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Parasram Arora
खून को पानी का पर्यायवाची मत मान. लेना अनुभन कितना भी कटु क्यों न हो वो.कभी कहानी नही बन सकताहै उस बसती मे सच बोलने का रिवाज नही है यहां कोई भी आदमी सच.को झूठ बना कर पेश कर सकता है ताउम्र अपना वक़्त दुसरो की भलाई मे खर्च करता रहा वो ऐसा आदमी कुछ पल का वक़्त भी अपने लिये निकाल नही सकता है ©Parasram Arora पर्यायवाची......
Manish Sarita(माँ )Kumar
आहिस्ता आहिस्ता ख़त्म हो जाएगा ये रिवाज़ भी वो जो आता है मिलने वो भी रस्म मिलने आएगा ©Manish Sarita(माँ )Kumar रस्म
Jogendra Singh writer
आपके अनुसार Nojoto का पर्यायवाची क्या है Answer in comment section ©Jogendra Singh Rathore 6578 nojoto ka पर्यायवाची #Light
Dosti Ibaadat E Khuda
सामने से निकले तुम, और तुम मुस्कुरा भी ना सके!! थी ऐसी कौन सी मजबूरी, रस्म ये भी तुम निभा ना सके!! कहना था बस कह दिया ~~~ निशान्त ~~~ रस्म
shishram kulhari
हे खुदा हमे कुछ मुस्कराहटे उधार दे-दे, वो सामने आ रहे है मिलने की रस्म निभानी है ।। -shishram 😌😔🙁 #रस्म
"ANUPAM"
💕कोई रस्म बाकी ना रही मोहब्बत निभाने के लिए💕 💕बताओं.कितना और चाहूँ. तुम्हें पाने के लिए..!!💕 ©RAMESH CHANDRA "ANUPAM" #रस्म
Dipin Tarbundiya
इस दौर का इश्क भी न कमबख़्त जिस्म चाहता है... और एक हम थे कि ना छूने की रस्म अदा करते रहे.. रस्म...
"ANUPAM"
#WorldHealthDay 💕कोई रस्म बाकी ना रही मोहब्बत निभाने के लिए💕 💕बताओं.कितना और चाहूँ. तुम्हें पाने के लिए..!!💕 ©RAMESH CHANDRA "ANUPAM" #रस्म
Mann M
चलो एक आखिरी रश्म निभाते हैं, जो जताना छुट गया उसे फिर से जताते हैं। ये आंखें जो प्यासी है इसे फिर से भिगाते है, आशियां जो टूट गई उस फिर से बनाते हैं। गाड़ी जो रुक गई उसे फिर से चलाते हैं, पुलिया जो टूट गई उसे मिल के बनाते हैं। अफ़वाह जो उड़ते थे उसे फिर से उड़ाते हैं, चलो पास होने की खुशियां फिर से मनाते हैं। हाल बिना पूछे फिर से एक दूसरे को बताते हैं, इश्क़ जो अकेला हो गया उसका साथ निभाते हैं। इतने करीब से देखा मैंने अपने "जान" को, चलो इसे साथ में बचाते हैं, तुम हम हो जाओ हम तुम हो जाए, और अपनी किस्मत आजमाते हैं। अभी वक्त है जो कहना है वो कह लेते हैं, साथ की उम्मीद है क्यों ना फिर रह लेते हैं। अब तो हर रात ये सोच कर गुजरते हैं, मेरे इतने करीब हो के भी वो किसे ढूंढते हैं। चलो एक शाम फिर कली बाड़ी में बिताते हैं, अपनी दुवाओं को एक दूसरे को बताते हैं। हां आओ एक आखिरी रश्म निभाते हैं, जो जताना छुट गया उसे फिर से जताते हैं। -------- गौरव मिश्रा ©Mann M रस्म #hangout #रस्म #rashm #सुनहरी #कविता #गौरवमिश्रा