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Praveen Jain "पल्लव"
पल्लव की डायरी बढ़ता अपराध और अपराधीकरण व्यवस्था सब चरमराती है शोषण की मार चहुँ और पड़ती अराजकता समाजो में घुसपैठ कर जाती है भूख भय और भ्र्ष्टाचार से जनता तड़पती माफियाओ की तूती बोलती रहती टेरर टेक्स वसूला जाता है सफेदपोश हिमायती बनते इनके सरकारी खजाने तक राजस्व पहुँच नही पाते है चोरी का दोष जनता को दे कर सरकारे मनमानी टेक्सो को बढाने में दिखाती है प्रवीण जैन पल्लव ©Praveen Jain "पल्लव" #justice अराजकता समाज मे घुसपैठ करी जाती है
#justice अराजकता समाज मे घुसपैठ करी जाती है
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Unsplash बाप माझा शेतकरी जगाचा कैवारी ढग येई वारा येई 🌱 काय करील तो बिचारी सांगा तुम्ही कसा आहे दिनदूबळा शेतकरी 🌽 ©royal_shetkari #leafbook बाप माझा शेतकरी जगाचा कैवारी ढग येई वारा येई 🌱 काय करील तो बिचारी सांगा तुम्ही कसा आहे दिनदूबळा शेतकरी 🌽
#leafbook बाप माझा शेतकरी जगाचा कैवारी ढग येई वारा येई 🌱 काय करील तो बिचारी सांगा तुम्ही कसा आहे दिनदूबळा शेतकरी 🌽
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White पल्लव की डायरी चिंगारी सुलगती रही सन चौबीस में तन मन सब के झुलसे है धर्म के नाम पर अधर्म होता मानवता के मापदंड टूटे है एक अक्स में सबको ढाले तन्त्रो के कहर कौमो की एकता तोड़े है घर परिवार दहशत में पलते घोड़े शासन ने अराजकता के छोड़े है दर्दनाक मोड़ पर आमजन है उनकी क्षमताओं पर पूर्णविराम भूख गरीबी की आग भारत मे सुरसा की तरह भड़की है प्रवीण जैन पल्लव ©Praveen Jain "पल्लव" #Sad_shayri घोड़े शासन ने अराजकता के छोड़े है
#Sad_shayri घोड़े शासन ने अराजकता के छोड़े है
read moreEshwari
अतीव सज्जनपणाची भीती वाटते. अतीव गोड बोलणारे फसवे निघू शकतात... रबडीमध्ये गुलाबजाम टाकून खाणाऱ्यापासून सावध असायला हवं.... ईश्वरी ©Eshwari # अतिरेक म्हणजे विष
# अतिरेक म्हणजे विष
read morePraveen Jain "पल्लव"
पल्लव की डायरी असुरक्षा की भावना , सकून दिल का खा रही है अनहोनी ना घट जाये पगो को पीछे हटा रही है बढ़ रही है तन्त्रो की अराजकता जीवन को जंग की तरह खा रही है हजार खतरों को झेलकर मजबूरी हर कदम सता रही है प्रवीण जैन पल्लव ©Praveen Jain "पल्लव" #CalmingNature बढ़ रही तन्त्रो की अराजकता
#CalmingNature बढ़ रही तन्त्रो की अराजकता
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