आँखोँ मेँ बाकी रह गये, अब तेरे ख्वाबोँ ख्याल से। लब पे है कुछ सवाल से, दिल मे है कुछ मलाल से। . तु जो गया तो युँ लगा तन्हा हूँ कायनात मे, रातेँ थकी थकी मेरी, दिन भी मेरे निढाल से, . मुझको है काम और भी, कुछ तो करो मेरा ख्याल आते हो जब ख्याल मे, जाते नही ख्याल से। . तुझ सी हसीन ना गजल कोई, अब ऐसी गजल कहाँ लिखे कोई, दुनिया मे हो अगर कही. वजह करो मिसाल से। . उससे बस गिला इतना सा है मुझे, समझा नही है आज तक, अनजान है मेरे हाल से। आँखोँ मेँ बाकी रह गये, अब तेरे ख्वाबोँ ख्याल से। लब पे है कुछ सवाल से, दिल मे है कुछ मलाल से। . तु जो गया तो युँ लगा तन्हा हूँ कायनात मे, रातेँ थकी थकी मेरी, दिन भी मेरे निढाल से, . मुझको है काम और भी, कुछ तो करो मेरा ख्याल