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vivekverma0197
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Vivek Verma

a-social nature 😁✌ Insta - v2.Vivek

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Vivek Verma

यूं अंजान बने रहने का रिश्ता खत्म करना है
अब जल्द ही तेरे दिल में घर करना है
दो साथ मेरा फिर ले चलु तुम्हें अपनी दुनिया में
मुझे अभी तय काफी लंबा सफर करना है
                      - विवेक 🌸

©Vivek Verma
  #titliyan
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Vivek Verma

अगर तुझे ख़ुदा पर यकीन न होता तो मैं भी काफ़िर बन जाता
तू बन जाती कोई मंजिल मैं तेरा मुसाफ़िर बन जाता,
तुझको पाने की शायद फिर एक और कोशिश होती
और तुम मगध सी अभेध मैं वापिस जाता सिकंदर बन जाता,
तुम भाव खाती हुई हड़प्पा के दुर्ग जैसी
मैं उसे ढहाने वाला पुरंदर बन जाता,
तुम बन जाती दुर्लभ चीज जो विरले ही मिलती
मैं उसे खोज निकालने वाले सौदागर बन जाता ।
- विवेक 🙂

©Vivek Verma Since  a long Time

Since a long Time #poem

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Vivek Verma

सपनों को हकीकत बनाने के लिए
कुछ ख़्वाब रोज आते है
नींद से जगाने के लिए
  - विवेक ☺️ #solace
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Vivek Verma

सारे जज्बातों को एक साथ लाकर देखना
दिल के हालात उसे बताकर देखना
वो कुछ न बोले तो उसे यूँ ही मत जाने देना
अगर है खामोश तो उसकी आंखों में झांककर देखना

फिर देखना उसकी आँखों में चमक है या नहीं
न हो तो उसे भरोसा दिलाकर देखना
वो रंगहीन दुनिया को तुम्हारी रंगीन कर देगी
अपने दिल में उसके भी ख़्वाब सजाकर देखना

जरूरी नहीं अकेले ही अपनी तमन्नाओं को हकीकत बना लो
उसे भी साथ लेना फिर खुद को आजमा कर देखना
जब मिल जाये मंजिल तो रास्ते मत बदल लेना
अपने नाम का हार उसके गले में पहनाकर देखना
            - विवेक 🙃 In my view.. It seems the complete phase of a ideal youth life 😇

In my view.. It seems the complete phase of a ideal youth life 😇 #poem

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Vivek Verma

वो मेरा रोना•वो मेरा हँसना
वो उनकी उँगली पकड़कर चलना
वो बिखरी बिखरी सी कहानियाँ
वो सब मेरे पिता की निशानियां |
वो हर समय•एक का सिक्का मांगना
वो डर के मारे सुबह जल्दी जागना
वो प्यार से सर को सहलाना
वो प्यार से बेटा पुकारना |
बाजार जाने के लिए उन्हें ढूंढ कर लाना
खाने के लिए बहुत कुछ मंगाना
आंखों से हमें अपनी ओझल न होने देना
लेकिन मुझे याद है उनका अकस्मात जाना |
मुझे याद है उनकी हर एक बातें
मुझे याद है वो रोती हुई रातें
मुझे याद है अपनी हर एक नादानियाँ
मुझे याद है मेरे पिता,
उनसे मिले आदर्श और हर एक निशानियां |
                - V V Nothing to say

Nothing to say

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Vivek Verma

मैं एक फूल था
तुम्हारी ही तरह
तेरी ओर झुका,
तो झुकता चला गया
फिर आयी आंधी एक दिन
और उड़ा ले गयी मुझे
किसी तिनके की तरह
वापिस जब आया
तो कोई और खड़ा था तेरे साथ
याद नहीं था तुम्हें मेरा होना न होना
ध्यान नहीं थी तुम्हें मेरी एक भी बातें
मैं बस अवाक्
अचरज भरा खड़ा हुआ
बादलों को निहार रहा था
कि कहीं से आये फिर कोई आंधी
और बिखरा दे मुझे, पूरी तरह
और में मुक्त हो जाऊं 
सर्वथा अपनी देह से
मिल जाऊं जमीं में
मिट्टी की तरह
   -विवेक Hindi version # I was a flower

Hindi version # I was a flower

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Vivek Verma

I was a flower
 the same as you
 Leaned towards you
 So bending over
 Then came the storm one day
 Blew me away
 Like a straw .
 It took time to come back
 When i came 
 So someone stood with you
 You didn't remember me being yours
 You didn't care even one of my things
 I am just speechless
 Astonished
 Staring at the clouds nd thinking
 Again a storm comes from somewhere
 And scattered me completely
 And i get free
 By all means
 Merge in the land
 SAme as soil
   - Vivek #feather
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Vivek Verma

पड़ता होगा उनका साया जब कभी फूलों पर
वो फूल भी तब इतराते होंगे
घबराते होंगे शरमाते होंगे
फिर थोड़ा मुस्कुराते होंगे ।
चाँदनी रात में निगाहें, जब चाँद जाती होंगी
वो चाँद भी तब लरजाता होगा
देखकर जमीं पर खुद के अक्श को
वो वहीं पर ठहर जाता होगा ।
कहीं जब उन्हें कोई किस्सा सुनाता होगा
हमारा किस्सा भी उन्हें ध्यान आता होगा
मन ही मन में कुछ तो सोचतें होंगे
आईने में हमारा चेहरा दिख जाता होगा ।
                 - विवेक ✍️ 🏳️

🏳️

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Vivek Verma

सिर्फ तू ही नहीं , तुझे पाने की आरजू भी 
लगती थी बेरहम अँधेरे में रोशनी की तरह
मेरी ज़िंदगी में अब तू न सही 
लेकिन इतना तो ऐतबार कर
हमसे यूं नज़रें न चुरा अजनबी की तरह
                 - विवेक 💐

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Vivek Verma

समय जैसा अब है पहले वैसा नहीं था
तुझसे मिलने के पहले मैं ऐसा नहीं था
हमें तुझसे इस कदर प्यार हो जाएगा
ऐसा तो हमने पहले सोचा नहीं था
दिल में जैसे तेरी आहत सी आती हो
दिल में इतना शोर पहले तो नहीं था
इस तरह से लिखना मैं एक गुनाह मानता हूँ
वर्ना पहले तो मेरा ऐसा तरीका नहीं था 
                       - विवेक 🌸

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