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Stories related to moral of the poem the frog and the nightingale

@ytshortsdunia

“And eat and drink until the white thread of dawn becomes distinct from the black thread of night. Then complete the fast until the sunset.”

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“And eat and drink until the white thread of dawn becomes distinct from the black thread of night. Then complete the fast until the sunset.” – (Qur’an 2:187)

©@ytshortsdunia “And eat and drink until the white thread of dawn becomes distinct from the black thread of night. Then complete the fast until the sunset.”

Ajita Bansal

#Newyear2025 poem of the day

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New Year 2025 नया साल आया है, नई उम्मीदें लेकर,
सपनों की दुनिया अब नये रंगों से सजे।
हर दिन हो शुभ, हर रात हो रोशन,
खुशियों से भरी हो ये नयी शुरुआत।

पुरानी यादों को छोड़, चलें आगे हम,
नई राहों पर, नए क़दम।
सपने हों पूरे, दिलों में हो विश्वास,
साल 2025 हो, सफलता से भरा खास।

जो बीता, वह सीख है, जो आने वाला है,
वो खुशियों का खजाना, जो हमें पाना है।
समय की रेत पर लकीरें न छोड़ें,
साथ चलें हम, बस यही है शेरों।

नववर्ष की शुभकामनाएं, सबको मिले सुख-शांति,
हर दिल में हो प्रेम, और जीवन में हो ध्वनि।
साल 2025 हो, हम सब के लिए मंगलमय,
नई उम्मीदें, नई शुरुआत, हो सभी के लिए सफलाय।

©Ajita Bansal #Newyear2025 poem of the day

Ganesh Biradar

tractor love story and the other side of your own

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tracts love

©Ganesh Biradar tractor love story and the other side of your own

Jeetal Shah

May the twinkling lights of Christmas illuminate the path to your dreams, and may the warmth of the season stay with you throughout the year

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May the twinkling lights of Christmas illuminate the path to your dreams, and may the warmth of the season stay with you throughout the year."

©Jeetal Shah May the twinkling lights of Christmas illuminate the path to your dreams, and may the warmth of the season stay with you throughout the year

Srinivas

In the joy of Christmas, find the strength of unity and the beauty of diversity, much like the vibrant tapestry of India. #christmas

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In the joy of Christmas, find the strength of unity and the beauty of diversity, much like the vibrant tapestry of India.

©Srinivas In the joy of Christmas, find the strength of unity and the beauty of diversity, much like the vibrant tapestry of India.
#christmas

Pooja

#moral story

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Unsplash किसी एक छोटे से गाँव की कहानी

गाँव में एक छोटा सा लड़का था, जिसका नाम मोहन था। मोहन गरीब था, लेकिन उसकी आँखों में सपने थे। वह दिन-रात मेहनत करता था, और गाँव के खेतों में काम करता। उसकी सबसे बड़ी ख्वाहिश यह थी कि वह बड़ा आदमी बने और अपने गाँव का नाम रोशन करे।

एक दिन गाँव में एक बड़ा मेला लगा। मोहन ने भी सोचा कि इस मेले में जरूर जाना चाहिए। लेकिन, उसके पास पैसे नहीं थे। फिर उसने सोचा, "मैं मेहनत करके कुछ पैसे कमाऊँगा और मेले में जाऊँगा।"

वह अगले कुछ दिनों तक खेतों में और घर में काम करता रहा। उसकी मेहनत रंग लाई और उसने मेले में जाने के लिए पर्याप्त पैसे जमा कर लिए।

मेले में पहुँचा तो उसने देखा कि वहाँ तरह-तरह के लोग, खेल, नाच-गाने और बहुत कुछ था। लेकिन मोहन ने एक बात सीखी, जो उसने अपने जीवन में कभी नहीं सोची थी। वह यह था कि असली खुशी किसी चीज़ में नहीं, बल्कि अपने आत्मविश्वास और मेहनत में छुपी होती है।

मोहन ने अपना सपना पूरा करने की राह पर चलने की ठानी। उसने बहुत मेहनत की और कुछ सालों बाद वह गाँव का सबसे सफल व्यक्ति बना। उसकी कहानी आज भी गाँव में सुनाई जाती है।

सीख: सफलता सिर्फ मेहनत और आत्मविश्वास से मिलती है, और जब आप अपने सपनों के पीछे पूरी लगन से चलते हैं, तो वह सपने जरूर सच होते हैं।

©Pooja #Moral story

Pooja

#moral story

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White कहानी: "सच्चाई का रास्ता"

एक छोटे से गाँव में एक लड़का रहता था, जिसका नाम मोहन था। मोहन गरीब था, लेकिन बहुत ईमानदार और मेहनती था। वह हर दिन अपने छोटे से खेत में काम करता और दिन के अंत में घर लौट आता। गाँव में एक बडी ज़मीन का मालिक था, उसका नाम रघु था। रघु बहुत अमीर और लालची था।

एक दिन रघु ने मोहन से कहा, "अगर तुम मेरी ज़मीन पर काम करोगे, तो मैं तुम्हें ढेर सारे पैसे दूँगा।" मोहन ने सोचा कि वह ये काम कर सकता है, लेकिन उसके मन में एक शंका थी। उसने रघु से पूछा, "आपकी ज़मीन पर काम करना ठीक है, लेकिन अगर कुछ गलत हुआ तो?"

रघु हंसते हुए बोला, "तुम चिंता मत करो, कुछ नहीं होगा।"

मोहन ने काम शुरू कर दिया, लेकिन जल्दी ही उसे एहसास हुआ कि रघु के खेत में कुछ गलत हो रहा है। रघु उसे ज़मीन के बीच में से कुछ गड्ढे भरने का कहता था, लेकिन मोहन को लगता था कि वहाँ कुछ छुपाया जा रहा था। एक दिन मोहन ने वह गड्ढा खोला और देखा कि वहाँ से सोने की छड़ें और कुछ अन्य मूल्यवान चीजें निकलीं।

मोहन को समझ में आ गया कि रघु चोरी कर रहा था। उसे दुविधा हुई। अगर वह सच बताता है, तो रघु उसकी जिंदगी बर्बाद कर देगा। लेकिन मोहन ने अपनी आत्मा से समझौता न करने का निर्णय लिया।

वह गाँव के मुखिया के पास गया और सारी सच्चाई बता दी। मुखिया ने रघु को सजा दिलवायी। मोहन को उसके ईमानदारी के लिए सम्मानित किया गया।

मोहन ने सीखा कि सच्चाई का रास्ता भले ही कठिन हो, लेकिन अंत में वही सबसे सही होता है।

©Pooja #Moral story

Pooja

#moral story

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White कर्म की शक्ति

एक छोटे से गाँव में एक साधारण सा लड़का, रामू, रहता था। उसका जीवन बहुत कठिन था, लेकिन उसका मन साफ और कर्मशील था। वह रोज़ सुबह जल्दी उठता, खेतों में काम करता और फिर शाम को स्कूल जाता। गाँव के बच्चे उसकी मेहनत और ईमानदारी की बहुत तारीफ करते थे, लेकिन रामू का सपना कुछ और था। वह एक दिन बड़ा आदमी बनना चाहता था, ताकि वह अपने गाँव और परिवार की मदद कर सके।

एक दिन गाँव में एक बड़े व्यापारी का आगमन हुआ। वह व्यापारी गाँव के सभी बच्चों को एक प्रतियोगिता में हिस्सा लेने का न्यौता देने आया। प्रतियोगिता का इनाम एक बड़ा पुरस्कार था, जो रामू के जीवन को बदल सकता था। प्रतियोगिता में सभी बच्चे शामिल हुए, लेकिन रामू की मेहनत और ईमानदारी ने उसे दूसरों से अलग बना दिया।

प्रतियोगिता के बाद व्यापारी ने सभी बच्चों के बीच पुरस्कार वितरण किया। जब उसकी बारी आई, तो व्यापारी ने रामू को सबसे बड़ा पुरस्कार दिया और कहा, "तुम्हारे मेहनत और अच्छे काम ने मुझे प्रभावित किया। मैं तुम्हें एक बड़ा अवसर दे रहा हूँ।"

रामू को विश्वास नहीं हुआ, लेकिन उसने ईमानदारी से मेहनत करना जारी रखा। धीरे-धीरे वह बड़ा आदमी बन गया, और अपने गाँव में अच्छे कार्य करने लगा। उसने जाना कि सही कर्म और मेहनत का फल हमेशा मिलता है, चाहे वह समय लगे या न लगे।

रामू का जीवन एक सिख है कि अगर हम अपने कर्मों में सच्चाई और मेहनत रखें, तो जीवन में कभी न कभी सफलता जरूर मिलेगी।

©Pooja #Moral story

Pooja

#moral story

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White सपनों का शहर

राजू एक छोटे से गाँव में रहता था। उसका सपना था कि वह बड़े शहर में जाकर बहुत बड़ा आदमी बने। रोज़ वह अपने छोटे से खेत में काम करता, लेकिन उसके मन में बस एक ही ख्याल था – शहर का जीवन, जहां पैसे की कोई कमी नहीं होती, और लोग बड़े-बड़े कारों में घूमते हैं।

एक दिन उसने तय किया कि अब वह गाँव छोड़ देगा और शहर में जाएगा। उसने अपने सारे पैसे इकट्ठा किए और एक ट्रेनों में बैठकर शहर की ओर रवाना हो गया। रास्ते भर वह सपने देखता रहा कि वह कैसे शहर में नाम कमाएगा और एक दिन सब उसे जानेगा।

शहर पहुँचते ही उसे एक चमकदार और भीड़-भाड़ वाली दुनिया दिखाई दी। बड़े-बड़े इमारतें, चमचमाती कारें, और लोग जिन्हें देखना ही एक जादू जैसा लगता था। लेकिन बहुत जल्दी उसे अहसास हुआ कि शहर का जीवन उतना सरल नहीं था जितना वह सोचता था।

राजू को शुरुआत में कोई काम नहीं मिला, और उसे रैन बसेरा में रात बितानी पड़ी। वह दिन-रात नौकरी की तलाश में भटकता रहा, लेकिन उसे सफलता नहीं मिली। धीरे-धीरे उसे समझ में आया कि केवल बड़े शहर का सपना देखना ही काफी नहीं है, बल्कि कड़ी मेहनत और धैर्य की भी जरूरत होती है।

कुछ महीने बाद, राजू को एक छोटे से होटल में काम मिल गया। वह खुश था कि अब उसे किसी न किसी तरह का काम मिल गया है। समय के साथ, राजू ने अपने काम में महारत हासिल की और धीरे-धीरे होटल का सबसे अच्छा कर्मचारी बन गया।

कुछ सालों बाद, वह उसी होटल का मालिक बन गया। राजू अब समझ चुका था कि सफलता का रास्ता सरल नहीं होता, लेकिन सही मेहनत और ईमानदारी से हर कठिनाई को पार किया जा सकता है।

राजू ने गाँव लौटकर अपने छोटे से खेत पर एक अच्छा सा घर बनवाया और वह जानता था कि असली खुशियाँ छोटे-छोटे सुखों में ही होती हैं।

अंत

©Pooja #Moral story

Pooja

#moral story

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White किस्मत का खेल

एक छोटे से गाँव में एक लड़का रहता था जिसका नाम रमेश था। वह बहुत ही मेहनती और ईमानदार था, लेकिन उसके पास धन-दौलत की कोई कमी नहीं थी। वह खेतों में काम करता और जो कुछ भी कमाता, उसे अपने माता-पिता और छोटे भाई-बहनों के लिए खर्च कर देता।

एक दिन गाँव में एक बड़ा मेला लगा। रमेश ने भी सोचा कि क्यों न एक बार मेला देखा जाए। वह अपनी छोटी सी बचत से कुछ पैसे लेकर मेला देखने गया। वहाँ बहुत सारी चीजें देखने को मिलीं, लेकिन एक झूला उसे बहुत आकर्षित किया। रमेश ने झूला झूलने का फैसला किया, लेकिन उसके पास उतने पैसे नहीं थे। वह बहुत ही सोच-विचार में था कि क्या करे।

तभी एक बूढ़ा आदमी उसके पास आया और बोला, "तुम्हारे पास पैसे नहीं हैं, लेकिन मैं तुम्हें एक अवसर देता हूँ।" रमेश ने हैरान होकर बूढ़े आदमी की ओर देखा। बूढ़े आदमी ने कहा, "अगर तुम इस झूले को झूलने के बाद अपनी आँखें बंद करोगे और मन से एक दुआ करोगे, तो तुम्हारी किस्मत बदल सकती है।"

रमेश ने बिना किसी सोच के झूला झूला और फिर आँखें बंद करके अपनी दुआ माँगी। उसकी दुआ थी कि वह अपने परिवार को खुशहाल देखे और कभी भी पैसे की तंगी का सामना न करना पड़े। जैसे ही उसने आँखें खोलीं, देखा कि बूढ़ा आदमी गायब हो चुका था।

कुछ महीनों बाद, रमेश के खेत में एक नया खजाना मिला, जो किसी ने पहले कभी नहीं देखा था। रमेश और उसके परिवार का जीवन बदल गया। वह अब एक संपन्न किसान बन चुका था। उसने कभी नहीं सोचा था कि उसकी किस्मत इतनी जल्दी बदल जाएगी।

आज भी रमेश यह कहानी अपने बच्चों को सुनाता है और बताता है कि मेहनत और ईमानदारी का फल हमेशा मीठा होता है। साथ ही, वह यह भी याद दिलाता है कि कभी-कभी किस्मत भी अपनी भूमिका निभाती है, लेकिन मन में अच्छाई और मेहनत हो तो जीवन में हर कठिनाई आसान हो जाती है।

©Pooja #Moral story
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