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mohindersingh1340
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Mohinder singh

poet and panchayat secretary

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Mohinder singh

कुछ लोग पैसे की ख़ातिर इतने ओछेपन में उतरते हैं कि 1000-1500 रुपये तक के लिए भी फोन या संदेशे छोड़ने लगते हैं ,अगर इनके स्वार्थ पूरे न हों हम तो लाखों रूपयों के लिए भी इस हद तक नहीं जाते ।

©Mohinder singh #gaon
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Mohinder singh

पंचायत बननेऔर बिगड़ने के मौसम में

पंचायत बनने और बिगड़ने के मौसम में
अच्छे -अच्छे लोग भी 
एक नहीं हैं ,जबकि -
इन्हें एक होना चाहिए फूलों के गुच्छों की तरह ।

खूशबू तो  बिखेर दें ये !

वहाँ  -बहां ,जहां -जहां बांटी जा रही है 
भीतर की मैल 
और 
मन के कांटों की चूभन,

जिसे कहा जाता है  "पैठ"  ।

और  "पैठ"  घुसपैठ भी होती है 
एक तरह की,

और उसी घुसपैठ में बनी रहती है 
एक तरह के भय और आतंक की शंका भी,

जो कदापि विकास का पर्याय नहीं हो सकती ।

यह पंचायत के बनने और बिगड़ने का मौसम है 
कोई अच्छी जैसी पंचायत तो लाओ ! 
ताकि -
पंच या पंच -परमेश्वर;
सभी, 
बांच सकें न्याय और सत्य के लेख । 

मोहिन्दर सिंह नदेड़ा

©Mohinder singh मोहिन्दर सिंह नदेड़ा 

#coldmornings

मोहिन्दर सिंह नदेड़ा #coldmornings

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Mohinder singh

सड़क की ऊंचाई और उसका उज्जवल भविष्य 

            नाक -नाक की लड़ाई में ही सही 
            सड़क को 
            गर्त से उपर निकाल लें 
            और दे  दें 
            एक सही दिशा 
            ऊंचाई तक ले जाने के लिए ।
       
             
             सड़क ने तय करना है 
             अभी बहुत लंवा सफ़र ,
             उस ने जुड़ना है 
             कच्ची से पक्की हुई उस सड़क से भी 
             जिसका अनुभव ही
             सही मायने में सही ज्ञान  है ।
       
        
             नाक -नाक की इस लड़ाई में 
             यह भी ज़रूरी है कि -
             सड़क को शकुनि की राह में नहीं 
             युधिष्ठिर की राह में ही आगे ले जाया जाये 
             ताकि -
             कायम रहे  सड़क की ऊंचाई 
             और उसका उज्जवल भविष्य ।

©Mohinder singh Mohinder 

#alonesoul

Mohinder #alonesoul

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Mohinder singh

🌹🌹आमंत्रण  🌹🌹
कोरोना महामारी के चलते मास्क एवं सामाजिक दूरी के नियमों को ध्यान में रखते हुए  दिनांक 21/10/2020को रात्रि भोज एवं 22को भगवती दुर्गा मां बाहू ,इष्ट देव विमूनाग एवं लक्ष्मीनरायण (🌹🌹पझारी🌹🌹के विशेष सम्मान में बाहू दुर्गा मंदिर में धाम का आयोजन किया जाना निश्चित है, अत: विनम्रतापूर्वक आप से निवेदन है कि सपरिवार उपस्थित हो कर रात्रि भोज एवं धाम के विशेष अवसर पर भोज का ग्रहण करें 🌹🌹🌹🙏🙏। 
                   निवेदक 
    मोहिन्दर सिंह एवं श्रीमति

©Mohinder singh आमंत्रण 

#ganesha

आमंत्रण #ganesha

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Mohinder singh

🌹🌹आमंत्रण  🌹🌹
कोरोना महामारी के चलते मास्क एवं सामाजिक दूरी के नियमों को ध्यान में रखते हुए  दिनांक 21/10/2020को रात्रि भोज एवं 22को भगवती दुर्गा मां बाहू ,इष्ट देव विमूनाग एवं लक्ष्मीनरायण (🌹🌹पझारी🌹🌹के विशेष सम्मान में बाहू दुर्गा मंदिर में धाम का आयोजन किया जाना निश्चित है, अत: विनम्रतापूर्वक आप से निवेदन है कि सपरिवार उपस्थित हो कर रात्रि भोज एवं धाम के विशेष अवसर पर भोज का ग्रहण करें 🌹🌹🌹🙏🙏। 
                   निवेदक 
    मोहिन्दर सिंह एवं श्रीमति

©Mohinder singh आमंत्रण पत्र 

#ganesha

आमंत्रण पत्र #ganesha

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Mohinder singh

🌹🌹आमंत्रण  🌹🌹
कोरोना महामारी के चलते मास्क एवं सामाजिक दूरी के नियमों को ध्यान में रखते हुए  दिनांक 21/10/2020को रात्रि भोज एवं 22को भगवती दुर्गा मां बाहू ,इष्ट देव विमूनाग एवं लक्ष्मीनरायण (🌹🌹पझारी🌹🌹के विशेष सम्मान में बाहू दुर्गा मंदिर में धाम का आयोजन किया जाना निश्चित है, अत: विनम्रतापूर्वक आप से निवेदन है कि सपरिवार उपस्थित हो कर रात्रि भोज एवं धाम के विशेष अवसर पर भोज का ग्रहण करें 🌹🌹🌹🙏🙏। 
                   निवेदक 
    मोहिन्दर सिंह एवं श्रीमति

©Mohinder singh आमंत्रण पत्र 

#ganesha

आमंत्रण पत्र #ganesha

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Mohinder singh

नहीं उड़ूगा इतना उँचा कि.... 

हाँ  ! मैंने ;

जन्म लिया है 

सच में ;

धरती पर ,

और उस  धरती पर  

जिस धरती पर 

माँ नहीं देख पाई ;

असत्य पर सत्य की जीत  ,

कच्ची और पक्की नौकरी की

एक जैसी परिभाषा ,

मन पसंद की वहू का 

 घर में आना ,

वुरे हालातों में 

जीते -जागते से 

 पिता का 

अपने पास से चलेे जाना ,

जिन सब के होने का बोध था 

माँ को 

अच्छी तरह  ।

मुझे इधर ही बैठना है 

इसी पत्थर पर 

जो मज़बूती दे रहा है 

इस वक्त 

और बता रहा है 

उधर नीले और खोखले आसमान से 

उड़ते हुए जहाज़ का आकार , कि -

कितना छोटा दिख रहा  है ?

अत्यधिक उंचाई में जाने की वजह से ।

मैं बैठ रहा हूँ 

इसी पत्थर पर 

और खींच रहा हूँ लकीर,  

(यानि पत्थर की लकीर ) कि-

नहीं  उडू़ंगा 

मैं इतना उंचा कि- 

किसी को दिखूं 

 जहाज़ की तरह छोटा सा 

 चाहे मेरी वजह से 

कोई भी कितना ही  मुकाम हासिल क्यों न कर ले ।

       मोहिन्दर सिंह नदेड़ा

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Mohinder singh

दीया 

जला सको तो ;
जलाओ,
दीया ;
भीतर का,

जिस से कि -
आदि शक्ति माँ बाहू की डोरियां ,

यूं ही बन्धी रहें साथ  
और 
ऋषि श्रृंग की 
इस पत्थर -प्रतिमा से फुट पड़ें 
प्यार और आशीर्वाद के ,
ये दो शब्द आज -
"दुनिया बचे  "
 मिटे ये प्राकृतिक उत्पात ।
 
जला सको तो ;
जलाओ ,
दीया ;
भीतर का ,
जिससे कि -
शिव की जटाओं से अवतरित ,
वीरभद्र रूप ;
कांगलधिपति मूल  ,
पझारी महाराज बाहू मिटा बैठे ,
कोरोना काल की 
प्रलयंकारी दृष्यता  ।

जला सको तो ;
जलाओ  ,
दीया ;
भीतर का ,
जिससे कि -
प्रकट हो 
वो विभा ,कि -
इष्ट देव की टोह में ;
समस्त ,
दिव्य शक्तियों की छोह में ;
मानव जीते ,
कोरोना हारे  ,
अनैक्य में एक्य का संकल्प लिए 
मैं कहता हूँ 
सत्य दीया भीतर का  ।

    मोहिन्दर सिंह नदेड़ा #roshni
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Mohinder singh

दीया 

जला सको तो ;
जलाओ,
दीया ;
भीतर का,

जिस से कि -
आदि शक्ति माँ बाहू की डोरियां ,

यूं ही बन्धी रहें साथ  
और 
ऋषि श्रृंग की इस पत्थर -प्रतिमा से 
फुट पड़ें 
प्यार और आशीर्वाद के ,
ये दो शब्द आज -
"दुनिया बचे  "
 मिटे ये प्राकृतिक उत्पात ।
 
जला सको तो ;
जलाओ ,
दीया ;
भीतर का ,
जिससे कि -
शिव की जटाओं से अवतरित ,
वीरभद्र रूप ;
कांगलधिपति मूल  ,
पझारी महाराज बाहू मिटा बैठे ,
कोरोना काल की 
प्रलयंकारी दृष्यता  ।

जला सको तो ;
जलाओ  ,
दीया ;
भीतर का ,
जिससे कि -
प्रकट हो 
वो विभा ,कि -
इष्ट देव की टोह में ;
समस्त ,
दिव्य शक्तियों की छोह में ;
मानव जीते ,
कोरोना हारे  ,
अनैक्य में एेक्य का संकल्प लिए  
कहता हूँ मैं 
"सत्य" ,दीया भीतर का  । #alone
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Mohinder singh

दीया 

जला सको तो ;
जलाओ,
दीया ;
भीतर का,

जिस से कि -
आदि शक्ति माँ बाहू की डोरियां ,

यूं ही बन्धी रहें साथ  
और 
ऋषि श्रृंग की 
इस पत्थर -प्रतिमा से फुट पड़ें 
प्यार और आशीर्वाद के ,
ये दो शब्द आज -
"दुनिया बचे  "
 मिटे ये प्राकृतिक उत्पात ।
 
जला सको तो ;
जलाओ ,
दीया ;
भीतर का ,
जिससे कि -
शिव की जटाओं से अवतरित ,
वीरभद्र रूप ;
कांगलधिपति ,
पझारी महाराज बाहू मिटा बैठे ,
कोरोना काल की 
प्रलयंकारी दृष्यता  ।

जला सको तो ;
जलाओ  ,
दीया ;
भीतर का ,
जिससे कि -
प्रकट हो 
वो विभा ,कि -
इष्ट देव की टोह में ;
समस्त ,
दिव्य शक्तियों की छोह में ;
मानव जीते ,
कोरोना हारे  ,
"सत्य" ,दीया भीतर का  । #sunlight
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