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Shivji Sharma
White मन खराब हो तो शब्द खराब न बोले क्योकि बाद मे मन अच्छा हो सकता है लेकिन शब्द नही... इसी लिये सोच समझ कर बोले 🙏🏻 💯 ©Shivji Sharma कृपया करके सोच समझ कर ही बोले..🙏🏻🙏🏻
Anjali Singhal
मिली
ये जो Good night बोले बिना सो जाते हो ना तुम्हें रात भर मच्छर काटें और ओढ़ने को चद्दर भी ना मिले Light चली जाए और Inverter से पंखा भी ना चले...🤭🤭 ©मिली Good night बिना बोले सोने की कुछ ऐसे सजा मिले😂😂 मच्छरदानी, mosquito repellents, Odomas कुछ भी ना मिले 🤭🤭 #funnyquote #nojohindi #Nojoto #ra
!! Akash Maurya!!
कुमार_दुष्यन्त
White HAPPY MOTHER'S DAY मेरी राहों के सारे कांटे चुन लेती है मां ही है जो बिन बोले सब सुन लेती है ©कुमार_दुष्यन्त #mothers_day HAPPY MOTHER'S DAY मेरी राहों के सारे कांटे चुन लेती है मां ही है जो बिन बोले सब सुन लेती है....! #कुमार_दुष्यन्त #motherDay
meenakshi kanwar
भगवान श्री कृष्ण कहते है, कोई कुछ भी बोले स्वयं को शांत रखो, धूप कितनी ही तेज हो समुद्र सुखा नहीं करते ! ©meenakshi kanwar भगवान श्री कृष्ण कहते है, कोई कुछ भी बोले स्वयं को शांत रखो, धूप कितनी ही तेज हो समुद्र सुखा नहीं करते !
Yogi Sonu
योग का एक फ़ायदा है पति कुछ भी बोले पत्नी कुछ भी बोले फ़र्क ही नही पड़ता योग का यह सबसे मजेदार लाभ है है न मजेदार ©Yogi Sonu योग का एक फ़ायदा है पति कुछ भी बोले पत्नी कुछ भी बोले फ़र्क ही नही पड़ता योग का यह सबसे मजेदार लाभ है है न मजेदार #jokas #teatime
Ankit Singh
" ताज़ी अच्छी रोटी नहीं वो बासी भी खा लेते हैं बिना कुछ बोले ही वो मासूम अपना दर्द बता देते हैं " ©Ankit Singh ताज़ी अच्छी रोटी नहीं वो बासी भी खा लेते हैं बिना कुछ बोले ही वो मासूम अपना दर्द बता देते हैं #animals
MAHENDRA SINGH PRAKHAR
Village Life सन्ध्या छन्द 221 111 22 माया जब भरमाती । पीड़ा तन बढ़ जाती ।। देखो पढ़कर गीता । ये जीवन अब बीता ।। क्या तू अब सँभलेगा । या तू नित भटकेगा ।। साधू कब तक बोले । लोभी मन मत डोले ।। इच्छा जब बढ़ती है । वो तो फिर डसती है ।। हो जीवन फिर बाधा । बोले गिरधर राधा ।। मीठी सुनकर वाणी । दौड़े सब अब प्राणी ।। सोचा नहिँ कुछ आगे । जोड़े मन-मन धागे ।। १४/०३/२०२४ - महेन्द्र सिंह प्रखर ©MAHENDRA SINGH PRAKHAR सन्ध्या छन्द 221 111 22 माया जब भरमाती । पीड़ा तन बढ़ जाती ।। देखो पढ़कर गीता । ये जीवन अब बीता ।। क्या तू अब सँभलेगा । या तू नित भटकेगा