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Jayesh gulati
Unsplash करता हूँ मैं बातें तुम्हारी, खुद से कई दफ़ा । मेरे ख्वाबों में, तेरी ये तस्वीर भी चलती हैं ।। पढ़ता हूँ मैं तस्बीह¹, हर रोज़ तेरे नाम की । सुना हैं, यह दुनियां खुदा के नाम से चलती हैं ।। (read full in caption) ©Jayesh gulati तुम, नहीं जानती ये कैसे चलती हैं । यहां सांसे मेरी, तेरे दीदार से चलती हैं ।। करता हूँ मैं बातें तुम्हारी, खुद से कई दफ़ा । मेरे ख्वाबों में
तुम, नहीं जानती ये कैसे चलती हैं । यहां सांसे मेरी, तेरे दीदार से चलती हैं ।। करता हूँ मैं बातें तुम्हारी, खुद से कई दफ़ा । मेरे ख्वाबों में
read morePraveen Jain "पल्लव"
पल्लव की डायरी वातावरण दूषित, व्यबस्था मन को कसौटती है आपाधापी मची है जीवन मे खुराक मिलावटी और जहरीली मिलती है खिले है व्यसन के द्वार इनकी लतो से जीडीपी सरकारों की बढ़ती है डिप्रेशन और निराशा के अधीन जीवन जो रोगो को आमंत्रण देती है स्वस्थ रहना अब दूर की कौड़ी हो गया बीमारियों से कई देशों की अर्थव्यवस्था चलती है प्रवीण जैन पल्लव ©Praveen Jain "पल्लव" #Health बीमारियो से कई देशों की अर्थव्यवस्था चलती है
#Health बीमारियो से कई देशों की अर्थव्यवस्था चलती है
read moreVinod Mishra
Shashi Bhushan Mishra
बस इतने में हांफ रहे हो, डर से थर-थर कांप रहे हो, मारे जाओगे एक दिन सब, आस्तीन के सांप रहे हो, रंग बदलने में तुम माहिर, गिरगिट के भी बाप रहे हो, सिर्फ़ सियासत धर्म-कर्म है, फूंक दिया घर ताप रहे हो, पोल खुली तो बिल में दुबके, तुम कब रस्ता नाप रहे हो, पढ़े-लिखे भी बैल बुद्धि ही, लगते झोलाछाप रहे हो, भूंक रहे अपनी गलियों से, कभी तो लल्लन टाप रहे हो, 'गुंजन' घड़ा फूटना तय था, अबतक भरते पाप रहे हो, --शशि भूषण मिश्र 'गुंजन' प्रयागराज उ०प्र० ©Shashi Bhushan Mishra #बस इतने में#
#बस इतने में#
read morePRIYA SINHA
White 🫂"बस तुम हो" 🫂 जीवन के गीत में ; हार या जीत में ; बस तुम हो ! सूनेपन की भीत में ; प्रहार या प्रीत में ; बस तुम हो ! समर्पण के रीत में ; बेकार या कृत में ; बस तुम हो ! प्रिया सिन्हा 𝟑𝟎. नवंबर 𝟐𝟎𝟐𝟒. (शनिवार). ©PRIYA SINHA #बस #तुम #हो
नवनीत ठाकुर
भाईचारा हो जहां, वहां अमन का राज है, सपनों से सजी दुनिया का यही आगाज़ है। आओ इस अनमोल जज़्बे को और फैलाएं, इंसानियत के फूल हर बगिया में खिलाएं। हर राह में बस प्यार के दीप जलाएं। ©नवनीत ठाकुर हर राह में बस प्यार के दीप जलाएं।
हर राह में बस प्यार के दीप जलाएं।
read moreहिमांशु Kulshreshtha
White तमन्ना है मेरे दिल की में हूँ और बस वो हो, चाँदनी रात हो सितारों की छांव में एक ख़ामोश गुफ़्तगू हो ©हिमांशु Kulshreshtha बस यूँ ही...
बस यूँ ही...
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