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New ग़ज़ल जित्तू खरे की Quotes, Status, Photo, Video

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jivan kachhawa

जित्तू बघाड़ा #lovebeat

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Arora PR

खरे खरे #कविता

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Arun Sanadya

अनुभव खरे खरे

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एक बार पढ़े  
जब कोई दिल के बहुत नज़दीक आकर ऐसा महसूस हो की वो जाना चाहता है और नजरअंदाज करता है तो फिर क्यों पकड़ो उसे जाने दो, जीने दो उसे धीरे धीरे.....
बिना उसके महसूस हुये उससे दूर हो क्योंकी उसको दुःख क्यों हो .....और पता क्यों हो...
"उसका क्या बिगड़ेगा वो बेमुराबत  होगी.....""

मैं तुझसे दूर होकर भी तेरा क्या ले जाऊँगा
खुद में टूट कर अन्दर ही बिखर जाऊँगा।
तू हमेशां की तरह खुश रहेगी 
 आँगन में किसी के नई कली सी खिलेंगी
किसी के दामन में फिर नई खुश्बू सी घुलेगी
मैं कभी देख भी लूँगा तो सहम जाऊँगा
पुरानी यादों को सोच कर फिर बिखर जाऊँगा 
हिम्मत नही है कुछ कहने की....
मुझे ऐसे ही नजरअंदाज किया कर 
मैं दूर तुझसे यूँ ही रफ्ता रफ्ता हो जाऊँगा 
तेरे जीवन से खुद ही अपने सारे हर्फ मिटा जाऊँगा 
तेरे सफ़हे साफ सुथरे तुझको लौटा जाऊँगा 
मैं स्वयं ही तुझे अब छोड़ जाऊँगा 
मैं खुद ही तुझे.......
           अरूण सनाढय
   // यादों की गुल्लक से भाग 2//
        16/06/20 अनुभव खरे खरे

abhijeet singh

विष्णु खरे जी की कविता लड़की

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Anamika Gupta

शायरी की ग़ज़ल

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ग़ज़ल 

मुहब्बत का' होगा असर धीरे धीरे। 
ज़माने को' होगी  ख़बर  धीरे धीरे॥ 
 
जो' करके गए थे मुहब्बत का' वादा, 
वो'  होते   गये   बेख़बर   धीरे धीरे। 

सनम जब  से तुम बेवफा हुए हो , 
मुहब्बत के' सूखे शजर धीरे धीरे।

तरन्नुम मे'  मैंने ग़ज़ल जब पढ़ी तो , 
हुई  मस्त महफ़िल, नगर धीरे धीरे।

जिधर देखिए अब दरिंदे खड़े हैं , 
बशर हो रहा जानवर धीरे धीरे ।

सभी  के लिए अनु दुआ  माँगती है, 
मिले सबको शुहरत मगर धीरे धीरे।
--अनामिका "अनु"
      गया , बिहार शायरी की ग़ज़ल

Sudha Tripathi

ग़ज़ल की शाम #शायरी

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आप सभी को आज रात 9:00 बजे आमंत्रित करती हूं
 पहली बार औपचारिक रूप से nojoto पे live show में आ रही हूँ

©Sudha Tripathi ग़ज़ल की शाम

Anamika Gupta

शायरी की ग़ज़ल

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किसी को किसी की ज़रूरत नहीं है। 
बशर  को  बशर से  मुहब्बत नहीं है।

तुम्हीं पे सभी कुछ ऐ जानम है वारा
कहूँ  कैसे तुमसे कि उल्फ़त  नहीं है।

हुई  है  मुहब्बत तुम्हीं  से  सजन रे 
कहूँ तुझसे कैसे कि हिम्मत नहीं है। 

बहुत ज्ञान बांचा रहम भी करो अब
मुझे ज्ञान की अब ज़रूरत नहीं है।

दरिंदे  हुए 'अनु'  बशर आज  देखो 
नजर में किसी की शराफ़त नहीं है।
-- अनामिका 'अनु'
      गयाजी शायरी की ग़ज़ल

Satish Deshmukh

खरे काय खोटे !....

कुणाला कशाचा कुठे ताल आहे ?
हवा ही कुणाची तसी चाल आहे !

जरी लोक म्हणती त्रिकोणी धरा ही
खरे माणतो, ती कुठे गोल आहे !

खरे काय खोटे पहातो न आता
मला फायद्याचे इथे मोल आहे !

जिथे स्वार्थ आहे तिथे लाळ घोटू
तणाला जसी बेरकी खाल आहे !

चहाडी लबाडी असे रोज माझी
मनी संयमाचा कुठे तोल आहे !

जळी पाय माझे असू द्या जरासे
जमानाच सगळा तळी खोल आहे !

सतीश देशमुख
शेंबाळपिंप्री ता.पुसद जि.यवतमाळ

©Satish Deshmukh खरे 

#realization

Sunil Zarikar

खरे प्रेम

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तु आहे एक सुंदर परी , माझ्या स्वप्नात बसलेली …
समोर नाहि पण ,नेहमीच माझ्या हृदयात असलेली ….
तुझ्या आठवणीत नेहमी मन होते आतुर माझे …
बोलणे झाले नाहि तर , मनच लागत नाही कुठे …
मनात माझ्या घर करून गेलीस तु …
खरया आयुष्यात जरी नसलीस तरी माझ खरे प्रेम आहेस तु..

 खरे प्रेम

Shivali Shendge

खरे लोक...

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लोक बोलतात
काय समजू मन तुझे...
कसं ओळखू तुझ्या वागण्याला...
त्यांना आता कसं सांगू....
बोलनच तुमचं एवढं धारदार होत की ...
माझं मन
... ते जाऊ देत पण 
मनातल्या भावना देखील जमीन दोस्त केल्या....
शिरच्छेद केला तुम्ही.... लोकांनो...😠
शिवाली शेंडगे. खरे लोक...
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