Find the Latest Status about ईश्वर की खोज from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, ईश्वर की खोज.
Parasram Arora
ये ईश्वर आखिर है क्या? और अगर है तो है कहाँ? अगर नहीं है तो तुम किसके पीछे भाग रहे हो? ये प्रश्न तुम्हारे भीतर से जिसने पुछवाया है और जो तुम्हारे भीतर से मुझे देख रहा है उसी को पहचान लो तो शायद किसी दिन तुम्हारी पहचान उससे हो भी जाए अपने चैतन्य केसाथ थोड़ी मित्रता तो साधो कदाचित "उसका " ठिकाना भी तुम्हे दिख जाये क्योंक़ि ये होश की किरण ही उसके निकट पहुंचाने मे सक्षम है y ©Parasram Arora # ईश्वर की खोज.........
vineet choudhary
वास्तव मे दुख ही आपका "सर्वश्रेष्ट" मित्र है,, क्योंकि वो ही आपसे "ईश्वर की खोज कराता है,,, 🙏जय श्री राम 🙏 🌹🌹🌹 ©vineet choudhary दुख औऱ ईश्वर की खोज,,,
Amit Verma
ak_chauhan62
अश्लीलता हमारी अपनी खोज है, ईश्वर की नहीं। अगर ईश्वर की खोज होती तो वह हमें कपड़े पहनाकर पैदा करता। ©Agm motivational Quotes अश्लीलता हमारी अपनी खोज है, ईश्वर की नहीं। अगर ईश्वर की खोज होती तो वह हमें कपड़े पहनाकर पैदा करता।
Shantanu
माना की हर कोई जन्म से सिद्दार्थ नही बन सकता.......लेकिन दृण संकल्प से बुद्ध अवश्य है बन सकता @श्रीमंत #Buddha_purnima #Nojoto #nojotohindi #vichar जैसे कि राजा के रूप मे सिद्धार्थ नव जन्म लिया....लेकिन सत्य और ईश्वर की खोज के चलते वे अटूट
सुसि ग़ाफ़िल
मैं किसी दिन निकल जाऊंगा अपने हिस्से की जमीन के टुकड़ों को अपनी बहनों के नाम करके अनंत यात्रा पर पहाड़ की चोटी से समुंदर के तल तक उस वक्त चाहिए होगी मुझे सिर्फ किताबों की थैली और मैं पीछे मुड़कर नहीं देखूंगा .... और हर कदम पर छाप होगी .... "ईश्वर की खोज सत्य की खोज" | मैं किसी दिन निकल जाऊंगा अपने हिस्से की जमीन के टुकड़ों को अपनी बहनों के नाम करके अनंत यात्रा पर पहाड़ की चोटी से समुंदर के तल तक उस वक्त चा
Kajori Parial
ईश्वर ईश्वर का नाम दूजा प्रकृति है, उसकी हर सृष्टि है। बात यह सादी सी समझ जाए, उसकी सृष्टि को योग्य सम्मान करें, तब शायद ईश्वर की होगी हम्हे समझ पूरी। -- कविता अनुशीर्षक मे पड़े ईश्वर ' ईश्वर ', दुर्भाग्यवश हमारी कमजोरी है, ईश्वर का दूसरा नाम आज बस भ्रम है। ऐसा भ्रम, जो भुला देता हमहें क्या सत्य है। सत्य क्या है? म
Amar Anand
-परम सत्य योगपथ- आत्मज्ञान प्रथम भाग -1 धर्म क्या है ? मानव जीवन का मूल उद्देश्य क्या है ? आत्मिक चिंतन नीचे कैप्शन में... -Amar Bairagi हमलोग समाज में प्रतिदिन रामायण , गीता , महाभारत आदि धार्मिक ग्रंथ पढ़ते हैं बढ़े बूढ़ों को एक एक कहानी हर छोटी से छोटी स्टेप मालूम है कहने क