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Mokka Singer
Keerthi renganathan
Shilpi
क्या लिखूं? दिल और दिमाग़ पर तुम ही तुम इस कदर छाये हो कि समझ नहीं आता क्या लिखूं ये तो पता था कि इस दिल में तुमसे पहले न कोई आया था, न कोई तुम्हारे बाद आएगा इस दिल में, पर दिमाग़ भी दिल के रास्ते पर चलेगा,ये नहीं पता था। हां मुझे कुछ समझ नहीं आता कि क्या लिखूं। तुमसे अच्छा न कोई दिखा,तुमसे सच्चा न कोई लगा। फिर किसके बारे में सोचूं?क्या लिखूं? moonu
moonu
read moreShilpi
मैं तुम्हारे प्रेम रूपी स्याही को सीचकर मन रूपी कागज में भावना रूपी कलम से शब्दों के भेष में तुम्हारा नाम उकेरती हूँ.. तुम अपने पवित्र हृदय रूपी सुंदर झील में मेरे मर्मस्पर्शी शब्दों के समवाय में से अर्थ रूपी कमल को तोडकर अपनी आत्मा रूपी गहरे सागर में प्रवाहित कर देते हो.. परंतु मेरी आत्मा तो तुम्हारी आत्मा में ही समाहित है,, अत: यह अर्थ रूपी कमल तुम्हारी आत्मा रुपी गहरे सागर से प्रवाहित होते हुए मेरी आत्मा रूपी गहरे सागर में प्रवेश कर जाती है, और यही अर्थ ही पुनः प्रेम रूपी स्याही में परिवर्तित हो जाती है, जिसे मैं पुनः कागज रूपी मन में उकेरती चली जाती हूँ..... ©Shilpi #moonu
Shilpi
मैं चली भी जाऊँ जिंदगी के उस पार, जहाँ मौत का बसेरा होता है,, मेरा अंश तुझमें ही समा जाएगा तेरी रूह में ही मेरी रूह का सवेरा होता है.. ©Shilpi #moonu
Kaarthik Senthil
Nee paartha vizhigal! Short version! #Kaarthiksenthilsacapella #Anirudh #tamil #Lovesongs #Tamillovesongs #acapella https://youtu.be/D2K9Nr3
read moreDeepa Deepa
விழிதிறந்தே கனவு காண்கிறாள் இரவுக்குள் நடந்த அத்தனையும் வெளிச்சம் போட்டு ரசித்தே..... #ரகசியம் #vizhigal
#ரகசியம் #vizhigal
read moreShilpi
एक अजनबी से कुछ इस तरह, मैं पगली दिल लगाए बैठी हूं। पता है एक दिन वो छोड़ जाएगा मुझे, बस यही सोचकर अभी से रूठी हूं। हां उस अजनबी से कुछ इस तरह, मैं पगली दिल लगाए बैठी हूं। हर रोज़ कहती हूं उससे मैं, कि रात में जल्दी सोती हूं, पर उसे क्या पता कि मैं सोने के बहाने उसकी याद में तड़पकर रोती हूं। क्यूं हर पल उसे पाकर भी, पल पल मैं उसे खोती हूं। एक अजनबी से कुछ इस तरह, मैं पगली दिल लगाए बैठी हूं। कोसों दूर है मेरा घर उसके घर से, पर दिल का आशियाना पास है, माना समझ है उसे मेरे इश्क़ की, पर मेरी तड़प का नहीं उसे एहसास है। दिन रात बहते हैं अश्क़ मेरे नैनों से, फिर भी इनमें इतनी क्यों प्यास है। मैं पल पल संग उसके जीती हूं, और हजा़र बार उस पर मरती हूं। पता है एक दिन जुदा होना है उसे मुझसे, पर फिर भी,उस अजनबी से, मैं पगली दिल लगाए बैठी हूं.... love moonu...
love moonu...
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