये और मैं खड़ा रहा बाहर ©Parasram Arora मेरे रघुवर....