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Tripurari Pandey
Unsplash अपने लोग भी क्या खूब होते हैं वो नमक भी वहीं डालते हैं जहां जख्म भी खूब होते हैं । ©Tripurari Pandey हकीकत ए ज़िंदगी
हकीकत ए ज़िंदगी
read morevksrivastav
Unsplash ये ज़िंदगी तेरे बगैर कट रही है बस कभी यहां कभी वहां पे बंट रही है बस मैं तुझे भूल नही पाता एक पल को भी मेरी हर सांस तेरा नाम रट रही है बस ©Vk srivastav ये ज़िंदगी तेरे बगैर कट रही है बस #Love #Life #Shayari #viral #Trending #vksrivastav
ये ज़िंदगी तेरे बगैर कट रही है बस #Love Life Shayari #viral #Trending #vksrivastav
read more- Arun Aarya
23-12-2024 बहोत ज़्यादा तलाशने के बाद मिला है , तब जाकर ज़िंदगी मुझें आबाद मिला है ! तुम भागते-फिरते रहो नौकरी-छोकरी के पीछे ,, मैं इसी में ख़ुश हूँ जो मुझें ज़ायदाद मिला है..!! - अरुन आर्या ©- Arun Aarya #HumptyKavya #मेरी शायरी ही मेरी ज़िंदगी है
#HumptyKavya #मेरी शायरी ही मेरी ज़िंदगी है
read moreDeependra Dubey
Unsplash अगर मन से हार गया तो, जीत न कभी पाएगा। दुखों से डर गया तो, मुश्किलों से लड़ नहीं पाएगा। अगर कर लिया है, निश्चय जीत सुनिश्चित करने की तो दुनियां की कोई भी ताकत तुझे जीतने से रोक न पाएगा। ©Deependra Dubey #ज़िंदगी की लड़ाई मोटिवेशनल कोट्स
#ज़िंदगी की लड़ाई मोटिवेशनल कोट्स
read moreF M POETRY
Unsplash मेरी खिड़की से तेरा महल नज़र आता है.. पर तेरे महल से खिड़की नज़र नहीं आती.. यूसुफ़ आर खान... ©F M POETRY #मेरी खिड़की से तेरा महल नज़र आता है...
#मेरी खिड़की से तेरा महल नज़र आता है...
read moreनवनीत ठाकुर
हवाओं ने हर बार दिए को बुझा दिया, हर कदम पर मेरी कोशिश ठहर गुजरी। खुशबू की आस में कांटे ही हाथ आए, ज़िंदगी मेरी बस यूँ ही सफर गुजरी। चमकते थे सितारे, पर रौशनी न मिली, हर सुबह की तलाश में हर रात सहर गुजरी। जो चाहा, वो कभी मुकम्मल न हुआ, दुआओं की उम्र भी बेअसर गुजरी। गुनाहों का हिसाब शायद बाकी था, हर सजा मेरे हिस्से में बार-बार गुजरी। जिन्हें हमनवाज़ समझा था कभी, वो भी मेरी राह से बेखबर गुजरी। ©नवनीत ठाकुर ज़िंदगी मेरी बस यूँ ही सफर गुजरी।
ज़िंदगी मेरी बस यूँ ही सफर गुजरी।
read moreनवनीत ठाकुर
दूरियों में भी इश्क़ की बुनाई, कुछ रेशे खुदा से जुड़ने लगे। जो गिरने का डर रखते थे कभी, अब फलक तक उड़ने लगे।। ज़िंदगी का है फलसफा, रुकते थमते, फिर भी चलने लगे। जो थे कभी अजनबी, वो अब अपना सा लगने लगे।। जो थे कभी हमारी कमजोरी, अब वो ताकत बनके उभरने लगे।। जो सपने कभी दूर थे, आँखों में सच होते दिखने लगे।। नफ़रतों में भी प्यार की राह चली, अब हर दिल एक दूजे से जुड़ने लगे।। राहों के कांटे भी अब फूलों में बदलने लगे, ज़िंदगी की किताब में नए पन्ने खुलने लगे।। जो कभी डूबे थे गहरे अंधेरे में, अब खुद को रौशन करने लगे। ©नवनीत ठाकुर #ज़िंदगी का फलसफा
#ज़िंदगी का फलसफा
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