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आजाद पंछी pcj
कैसा नशा है तुम्हारी खुमारी का हिस्सा बन बैठा कालाबाजारी का आशियाना था उनका बाज़ार में पर शौक हमे लगा खरीददारी का सुना है चीजें रखना पसन्द है उन्हें मर्ज हमे हो गया दुकानदारी का नींदे उड़ गई जब से देखा है उन्हें कैसा मरीज हो गया हूँ बीमारी का ए खुदा बचा ले मुझे इस इल्लत से कही रोगी ना हो जाऊं महामारी का प्रशान्त जैन रोगी ना हो जाऊं इस महामारी का.... गजल 1 प्रयास
Anil Prasad Sinha 'Madhukar'
विधा: कविता, शीर्षक: अपना-अपना ख्याल कोई यथार्थ पर यकीं करता है तो कोई सपने पर, कोई दूसरे पर यकीं करता है तो कोई अपने पर, कोई किसी से जुदा नहीं सबका यही बस हाल है, नज़र अपनी-अपनी है, अपना-अपना ख्याल है। कोई कर्म पर यकीं करता है तो कोई किस्मत पर, कोई मुफ्त पर यकीं करता है तो कोई मेहनत पर, अपने आप में व्यस्त हैं,कोई करता नहीं सवाल है, नज़र अपनी-अपनी है, अपना-अपना ख्याल है। कोई राम पर यकीं करता है तो कोई रहमान पर, कोई नियति पर यकीं करता है तो कोई ईमान पर, सभी का अपना मियाद है सबका अपना काल है, नज़र अपनी-अपनी है, अपना-अपना ख्याल है। BWP-01 Lv_03 आप सभी का स्वागत 💐 है अनुशीर्षक में ✍️ आप अपनी मर्जी से रचना लिख सकते हैं जैसे कविता,मुक्तक/शायरी,गजल(10 पंक्तियों का ) और कहा
DR. SANJU TRIPATHI
समाज की कुरीतियों और कुप्रथाओं की बेड़ियों को तोड़ने से पहले नारियों को अपनी सोच को आजाद करना होगा। रूढ़िवादी, दकियानूसी मानसिकता को छोड़कर नए विचारों और सोच को बदल कर अपनी सोच का विकास करना होगा। जात-पात के भेदभाव को मिटाकर सब जन के अंतर्मन में हर नर-नारी के मन में समानता के भावों को जगाना होगा। खुद को बांध रखा है खुद की ही बनायी सीमाओं की बेड़ियों में अपने सपनों को उड़ान देने से आसमां में उड़ने से डरती रहती हैं। जब हर नारी आत्मविश्वास के साथ अपने पैरों पर खड़ी होगी, तभी हर नारी अपनी आजादी का जश्न खुलकर मना पाएगी। -"Ek Soch" BWP-01 Lv_03 आप सभी का स्वागत 💐 है अनुशीर्षक में ✍️ आप अपनी मर्जी से रचना लिख सकते हैं जैसे कविता,मुक्तक/शायरी,गजल(10 पंक्तियों का ) और कहा
Anil Prasad Sinha 'Madhukar'
उनके चलने का ढंग तो देखिए जरा, लट उनकी उनसे ही संभाली नहीं जाती। फूल चुरा ले चाहे, उनके मुखड़े की रंगत, अधरों से उनकी कभी लाली नहीं जाती। उनकी देह गंध में, गज़ब का नशा सा है, कि रातरानी घर में पाली नहीं जाती। उनकी नजरों के बीमार हैं कितने लोग, पर उनकी नज़र कभी खाली नहीं जाती। मुस्कुराके जब अपनी पलकें झुकातीं हैं, प्रणय मिलन की बात टाली नहीं जाती। BWP-01 Lv_01 आप सभी का स्वागत 💐 है अनुशीर्षक में ✍️ आप अपनी मर्जी से रचना लिख सकते हैं जैसे कविता,मुक्तक/शायरी,गजल(10 पंक्तियों का ) और कहा
DR. SANJU TRIPATHI
बहती नदियां की धारा के जैसी, हमारी जिंदगी की नैय्या बहती ही जा रही है। रूकती नहीं है किसी के रोकने से, यह निरंतर समय के साथ बढ़ती जा रही हैं। जिंदगी की नैय्या को यूं ही ना बहने देंगे, बनकर खुद ही पतवार नैय्या पार लगाएंगे फसने ना देंगे किसी भी भंवर में इसको, अपनी नैय्या के मांझी हम खुद बन जाएंगे। कभी समय के साथ बहती, रहती कभी डगमगाने लगती, न डरेंगें हौसला बढ़ायेंगें। यकीन है अपने मजबूत हौसलों पर, एक न एक दिन किनारे पर जरूर लगा पाएंगे। राहों की मुश्किलों को भी हम ही हटाएंगें, मानेंगे न हार मुश्किलों से जीत के दिखाएंगे। हो चाहे जिंदगी में जितना घना अंधियारा, जला कर खुद को सूरज बन उजाला करेंगे। हौसलों के साथ नैय्या को आगे ही बढ़ाएंगें, रूकेंगे न अब जीत का परचम न लहराएंगे असफलताओं से ना घबराएंगे न पीछे हटेंगें, निरंतर धैर्य के साथ प्रयास से नाम कमाएंगे। -"Ek Soch" BWP-01 Lv_01 आप सभी का स्वागत 💐 है अनुशीर्षक में ✍️ आप अपनी मर्जी से रचना लिख सकते हैं जैसे कविता,मुक्तक/शायरी,गजल(10 पंक्तियों का ) और कहा
DR. SANJU TRIPATHI
वर्तमान की युवा पीढ़ी बेरोजगारी का असहनीय दंश झेल कर अवसाद ग्रस्त होती जा रही है। बेरोजगारी ने सभी युवाओं का चैन और सुकून छीन कर पैसे-पैसे का मोहताज बना रखा है। रोजगार की तलाश में भटक रहे हैं युवा दर-बदर बड़ी- बड़ी डिग्रियां अपने हाथों में लेकर। नहीं मिल रहे रोजगार युवा लोगों को यहां कहीं रूपये पैसे और जायजाद भी अपनी देकर। बेरोजगारी युवाओं को अनुचित कार्यों के रास्तों पर अब जाने को बेहद मजबूर करने लगी है। बेरोजगारी की मजबूरी कैसे- कैसे नशे का गुलाम बनाकर अब उनका फायदा उठाने लगी है। बेरोजगारी अमीरों को और अमीर तथा गरीबों को और अधिक गरीब और मजबूर बना रही है। बेरोजगारी कभी भेदभाव नहीं करती महिला हो या पुरुष सबको अपना शिकार बना रही है। बेरोजगारी दूर करने के लिए खुद ही अब हमको रोजगार पैदा करने के काबिल बनना होगा। दूसरों को दोष देना छोड़ खुद को आत्मनिर्भर बना लोगों को रोजगार देने के काबिल होना होगा। -"Ek Soch" BWP-01 Lv_02 आप सभी का स्वागत 💐 है अनुशीर्षक में ✍️ आप अपनी मर्जी से रचना लिख सकते हैं जैसे कविता,मुक्तक/शायरी,गजल(10 पंक्तियों का ) और कहा
Anil Prasad Sinha 'Madhukar'
🙏🌷 बहुत सह लिया🌷🙏 तुम्हारी ये गुस्ताख़ी हमने बहुत ही सह लिया, चाहे कुछ भी हो जाए पर अब हम ना सहेंगे। मेरी ख़ामोशी को मेरी कमजोरी ना समझना, तुम जुल्म भी करोगे और हम कुछ ना कहेंगे। गाँधी को जानते हैं तो सुभाष को भी मानते हैं, अहिंसावादी भी हैं, शस्त्र चलाना भी जानते हैं। कोई एक गाल पर मारे तो दूसरी नहीं बढ़ाते हैं, उस हाथ को काटकर दूसरे हाथों में थमाते हैं। कुछ देशद्रोही और गद्दार अपने देश का खाते हैं, नमक हरामी करके वो पड़ोस पुत्र बन जाते हैं। कोरोना से पहले गद्दारों का वैक्सीन ढूँढना होगा, चाहे जैसे भी हो इन गद्दारों का अंत करना होगा। BWP-01 Lv_02 आप सभी का स्वागत 💐 है अनुशीर्षक में ✍️ आप अपनी मर्जी से रचना लिख सकते हैं जैसे कविता,मुक्तक/शायरी,गजल(10 पंक्तियों का ) और कहा
yogesh atmaram ambawale
मैं ए करूँगा,मैं वो करूँगा,एक बार मुझे जीतवा दो, तुम्हारे लिए जो तुम कहो वो मैं करूँगा| भाषण हैं के हर नेता के ज़ुबाँ का, सच कुछ नहीं रहता,सिर्फ ढोंग इनकी बातों का| इनके भी ऊपर कोई रहते हैं,जो इन्हें कठपुतली से नचाते हैं, बताते हैं जो इन्हें ऊपरवाले,वही बात ए हमारे पास दोहराते हैं| जालसाज़ हैं ए सभी सिर्फ़ मतलब के होते हैं, जीत जाए चुनाव एकबार,फ़िर कहाँ किसके होते हैं| सही कहते हैं सभी,नेता ऐसे ही होते हैं समाज के प्रति अपनी जिम्मेदारी सिर्फ भाषण में दिखाते हैं| BWP-01 Lv_02 आप सभी का स्वागत 💐 है अनुशीर्षक में ✍️ आप अपनी मर्जी से रचना लिख सकते हैं जैसे कविता,मुक्तक/शायरी,गजल(10 पंक्तियों का ) और कहा
GULAM MOHMAD
बीते पल वापस ला नहीं सकते, सूखे फूल वापस खिला नहीं सकते, कभी कभी लगता है आप हमें भूल गए, पर दिल कहता है कि आप हमें भुला नही सकते. 💔 😢 ©GULAM MOHMAD गजल गजल #NojotoTurns5