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VADRA KRISHNA
పుస్తకము:- ********* పుస్తకం మంచి నేస్తం. ఆలోచించే వారు,ఆలోచింపజేసే వారు-ఈ రెండు రకాల రచయితలే మహానుభావులు. కాలక్షేపానికి పనికొచ్చే పుస్తకాలు, సర్వకాలాలకు పనికొచ్చేవి మరికొన్ని పుస్తకాలు. నీతి పుస్తకాలు,అవినీతి పుస్తకాలు ఏమీలేవు. ఉన్నదల్లా అద్భుతంగా రాసిన పుస్తకాలు,అధ్వానంగా రాసిన పుస్తకాలు. ©VADRA KRISHNA *tupper mark, రూక్స్, జాన్ రస్కిన్, ఆస్కార్ వైల్డ్
ANSHIKA PANDIT
anshika Pandey ©ANSHIKA PANDIT #Politics #Nojoto #nojotohindi
Ashok Mangal
पत्रकार भी राजनीत के नशे में डूबे हैं ! गोदी हो या सोशल सब एक सरीखे हैं !! नेताओं के इर्द गिर्द के सिवा इनकी चर्चाएं ही न चलती ! जनहित के आंकड़े पेश करने की कशिश ही न दिखती !! जाति पाती धर्म संप्रदाय के नाम चुनावी आंकलन करते ! किसने किया जनहित में काम इसकी बात ही नहीं करते !! पशुपति इस अस्तबल में है या उसमें, इस पे करते आंकलन ! पशुपति ने जन के लिए क्या किया चर्चा में ही नहीं ये सब !! वरुण किसका टिकट लेगा, कौन उसे देगा या लड़ेगा स्वतंत्र ! इसमें कोई खबर नहीं, इतनी भी इन पत्रकारों में नहीं समझ !! जिस दिन तक वरुण का निर्णय सामने न आये ! जनहिति पत्रकार उससे पहले चर्चा क्यों चलाए ?? प्रकाश जी जब तक स्पष्ट न करे भूमिका ! आखिर क्यूं मीडिया में चले इसकी चर्चा ?? लगता है पत्रकारों की अक्ल का दीवाला ही निकला है ! किसी ने गत दशकों का तुलनात्मक आंकलन न किया है !! ईवीएम का पुरजोर जन विरोध है ! राजनैतिक दलों को इसके विरोध में संकोच है !! लगता है सभी मिल बैठ के ईवीएम सेट कर रहे हैं ! इसीलिए जनता के मुद्दे चर्चाओ में उठ ही न रहे हैं !! जनता 75 साल में भी समृद्ध नहीं हो पाई है ! राजनेताओं के इर्द गिर्द ही सारी समृद्धि छाई है !! है राम... - आवेश हिन्दुस्तानी 21.03.2024 ©Ashok Mangal #AaveshVaani #JanMannKiBaat #Politics #Media
Jaymala Bharkade
Blue Moon फकत माझं नाही तर आपल म्हणून जगता आल पाहिजे थोड स्वतः साठी तर बरच काही इतरांसाठी जगता आल पाहिजे कोण कुठला कोण काय शुल्लक गोष्टीचं अप्रूप नाय थोड तुझ थोड माझ माणुसकी च नातं जपता आल पाहिजे तशी धूसर होत चालली आता ती आपुलकी शिजत आहे घरोघरी लोभ - स्वार्थाची पोटगी कुणाचं स्वार्थ काय ? आणि कुणाचं सार्थक काय साऱ्या स कळत सार तरी थोड अडत काय ? तर विचाराचं घोड लांब पल्ल्याआड ... थोड च का होईना घोडा आणावा पाण्यावर होईल तृप्त जगावे आपल्यासाठी तुझे काय नि मज काय इथ कुणाचं कायच नाय आहे ते साऱ्याच जनतेच तेव्हा नुसता देखावा नको खरच आपल म्हणून जगता आल पाहिजे...!! POLITICS....is for the welfare of society & not for the personal welfare... so people be aware towards & behind the general things which is happening around us...its time to awaking to the nation ! ©Jaymala Bharkade #Politics