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Trilok

mahavir jayanti #कविता

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Ranu

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Ravi Kumar (AB369)

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Happy Mahavir jayanti #समाज

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Prince Kundiyal

#MahavirJayanti Happy Mahavir Jayanti

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Archana Singh

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Shikhar

#MahavirJayanti happy mahavir jayanti

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Namo Jain

Happy Mahavir jayanti Jai Jinendra #कविता

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त्रिशला के नंदन के चरणों में प्यार भरा वंदन है मेरा, 
14 सपन देखे त्रिशला मईया ने जब जन्म हुआ तेरा,
कुंडलपुर नगरी में जन्म हुआ तीर्थकरो में पूरी दुनिया ने जपा नाम तेरा, 
प्रभु तुम दयालुता और  सहनशीलता के प्रतीकाष्ठा की तुम मूरत हो, 
आज के वर्तमान को वर्धमान की तुम जरूरत हो,
 इस दुनिया से हिंसा, पाप, सुधर्म, को मिटाना था प्रभु इसलिए तुम्हें धरती पर आना था,
इस राजा और रंक के बीच का भेद मिटाना था और इसलिए प्रभु को सब छोड़कर जंगल में जाना था,
कही लड़ते राजा राज पाठ के लिए, 
कहते वो की हिंसा पाप से राज जीते जाते है , 
और एक तरफ प्रभु हमरे जिन्होंने राज कुल में जन्म लिया राज पाठ को ठुकराया था,
प्राणियों के कल्याण के लिए वैराग्य को अपना जीवन बनाया था,
प्रभु ने जैन धर्म के गौरव को बढ़ाया था ,
दिगम्बर रूपी नग्न अवस्था को अपनाया था, 
संसार ने भी देखा था कैसे बटक रहे तीर्थकर खुद तीरथ की तलाश में कहा खो गए वो आज के अंधकार में, 
घनघोर जंगल था बहुत मगर ना डग- मंगाए उद्धार, 
फिर प्रभु ने दिया ये सात सूत्र का धार :- अन्हिंसा, सत्य, अचौर्य,ब्रहाचर्य, अपरिग्रह, तप, संयम, और ज्ञान,
करलो जीवन में प्रभु के पद चिन्हों को उत्तार ,
जभी होगा तुम्हरा आत्म कल्याण । Happy Mahavir jayanti Jai Jinendra

vidya jain

mahavir jayanti special poem ✍️❤️

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वैशाली के कुंडलपुर को तूने पावन किया,
सौभाग्य उन '१४ स्वप्नों' का,तेरे आगमन का जिसने संकेत दिया,
वो' मिट्ठी' भाग्यवान हुई,तेरे चरणों को जिसने स्पर्श किया,
वो 'वक्त' भी खुदको धन्य समझें,जिसमें महावीर ने जन्म लिया।

सभी सुख आंगन उनके, ईश्वर ने बरसाया,
फिर क्यों महलों का सुख छोड़, वन में जीवन बिताया,
'पेड़ पौधे' भी थे हैरान,पर  साथ खूब निभाया,
क्या थी उनकी तलाश,जिसने वर्धमान उन्हें बनाया।

जीवन की ठोकर खाते,पग पग साहा अपमान,
क्षमा और धर्य से उनके , पिग्ले कितने हैवान।
वो 'keel' का हृदय भी कांपा था,जिससे गायल हुए महावीर के कान,
वो 'sal' वृक्ष भी समृद्ध हुआ,जहा मिला उन्हें केवल ज्ञान।
फिर,
अहिंसा को दिलाई  पहचान,
क्षमा बना सर्व श्रेष्ठ दान,
अन्धकार ने गुटने टेके,झुका ये अज्ञान🙏
तो चलो गीतों के संग आज करे उनके गुणगान😊

-vidyajain mahavir jayanti special poem ✍️❤️

Mahaveer

Mahavir

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