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Dr Mangesh Kankonkar
कागज पर कलम चलती है , तो कहानीया बन जाती है , जब दो जवां दिल मिलते है , तो दास्ताने लिखी जाती है || -मंगेश काणकोणकर. दास्तान-ए-मोहब्बत
Thoughts Scattered
चाहतों के अल्फाज बड़े ही नाज़ुक होते हैं. कहने जाओ तो बिखेर जाने का डर रहता हैं, और जताने जाओ तो नजर अंदाज के दिए जाते हैं. ©Thoughts Scattered #दास्तान ए मोहब्बत
sandhya sharma ..✍
दास्तान-ए-मोहब्बत भी बड़ी अजीब है , अधूरा हो सकता है, मगर खत्म नही। -sandhya sharma #दास्तान-ए-मोहब्बत
Shivam Singh Rajput
Heart बड़ी मुश्किल से मुकम्मल होती हैं मुहब्बत जनाब अगर ऐसा न होता तो लैला-मजनूँ ,हीर-राझे केवल किस्से-कहानियों तक ही सीमित न रहते । दास्तान-ए-मोहब्बत
Shubham Bhardwaj
दास्तान ए मोहब्बत में,दिलवर यह क्या हो गया। हर तरफ तू ही तू है,ऐ जिंदगी तेरा जलवा हो गया।। ©Shubham Bhardwaj #दास्तान #ए#मोहब्बत
Khushi yadav
आज उसे याद करके मेरी आंखों से आंसू बहने लगा इश्क में चोट खाई है गहरी यह हर एक आंसू का कतरा मुझसे कहने लगा और बोला कि छोड़ देते हैं उसे याद करना फिर कुछ वक्त बाद वो आंसू ही आंसुओं से रोने लगा 😭🔥😭 ©Khushi yadav #दास्तान #ए #मोहब्बत
vks Siyag
❤"दास्तां मोहब्बत की"❤ 🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹🌹 (1)• मोहब्बत एक मंदिर है, जिसके क्ई पुजारी है, कोई पूजा करता है तो, कोई प्रपंच रचता है, मगर, जो अखण्ड ज्योत जलाता है, मुकद्दर उसी को अपनाता है।। 🍃💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞🍃 (2) • मोहब्बत एक दरिया है, जिसके कही पतवारी है, कोई डूब जाता है तो, कोई ठहर जाता है, मगर, किनारा वही पाता है जो, दरिया में तैरना जानता है।। 🍃💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞🍃 (3)• मोहब्बत एक गुलशन है, जिसके क्ई मधुकर है, कोई मंडराता रहता है तो, कोई मचलता रहता है, मगर, कुमुदिनी में बंद वही होता है, जो उसकी सुगंध पहचानता है।। 🍃💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞🍃 (4)• मोहब्बत एक मुरारी की पावन-सी कहानी है,जिसकी क्ई गोपियाँ दीवानी है, कोई बहकती रहती है तो, कोई महकती रहती है, मगर, मुरारी सिर्फ उसी के होते है जो, विरह में जलना जानता है।। 🍃💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞💞🍃 ----Vimla Choudhary 26/8/20 💞#दास्तान-् ए-मोहब्बत#💞
Anuj Ray
बर्बाद मोहब्बत की, दास्तान ए हकीकत, खुलकर किसी के सामने, कभी वो कह ना सके। आंसुओं के साथ-साथ ,दिल का दर्द भी सीने में छुपा के रखते गए, वक्त की यही मजबूरी थी। नज़र के सामने लुटता गया सब कुछ , कमाई ज़िंदगी भर की पूंजी ,कुछ बचा न सके। शायद यही मंज़ूर था उसकी किस्मत को, वक्त की बेड़ियों को पाव से छुड़ाना सके। रिस रिस के बहने लगे, घावों से दर्द के कतरे, कागज़ पर उतारे बिना और रह ना सके। ©Anuj Ray # बर्बाद मोहब्बत की दास्तान ए हकीकत
ManIsh ChhindRe
हर्फ़ दर हर्फ़ लिखी थी जो दास्तान-ए-मोहब्बत उस दास्तान-ए-मोहब्बत में हमारा ही किरदार नहीं !! दास्तान-ए-मोहब्बत #hindisahayri #2liners #nojotohindi