Find the Latest Status about शिव शक्ति में from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, शिव शक्ति में.
Satish Kumar Meena
सत्य है शिव जी, शिव अविनाशी। गूंजे धरा में,, उज्जैन और काशी।। चंद्र जटा पर, उज्ज्वल प्रकाशित, गरल कंठ में, सबका निवासित। उमा संग विराजमान, धुर कैलाशी। सत्य है शिवजी,, शिव अविनाशी।। ©Satish Kumar Meena शिव अविनाशी
शिव अविनाशी
read more@Amarjeet Kumar shaksena
White न्याति ,पृथ्वी और प्राकृति तीनो स्त्री है नारी को अपमान कोई करता है न्याति उस जगह पर छोड़ेगा पृथ्वी भार नही थमेगा प्राकृति नष्ट कर देगा 🌍🔥👾💯🧘 ©@Amarjeet Kumar shaksena #Thinking नारी शक्ति
#Thinking नारी शक्ति
read moreनवनीत ठाकुर
"शिव हैं भोले, पूरी करते भक्तों की मुराद, माथे पे चंद्र, गले में विष, त्रिनेत्र के नाथ, स्वयं महिष। कालकूट पीने वाले, पशुपति महाकाल, महादेव हैं सृष्टि के आदि और अंत का आधार। अर्धनरेश्वर रूप, जहां शक्ति संग विराज, गले में सर्प, हाथों में त्रिशूल का राज। वृत्रासुर संहारी, करुणा के सागर, शिव की महिमा में जग गाता है जैकार।" ©नवनीत ठाकुर #शिव हैं भोले, पूरी करते भक्तों की मुराद, माथे पे चंद्र, गले में विष, त्रिनेत्र के नाथ, स्वयं महिष। कालकूट पीने वाले, पशुपति महाकाल, महादेव
#शिव हैं भोले, पूरी करते भक्तों की मुराद, माथे पे चंद्र, गले में विष, त्रिनेत्र के नाथ, स्वयं महिष। कालकूट पीने वाले, पशुपति महाकाल, महादेव
read moreनवनीत ठाकुर
संग पार्वती, शक्ति की पहचान, तप का प्रताप और प्रेम का श्रृंगार, उनके मिलन का है दिव्य आधार। वैराग्य में बसा अनंत का प्रकाश, शिव का धैर्य और पार्वती का विश्वास। प्रकृति और पुरुष का यह अनूठा मेल। जो करते ध्यान, उन्हें मिलती राह, शिव-पार्वती बनें हर जीवन की चाह। शिव की जटाओं से जीवन की धारा, पार्वती की ममता से सजी है धरा। जो इनके भजन में मग्न हो जाए, वो सांसारिक बंधन से मुक्त हो जाए। अमर यह युगल, जग के पालनहार, इनके चरणों में झुके हर संसार। शिव का वैराग्य और शक्ति का रूप, भक्तों के संकट में देते संपूर्ण छूप। ©नवनीत ठाकुर #शिव पार्वती
#शिव पार्वती
read moreनवनीत ठाकुर
जटा में गंगा, त्रिशूल की धार, शिव हैं महादेव, जग के आधार। भस्म से सजा तन, नीलकंठ का रूप, माथे पर चांद, गले में सांप, पहने बज की खाल, बैठे मृगछाल। शिव की चुप्पी में ब्रह्मांड का शोर, गले में विष, त्रिनेत्र की ज्वाला, जो देखे उन्हें, वह पाता उजाला। कैलाश पर उनका पावन बसेरा, गण हैं समीप, भूत-प्रेत हैं साये, हर युग में उनका न्याय जगाये। ब्रह्मा-विष्णु भी झुकते उनके सामने, काल भी रुके, जिनके चरणों के दामन। भांग-धतूरा चढ़े उनके श्रृंगार में, मृत्यु भी कांपे, उनके संहार में। काल भी झुके, जिनके चरणों की धूप, सृष्टि के कण-कण में जिनका स्वरूप। ©नवनीत ठाकुर #शिव
अनुज
नंदी जैसी प्रतीक्षा हो शिव के जैसी दीक्षा हो गुरु तुम्हें हम बनाएंगे तुम ही मेरी इच्छा हो सर्दी के सुहाने मौसम में शिव की मुझ पे कृपा हो बेल और धतूरे से सेव करूं अपनी आकांक्षाओं को समर्पित करूं ©अनुज #mahadev #शिव #MondayMotivation
#mahadev #शिव #MondayMotivation
read more