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nishaaj4105
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Nishaaj

मैं एक आईने की तरह हूं खुद के जैसा ही मुझे पाओगे आज नफरत है तो तोड़ दीजिए पर जब संवरना होगा कभी तो फिर मुझे कमरे में सजाओगे

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Nishaaj

कुछ रंगीन जवाबों से 
लिपटा हुआ तार ले आना,
ऐ डाकिये 
तुम अब के आओ तो 
मेरा बिछड़ा यार ले आना.

©Nishaaj
  कुछ रंगीन जवाबों से 
लिपटा हुआ तार ले आना,
ऐ डाकिये तुम अब के आओ तो 
मेरा बिछड़ा यार ले आना.

कुछ रंगीन जवाबों से लिपटा हुआ तार ले आना, ऐ डाकिये तुम अब के आओ तो मेरा बिछड़ा यार ले आना. #कविता

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Nishaaj




कहता है खुदा
कि बता कैसे तेरा दर्द समझूं मैं

हमने कहा ए खुदा
तू इश्क कर, बहुत बार कर

और करके हार जा

©Nishaaj
  


कहता है खुदा
कि बता कैसे तेरा दर्द समझूं मैं

हमने कहा ए खुदा
तू इश्क कर, बहुत बार कर

कहता है खुदा कि बता कैसे तेरा दर्द समझूं मैं हमने कहा ए खुदा तू इश्क कर, बहुत बार कर #शायरी #sadquotes

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Nishaaj




खुश कभी, कभी गुमसुम तो कभी खफा पाया
जिंदगी तुझको हमने हर दफा जुदा पाया

©Nishaaj
  


खुश कभी, कभी गुमसुम तो कभी खफा पाया
जिंदगी तुझको हमने हर दफा जुदा पाया


#tanha

खुश कभी, कभी गुमसुम तो कभी खफा पाया जिंदगी तुझको हमने हर दफा जुदा पाया #tanha #कविता

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Nishaaj

तारों भरी पलकों की,
बरसाई हुई गज़लें
है कौन पिरोऐ जो
बिखराई हुई गज़लें
वो लब हैं कि दो मिसरे
और दोनों बराबर के
ज़ुल्फ़ें कि दिले शायर
पै छायी हुई ग़ज़लें
ये फूल है या शेरों ने
सूरतें पाई हैं
शाखें हैं कि शबनम मे
नहलाई हुई गज़लें
खुद अपनी ही आहट पर
चौंके हों हिरन जैसे
यूँ,राह मे मिलती हैं
घबराई हुई ग़जलें
इन लफ्जों की चादर को
सरकाओ तो देखोगे
ऐहसास के घूँघट मे
शर्माई हुई गज़ले
उस जाने तग़ज्जुल ने
जब भी कहा कुछ कहिये
मैं भूल गया अक्सर
याद आई हुई ग़जलें

©Nishaaj
  तारों भरी पलकों की,
बरसाई हुई गज़लें
है कौन पिरोऐ जो
बिखराई हुई गज़लें
वो लब हैं कि दो मिसरे
और दोनों बराबर के
ज़ुल्फ़ें कि दिले शायर
पै छायी हुई ग़ज़लें

तारों भरी पलकों की, बरसाई हुई गज़लें है कौन पिरोऐ जो बिखराई हुई गज़लें वो लब हैं कि दो मिसरे और दोनों बराबर के ज़ुल्फ़ें कि दिले शायर पै छायी हुई ग़ज़लें #शायरी

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Nishaaj

उस शख्स का गम भी कोई सोचे
जिसे रोता हुआ ना देखा हो किसी ने

©Nishaaj
  
उस शख्स का गम भी कोई सोचे
जिसे रोता हुआ ना देखा हो किसी ने


#walkingalone

उस शख्स का गम भी कोई सोचे जिसे रोता हुआ ना देखा हो किसी ने #walkingalone #शायरी

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Nishaaj

कभी बेवजह के रिश्तों का 
बोझ उठाते हुए इस तरह थक जाते है हम
फिर थककर इस बोझ से भरा हुआ
कुछ पल के लिए सुकून चाहता है मेरा मन

©Nishaaj
  कभी बेवजह के रिश्तों का 
बोझ उठाते हुए इस तरह थक जाते है हम
फिर थककर इस बोझ से भरा हुआ
कुछ पल के लिए सुकून चाहता है मेरा मन

कभी बेवजह के रिश्तों का बोझ उठाते हुए इस तरह थक जाते है हम फिर थककर इस बोझ से भरा हुआ कुछ पल के लिए सुकून चाहता है मेरा मन #शायरी

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Nishaaj

मोहब्बत का मेरे सफर आख़िरी है, 
ये कागज, कलम, ये गजल, आख़िरी है 

मैं फिर ना मिलूंगा कहीं ढूंढ लेना तेरे दर्द का ये असर आख़िरी है

©Nishaaj
  मोहब्बत का मेरे सफर आख़िरी है, ये कागज, कलम ये गजल आख़िरी है मैं फिर ना मिलूंगा कहीं ढूंढ लेना तेरे दर्द का ये असर आख़िरी है…!!


#walkalone

मोहब्बत का मेरे सफर आख़िरी है, ये कागज, कलम ये गजल आख़िरी है मैं फिर ना मिलूंगा कहीं ढूंढ लेना तेरे दर्द का ये असर आख़िरी है…!! #walkalone #शायरी

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Nishaaj

चन्द ख्वाब भी न हुए कि सुबह हो गयी देखो
अभी तो तेरे इश्क मे जिंदगी बरबाद करनी है

©Nishaaj
  चन्द ख्वाब भी न हुए कि सुबह हो गयी देखो
अभी तो तेरे इश्क मे जिंदगी बरबाद करनी है



#bekhudi

चन्द ख्वाब भी न हुए कि सुबह हो गयी देखो अभी तो तेरे इश्क मे जिंदगी बरबाद करनी है #bekhudi #शायरी

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Nishaaj

उसके जुल्फे है या बादल काले

आँखे है या झील
डुबना चाहता है इनमे ये दिल

चेहरा है या कोई खिलता कमल
आ लिख दूँ तुझपे गजल

होंठ या मय के प्याले
कैसे कोई खुद को सँभाले

कमर की ये ढलान  
जैसे किसी बलखाती नदी की मुड़ान

वो सर से पाँब तक है खूबसूरत
जैसे हो कोई संगमरमर की मूरत

उसकी तारीफ की बेइंतहा हद लिख दूँ
आ तू पास मेरे(.....)  
तुझ पर गजल लिख दूँ

©Nishaaj
  उसके जुल्फे है या बादल काले

आँखे है या झील
डुबना चाहता है इनमे ये दिल

चेहरा है या कोई खिलता कमल
आ लिख दूँ तुझपे गजल

उसके जुल्फे है या बादल काले आँखे है या झील डुबना चाहता है इनमे ये दिल चेहरा है या कोई खिलता कमल आ लिख दूँ तुझपे गजल #कविता

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Nishaaj

यूं तो तुमसे बिछड़े हुए मुझको है एक अरसा हुआ
पर तेरे जाने के बाद भी हमने हर रोज
तेरी तस्वीर के आगे हमने है सजदा किया

©Nishaaj
  यूं तो तुमसे बिछड़े हुए मुझको है एक अरसा हुआ
पर तेरे जाने के बाद भी हमने हर रोज
तेरी तस्वीर के आगे हमने है सजदा किया



#doori

यूं तो तुमसे बिछड़े हुए मुझको है एक अरसा हुआ पर तेरे जाने के बाद भी हमने हर रोज तेरी तस्वीर के आगे हमने है सजदा किया #doori #शायरी

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