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Stories related to शृगाल किं कर्तुं आरब्ध

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Kapil. pandit

लिखना था किं खुश है

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Karan Meda

मेरी दिल किं बात #brothersday

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कि मिले थे बचपन में   एक स्कूल की क्लास में फिर स्कूल खत्म हुए बिछड़े थे हम 10वीं की क्लास में कुदरत की मेहरबानी हम फिर से मिले लवली ग्रुप में पर जाने क्यों अब फिर से ग्रुप से बिछड़ने लगे क्या रे ऊपर वाले आज लोग ग्रुप में बात भी नहीं करते

©Karan Meda मेरी दिल किं बात 

#brothersday

Mohan raj

Life Lessons Motivational शिक्षायाः अर्थः अस्ति यत्, भवन्तः तत् सम्यक् दिशि प्रदातव्या यतः भवन्तः तेषां जनानां साहाय्यं कर्तुं शक्नुवन्ति य

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शिक्षा का अर्थ है, आपको इसे सही दिशा में प्रदान करना चाहिए  जहां से आप उन लोगों कि मदद कर सकें जिन्हे एक सही गुरु की जरूरत है
शिक्षायाः अर्थः अस्ति यत्, भवन्तः तत् सम्यक् दिशि प्रदातव्या यतः भवन्तः तेषां जनानां साहाय्यं कर्तुं शक्नुवन्ति येषां समीचीनगुरुस्य आवश्यकता वर्तते।
The meaning of education is, you should provide it in the right direction from where you can help those people who need a right teacher
Dhanyawad
Har Har Mahadev

©Mohan raj #Life Lessons Motivational शिक्षायाः अर्थः अस्ति यत्, भवन्तः तत् सम्यक् दिशि प्रदातव्या यतः भवन्तः तेषां जनानां साहाय्यं कर्तुं शक्नुवन्ति य

RRB_12

*तकदीर के खेल से* *नाराज नहीं होते* *जिंदगी में कभी* *उदास नहीं होते* *हाथों किं लक़ीरों पे*

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 *तकदीर के खेल से*
                   *नाराज नहीं होते*
*जिंदगी में कभी*
                    *उदास नहीं होते*
*हाथों किं लक़ीरों पे*

Poet Shivam Singh Sisodiya

हस्तस्य भूषणं दानं सत्यं कण्ठस्य भूषणम् । श्रोत्रस्य भूषणं शास्त्रं भूषणैः किं प्रयोजनम् ॥ हाथ का भूषण दान है, कण्ठ का सत्य, और कान का भूषण #OpenPoetry

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#OpenPoetry जयतु संस्कृतम् जयतु भारतम् 🚩 हस्तस्य भूषणं दानं सत्यं कण्ठस्य भूषणम् ।
श्रोत्रस्य भूषणं शास्त्रं भूषणैः किं प्रयोजनम् ॥

हाथ का भूषण दान है, कण्ठ का सत्य, और कान का भूषण

Kunal Thakur

जब भी कोई आपके इज्जत और प्रतिष्ठा पर चोट करें आप खामोश रहकर उसें बार - बार इस बात को दोहरानें का मौका कभी ना दें कदापि यें आपके जिंदगी किं #nojotohindi #विचार #Cassette #Dilkikitabse #kuvitheshayar

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जब भी कोई आपके इज्जत और प्रतिष्ठा पर चोट करें

आप खामोश रहकर उसें बार - बार इस बात को दोहरानें का मौका कभी ना दें

कदापि यें आपके जिंदगी किं सबसें बड़ी भूल हो सकती हैं

Dil Se.........Written By Kunal........

©Kunal Thakur जब भी कोई आपके इज्जत और प्रतिष्ठा पर चोट करें

आप खामोश रहकर उसें बार - बार इस बात को दोहरानें का मौका कभी ना दें

कदापि यें आपके जिंदगी किं

vishnu prabhakar singh

पत्र का पत्रिका वृक्ष का आरब्ध पर्याप्त दूर गगन तक आते जाते वायुमण्डल दूषक निस्पंदन हरियाली के स्वभाव में समृद्धि मानते #YourQuoteAndMine

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वृक्ष का आरब्ध पर्याप्त
दूर गगन तक 
आते जाते वायुमण्डल
दूषक निस्पंदन
हरियाली के स्वभाव में
समृद्धि  मानते
अबोला वृक्ष सूखता है
रूखी आश में
क्या तुम दोगे नया वृक्ष
हरित आवरण
आते जाते वायुमण्डल
वनस्पति शुद्ध
उनका है प्रभुत्व प्रथम! पत्र का पत्रिका

वृक्ष का आरब्ध पर्याप्त
दूर गगन तक 
आते जाते वायुमण्डल
दूषक निस्पंदन
हरियाली के स्वभाव में
समृद्धि  मानते

Harshita Dawar

yaadein challengecompleted chahat rishte yqdidi Written by Harshita Dawar ✍️✍️ Jazzbaat# हारारात सी थी दिल में अपनी अदुरी सी हसरतो क

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Written by Harshita Dawar ✍️✍️
#Jazzbaat#
हारारात सी थी दिल में 
अपनी अदुरी सी हसरतो को गिनना शुरू कर दिया।
महज भीड़ में दम घुटना लगा तो।
मैंने फिर से उड़ना शुरू कर दिया।
दर्द यादे आदुरि खवाइए सब साथ बस 
फिर किसी किं कमी है। #yaadein #challengecompleted #chahat #rishte #yqdidi 
Written by Harshita Dawar ✍️✍️
#Jazzbaat#
हारारात सी थी दिल में 
अपनी अदुरी सी हसरतो क

neeraj

पन्ने पर ग़ज़ल तो संवर जाएगी मगर उसमें तेरी कमी नज़र आएगी । मना लूँ केसे अब में खुदा को दोबारा आखिर मेरी शख्यियत बिखर जाएगी। जानकर नहीं गिनता #nojotophoto

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 पन्ने पर ग़ज़ल तो संवर जाएगी
मगर उसमें तेरी कमी नज़र आएगी ।

मना लूँ केसे अब में खुदा को दोबारा
आखिर मेरी शख्यियत बिखर जाएगी।

जानकर नहीं गिनता

पंच_भाषी_लेखिका_तरुणा_शर्मा_तरु

हमारी वास्तविक आवाज स्वलिखित विचारानाम् गृहम् यदि अङ्कुरः तिष्ठति यदि अङ्कुरः तिष्ठति तर्हि पुष्पाणि प्रफुल्लितानि भविष्यन्ति, जीवनं तिष #Life #Trending #indianwriter #femalerealvoice #कवितावाचक #tarukikalam25 #संस्कृतविचार

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