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Vikrant Rajliwal
Vikrant Rajliwal
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Ravendra
Ravendra
Ravendra
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MAHENDRA SINGH PRAKHAR
दोहा :- अनपढ़ ही वे ठीक थे , पढ़े लिखे बेकार । पड़कर माया जाल में , भूल गये व्यवहार ।।१ मातु-पिता में भय यही , हुआ आज उत्पन्न । खाना सुत का अन्न तो , होना बिल्कुल सन्न ।।२ वृद्ध देख माँ बाप को , कर लो बचपन याद । ऐसे ही कल तुम चले , ऐसे होगे बाद ।।३ तीखे-तीखे बैन से , करो नहीं संवाद । छोड़े होते हाथ तो , होते तुम बरबाद ।।४ बच्चों पर अहसान क्या, आज किए माँ बाप । अपने-अपने कर्म का , करते पश्चाताप ।।५ मातु-पिता के मान में , कैसे ये संवाद । हुई कहीं तो चूक है , जो ऐसी औलाद ।।६ मातु-पिता के प्रेम का , न करना दुरुपयोग । उनके आज प्रताप से , सफल तुम्हारे जोग ।।७ हृदयघात कैसे हुआ , पूछे जाकर कौन । सुत के तीखे बैन से, मातु-पिता है मौन ।।८ खाना सुत का अन्न है , रहना होगा मौन । सब माया से हैं बँधें , पूछे हमको कौन ।।९ टोका-टाकी कम करो , आओ अब तुम होश । वृद्ध और लाचार हम , अधर रखो खामोश ।।१० अधर तुम्हारे देखकर , कब से थे हम मौन । भय से कुछ बोले नही , पूछ न लो तुम कौन ।।११ थर-थर थर-थर काँपते , अधर हमारे आज । कहना चाहूँ आपसे , दिल का अपने राज ।।१२ मातु-पिता के मान का , रखना सदा ख्याल । तुम ही उनकी आस हो , तुम ही उनके लाल ।।१३ २५/०४/२०२४ - महेन्द्र सिंह प्रखर ©MAHENDRA SINGH PRAKHAR दोहा :- अनपढ़ ही वे ठीक थे , पढ़े लिखे बेकार । पड़कर माया जाल में , भूल गये व्यवहार ।।१ मातु-पिता में भय यही , हुआ आज उत्पन्न ।
Praveen Jain "पल्लव"
White पल्लव की डायरी गुमराह हुआ युवा राह में कई रोडे है लतो में पड़कर भविष्य डूबता क्षणिक आनन्द में डूबे है नीतियों के दल दल में फँसकर डिप्रेशन में डूबे है किया शोध किया स्टडी करे सत्ता के गलियारे मद मस्त हो कर अनपढ़ों की फौज जोड़े है भविष्य भारत का आज सिसकता अनैतिकता का बोझ,पार्टियो और दलों की बे रूखी से शर्मिंदगी देश ओढे है प्रवीण जैन पल्लव ©Praveen Jain "पल्लव" #Dosti सत्ता के गलियारे मद मस्त होकर अनपढ़ों की फौज जोड़े है #nojotohindi
N S Yadav GoldMine
hanuman jayanti 2024 {Bolo Ji Radhey Radhey} आत्मा प्रकति से पृथक सत्ता है, ये सब किसी के भी वस में नही है, यह केवल एक उस परमसत्ता भगवान श्री कृष्ण के नियंत्रण में है, नया, पुरानापन, उतपत्ति-लय, होकर भी न होना आदि, जगत का कार्य, यह हम सबको आस्तिक भाव दर्षाता हैं।। ©N S Yadav GoldMine #hanumanjayanti24 {Bolo Ji Radhey Radhey} आत्मा प्रकति से पृथक सत्ता है, ये सब किसी के भी वस में नही है, यह केवल एक उस परमसत्ता भगवान श्र