Find the Latest Status about i4r srl from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, i4r srl.
Ujala Tripathi
14 अगस्त 2018 तो ठीक स्वतंत दिवस के एक दिन पहले सूबह के करीब नौ बजे srl lab की ओर उस दिन पगडी से लेकर कुर्ते और सूठ सब तिरंगे की शान को अपना कर कामो की अोर बड़ रही और वही एक जगह अच्छा सा रांगमंच कायक्रम आयोजित हो रहा था ! मुझे आज भी याद जब काम के बीच से कुछ पल मैने बिताये ! वो देश भक्ती के गीत अलग अलग प्रतिभाये जानवरो की आवाज और काफी कुछ हमे आन्दित करता हुआ उन सबके बीच एक भाषण ! तालियो की गुंज और समानता बनायें रखने के लिय साथ दे दिया पर मन एक सवाल करना चाहता था ! पर होठो को खामोशी से सिल दिया ! भारत मे रहने वाला हर नागरिक वो किसी भी लिंग जाति वर्ग का हो वो खुद को एक आजाद पंछी मानता हैं ! इस बात पर कोई शक नहीं की हमारे वीर शिपाही सुरक्षा के लिये खडे अनगिनत वीरो ने लाशे बिछा दी हमारे लिये उनके सम्मान मै हमेशा ह पर जब देश मे दंगे होते हैं ! किसी के माकान किसी के माकान घर जलते हैं एक बेटी के पैदा होने पे कितने सवाल चलते हैं ! श्याद ये बाते कडवी लग रही होगी ! पर सच्चाई कुछ अलग हैं क्या ! तो यही सवाल था जो उस वक्त नहीं किया उनके भाषण मे आज कर रही ह story two year ago srl diagnostic lacture of indepdedence day #nojoto2020
story two year ago srl diagnostic lacture of indepdedence day #nojoto2020
read moreUjala Tripathi
समय कितना बदल जाता हैं ! पता क्या हम कहते हैं हम ना बदलने वाले कॉलेज मे क्लास रुम की सीट पे मै और स्नेहा जॉब मुझे करनी कहाँ हैं ! मुझे अच्छे से याद की मै delhi भाई मै कानपुर से intrnship करने वाली अपना शहर ! पर श्य़ाद काहानी कुछ और जुड़ना था ! अचानक अब gurgaon जाना ! एक अलग दूनिया srl diagnostic ! मुझे याद जब नीरज सर बदले लगे हाँ बात यही लगी की वो senior कम histo के staff ज्यादा लगे ! वैसे बता दू की ये कॉलेज के seniors मे सबसे सीधे थे ! पर यहाँ थोडी strictness ! फिर अंजान सी दूनिया का अंजान सफर जानेपहचाने दोस्त भी उस delhi की हवा मे बदल रहे थे ! cafeteria के hall मे shuats students की कमी कहाँ थी ! हा तो अब एक class के studens कम अलग department के trainee ! हा एक दूसरे को बुलाने के लिय visit हो जाती ! वो हर घर से वापस जाने पर समोसे मीठा कैसे खत्म हो ज़ाते पता नहीं चलता ! सबसे देर तक के trainnies मै और प्रसांत मुझे याद histo वाले मुझे चिधाते और हिमानी मैम उजाला से कुछ सीखो ! दोस्ती के धागे यादो और बातों मे रहे और हम सब एक नौकरी मे बंध गए ! कुछ के नं फ़ोन book से delete हो गए ! शायाद हम हो चाहते हो ना हुआ कुछ किरदारो को हम चुनते कुछ हमे चुन ज़ाते हैं ! नौकरी मे घडी की सुयी के साथ हम सभी बंध ज़ाते पर कॉलेज के चाय और cafeteria के किस्से बड़े याद हैं याद हैं वो पुल वाली जगह जो Sneha Singh की fav थे मेरी आँखों मे डर बसता ! #college ke woh friend #sneha #edwin #prsant cafetria of srl #Job #ShiningInDark
رانا صاحب
بہت یاد آتا ھے گزرا زمانہ۔ وہ گاؤں کی گلیوں میں پِیپَل پرانا۔ 😔😔 وہ باغوں میں پیڑوں پہ ٹائر کے جھولے۔ وہ بارش کی بوندوں میں چھت پر نہانا۔ 😔😔 وہ اِملی کے پیڑوں پہ پتھر چلانا۔ جو پتھر کسی کو لگے بھاگ جانا۔ 😔😔 چھپا کر کے سب کی نظر سے ہمیشہ۔ وہ ماں کے دوپٹے سے سکے چرانا۔ 😔😔 وہ سائیکل کے پہئے کی گاڑی بنانا۔ بڑے فخر سے دوسروں کو سکھانا۔ 😔😔 وہ ماں کی محبت وہ والد کی شفقت۔ وہ ماتھے پہ کاجل کا ٹیکا لگانا۔ 😔😔 وہ کاغذ کی چڑیا بنا کر اڑانا۔ وہ پڑھنے کے ڈر سے کتابیں چھپانا۔ 😔😔 وہ نرکل کی قلموں سے تختی پہ لکھنا۔ وہ گھر سے سبق یاد کرکے نہ جانا۔ 😔😔 وہ گرمی کی چھٹی مزے سے بِتانا۔ وہ نانی کا قصّہ کہانی سنانا۔ 😔😔 وہ گاؤں کے میلے میں گڑ کی جلیبی۔ وہ سرکس میں خوش ہوکے تالی بجانا۔ 😔😔 وہ انگلی چھپا کر پہیلی بجھانا۔ وہ پیچھے سے ”ہو“ کر کے سب کو ڈرانا۔ 😔😔 وہ کاغذ کے ٹکڑوں پہ چور اور سپاہی۔ وہ شادی میں اڑتا ہوا شامیانہ۔ 😔😔 مگر یادِ بچپن کہیں سو گئی ھے۔ کہ خوابوں کی جیسے سحر ہو گئی ھے۔ 😔😔 یہ نفرت کی آندھی عداوت کے شعلے۔ یہ سیاست دلوں میں زہر بو گئی ھے۔ 😔😔 زباں بند رکھنے کا آیا زمانہ۔ لبوں پہ نہ آئے امن کا ترانہ۔ 😔😔 کہ جب مل کے رہتے تھے سب مسلماں۔ نہیں آئے گا اب وہ موسم سہانا۔ 😔😔😖 #Schoollife بہت یاد آتا ھے گزرا زمانہ۔ وہ گاؤں کی گلیوں میں پِیپَل پرانا۔ 😔😔 وہ باغوں میں پیڑوں پہ ٹائر کے جھولے۔ وہ بارش کی بوندوں میں چھت
#Schoollife بہت یاد آتا ھے گزرا زمانہ۔ وہ گاؤں کی گلیوں میں پِیپَل پرانا۔ 😔😔 وہ باغوں میں پیڑوں پہ ٹائر کے جھولے۔ وہ بارش کی بوندوں میں چھت
read more