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Mehfuza
White पूछते थे ना कितनी मोहब्बत है हमें तुमसे? लो गीन लो अब इन बारिश की बूँदों मैं! ©Mehfuza #City पूछते थे ना कितनी मोहब्बत है हमें तुमसे? लो गीन लो अब इन बारिश की बूँदों मैं!
Shivkumar
White मेरे इस दिल में आकर तुम ऐसे चुपके से आकर यु उतर जाते हो , मेरी इन सांसों में खुशबु सा बनके तुम यु बिखर जाते हो l तेरे इश्क का वो जादू मुझ पर कुछ यूँ चला है कि, मुझे तुम ही तुम सोते-जागते नज़र मे यु आते हो ll ©Shivkumar #Romantic #romancequotes #romanticshayari #शायरी मेरे इस #दिल में #आकर तुम ऐसे चुपके से आकर यु #उतर जाते हो , मेरी इन #सांसों में #
INDIA CORE NEWS
INDIA CORE NEWS
Ashutosh Mishra
White कभी कभी कुछ सपने ,,,,अपने हो जाते हो जाते है इन वीरान रास्तों में, जो जिंदगी का उद्देश बन जाते है। और,,,,,,, कभी कभी कुछ ऐसे मित्र,,,,,बन जाते हैं इन वीरान रास्तों में,जो हमारे राज़दार बन जाते है। अल्फ़ाज मेरे✍️🙏🙏 ©Ashutosh Mishra #Road कभी कभी कुछ सपने,,अपने हो जाते है इन सूनसान रास्तों में ,,,,, जो जीने का उद्देश्य बन जातें है, #रास्ते #सपने #अपने #सूनसान nita ku
MAHENDRA SINGH PRAKHAR
White गीत :- मानव सेवा करने को अब , कितने हैं तैयार । देख रहा हूँ गली मुहल्ले , होता खूब प्रचार ।। मानव सेवा करने को अब... हम आज तुम्हारे शुभचिंतक , करो न हमसे बैर । सबको हृदय बसाकर रखता , कहीं न कोई गैर ।। पाँच-साल में जब भी मौका, मिलता आता द्वार । खोल हृदय के पट दिखलाता , तुमको अपना प्यार ।। मानव सेवा करने को अब ... देखो ढ़ोंगी और लालची , उतरे हैं मैदान । उनकी मीठी बातों में अब , आना मत इंसान ।। मुझको कहकर भला बुरा वह , लेंगें तुमको जीत । पर उनकी बातें मत सुनना, होगी तेरी हार । मानव सेवा करने को अब..... सब ही ऐसा कहकर जाते , किसकी माने बात । सच कहते हो कैसे मानूँ , नहीं करोगे घात ।। अब जागरूक है ये जनता ,ये तेरा व्यापार । अपनों को तो भूल गये हो , हमे दिखाओ प्यार ।। मानव सेवा करने को अब .... सच्ची-सच्ची बात बताओ , इस दौलत का राज । मुश्किल हमको रोटी होती , सफल तुम्हारे काज ।। सम्पत्तिन तुम्हारे पिता की, और नहीं व्यापार । हमकों मीठी बात बताकर , लूटो देश हमार । मानव सेवा करने को अब..... मानव सेवा करने को अब , कितने हैं तैयार । देख रहा हूँ गली मुहल्ले , होता खूब प्रचार ।। २०/०४/२०२४ - महेन्द्र सिंह प्रखर ©MAHENDRA SINGH PRAKHAR मानव सेवा करने को अब , कितने हैं तैयार । देख रहा हूँ गली मुहल्ले , होता खूब प्रचार ।। मानव सेवा करने को अब... हम आज तुम्हारे शुभचिंतक ,
Shivkumar
White { ∆ कड़क कविता किसी को पता नहीं है, लेकिन मैं इसे साझा कर रहा हूं क्योंकि मैं इस विचार को समझता हूं.. कम शब्दों में बहुत कुछ कहा जाता है ।। ∆ } मेँ भारत देश का रहने वाला हू हाथ में हर चीज़ आयताकार होनी चाहिए....!! ये बिजली कभी नहीं बचाएगी बील लेकिन माफ़ करें...!! मै कोई पेड़ नहीं लगाऊंगा बारिश लेकिन अच्छी...!! कभी शिकायत नहीं करूंगा लेकिन कार्रवाई की तत्काल आवश्यकता है....!! इन नेताओ का रिश्वत के बिना काम नहीं होगा लेकिन भ्रष्टाचार को ख़त्म होना ही चाहिए...!! मैं कचरा खिड़की से बाहर फेंक दूँगा लेकिन शहर में स्वच्छता की जरूरत है....!! मैं काम पर समय व्यतीत करूंगा लेकिन हर साल एक नये वेतन आयोग की जरूरत होती है....!! जाति के नाम पर रियायत मै लूंगा लेकिन यह मेरा देश धर्मनिरपेक्ष होना चाहिए...!! मैं वोट देते समय जाऊंगा लेकिन ये जातिवाद बंद होना चाहिए...!! मैं इस टैक्स भरते समय उन कमियां ढूंढूंगा लेकिन ये विकास को पुरी मजबूती से ,होना या करना चाहिए....!! ©Shivkumar #VoteForIndia #Vote #चुनाव #मतदान #Politics { ∆ कड़क कविता किसी को पता नहीं है, लेकिन मैं इसे साझा कर रहा हूं क्योंकि मैं इस #विचार को
DANVEER SINGH DUNIYA
क्या जीना और क्या आनंद बोल तुझे क्या-क्या पसंद है मेरा लहज़ा या मेरी इबादत मेरी मोहब्बत या मेरी आदत ©DANVEER SINGH DUNIYA लव इन लव