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Mayuri Bhosale
White ओ पहली मुलाकात..... दिल मे दबी हुई वो हसी लगती है हमे आँखो मे अभी भी वैसी ही फसी सब कुछ लुटा दिया है हमने तुम पर मगर दिल धडकते ही आ जाते है होशपर आप को देखा तो ऐसा लगा की उडणे लगे है हवा में वैसे तो चाॅंद तारे शामिल है हमारे मिलन के गॅंवा में कुछ तो खास थी आप में वो बात याद आती है हमें ओ पहली मुलाकात ओ पहली मुलाकात. ©Mayuri Bhosale #ओ पहली मुलाकात
#ओ पहली मुलाकात
read moreParasram Arora
White काफ़ी दिनों तक साथ साथ हम चलते रहे फिर एक दिन अलग हुए अब मुझे तलाश है उस जगह की जहा नदी के दोनों किनारे जा कर मिलते हो ©Parasram Arora दो किनारे
दो किनारे
read moreMohan Sardarshahari
White कभी होता था चलते -चलते बस यूं ही सरे राह मिल गये अब तो मुश्किल से मिल पाते आनंद बस इस बात में आता है जैसे थे वैसे ही मिल गये।। ©Mohan Sardarshahari मुलाकात
मुलाकात
read moreNaina
हर साल कि भाती इस साल भी दिवाली आई और मैं फिर खुद के भीतर अंधकार भरे बाहर कि जगमगाती दुनिया बस निहारती रह गई ज़िंदगी के बेरंग उदासीन पन्नों को बिखरा छोड़ मैं इस साल भी ख़ुद कि टूटी हिम्मत संवारती रह गई टूटे सपनों कि झंकार को अंदर दफ़ना कर मैं इस वर्ष भी पटाखों कि शोर में कहीं छुपी रही जहां पुरी दुनिया उमँग में शराबोर थी मैं ख़ुद के अंदर सिमटे हुए बस चुप ही रही सालों कि मेहनत का जब हिसाब लगाया तो लगा फ़रियादों कि चिट्ठियों का जवाब इस बार भी न आया और निराश होकर मैंने फिर इस दिवाली एक दिया उम्मीदों के नाम जलाया! ©Naina एक दिवाली ऐसी भी #sad_shayari
एक दिवाली ऐसी भी #sad_shayari
read moreDr. Bhagwan Sahay Meena
White मैं सोचता हूँ कभी मुलाकात कर लूँ अपने आप से। पकड़ लूं गिरेबान और मिला लूँ आंखे अपने अहम से। डॉ.भगवान सहाय मीना बाड़ा पदमपुरा,जयपुर,राजस्थान ©Dr. Bhagwan Sahay Meena #मुलाकात
neelu
White जो दो कदम चल सकते हैं वह चार कदम भी चल सकते हैं जो चार कदम चल सकते हैं वह क्या 8 कदम भी चल सकते हैं ©neelu #GoodMorning जो दो #कदम #चल सकते हैं वह #चार कदम भी चल सकते हैं जो #चार कदम चल सकते हैं वह क्या 8 कदम भी #चल सकते हैं
Parasram Arora
White माना कि दो अलग अलग चोरो पर. हैँ कल्पना और यथार्थ तुम्हे ध्यान देना पढ़ेगा. कि कहीं तुमारी कल्पना यथार्थ बनने की कशिश न करने लगे ©Parasram Arora दो छोर
दो छोर
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