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Best कुहासे_की_चादर_Qeh Shayari, Status, Quotes, Stories

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Insprational Qoute

🌝प्रतियोगिता-103 🌝 ✨✨आज की रचना के लिए हमारा शब्द है ⤵️ 🌹"कुहासे की चादर "🌹 🌟 विषय के शब्द रचना में होना अनिवार्य नहीं है I कृप्या केवल मर्यादित शब्दों का प्रयोग कर अपनी रचना को उत्कृष्ट बनाएं I #yqdidi #YourQuoteAndMine #yqhindi #क़लम_ए_हयात #कुहासे_की_चादर_Qeh

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देख देर रात कुहासे की चादर मन मे ख्याल उमड़ आया,
गहरी अंतश्चेतना में जा,उस वीर को दिल नमन कर आया,

नमन है उस माँ को,जो छाती से दुग्ध में साहस है पिलाया,
शतबार नित शीश झुकाऊँ जो हिमपात पर पहरा लगाया,

न करते परवाह जीवन की, सरहद पर दुश्मन का लहू बहाया,
आज उनकी ही नेमत से ये तिरंगा शान से एवरेस्ट पर लहराया। 🌝प्रतियोगिता-103 🌝
 
✨✨आज की रचना के लिए हमारा शब्द है ⤵️

🌹"कुहासे की चादर "🌹

🌟 विषय के शब्द रचना में होना अनिवार्य नहीं है I कृप्या 
केवल मर्यादित शब्दों का प्रयोग कर अपनी रचना को उत्कृष्ट बनाएं I

Asha Giri

🌝प्रतियोगिता-103 🌝 ✨✨आज की रचना के लिए हमारा शब्द है ⤵️ 🌹"कुहासे की चादर "🌹 🌟 विषय के शब्द रचना में होना अनिवार्य नहीं है I कृप्या केवल मर्यादित शब्दों का प्रयोग कर अपनी रचना को उत्कृष्ट बनाएं I #yqdidi #YourQuoteAndMine #yqhindi #क़लम_ए_हयात #कुहासे_की_चादर_Qeh

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अद्भुत,लुभावनीय दृश्य वो लगता है,
जब कुहासे की चादर ओढे़ मौसम सजता है।
हर चीज़ धुँधली,अस्पष्ट नज़र आती है
जब प्रकृति ऩजरों से ओझल हो जाती है।
आँखे सिर्फ खोजती है अपनों की संगत,
चाहती है खुशियाँ और थोडी़ सी रंगत। 🌝प्रतियोगिता-103 🌝
 
✨✨आज की रचना के लिए हमारा शब्द है ⤵️

🌹"कुहासे की चादर "🌹

🌟 विषय के शब्द रचना में होना अनिवार्य नहीं है I कृप्या 
केवल मर्यादित शब्दों का प्रयोग कर अपनी रचना को उत्कृष्ट बनाएं I

Prerit Modi सफ़र

शम्स- सूरज हिद्दत- तपिश 🌝प्रतियोगिता-103 🌝 ✨✨आज की रचना के लिए हमारा शब्द है ⤵️ 🌹"कुहासे की चादर "🌹 #yqdidi #YourQuoteAndMine #yqhindi #क़लम_ए_हयात #कुहासे_की_चादर_Qeh

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कुहासे  की  चादर  दिल के शहर  को ढक रही है
मुहब्बत  को  सीने  में  जैसे  बर्फ़ सी जमा रही है
तू  आ  शम्स की तरह एक बार छू ले 'सफऱ' को
रेज़ा रेज़ा ही  सही हिद्दत तेरी मुझे पिघला रही है शम्स- सूरज
हिद्दत- तपिश

🌝प्रतियोगिता-103 🌝
 
✨✨आज की रचना के लिए हमारा शब्द है ⤵️

🌹"कुहासे की चादर "🌹

अभिलाष सोनी

🌝प्रतियोगिता-103 🌝 ✨✨आज की रचना के लिए हमारा शब्द है ⤵️ 🌹"कुहासे की चादर "🌹 🌟 विषय के शब्द रचना में होना अनिवार्य नहीं है I कृप्या केवल मर्यादित शब्दों का प्रयोग कर अपनी रचना को उत्कृष्ट बनाएं I #yqdidi #YourQuoteAndMine #yqhindi #साहिल #मेरी_ख्वाहिश #क़लम_ए_हयात #कुहासे_की_चादर_Qeh

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कुहासे की चादर ओढ़े, यूँ शबनम चली आई है।
जैसे मौसम ने आज, सदियों में ली अंगड़ाई है।

सर्द मौसम को देख, मेरे दिल को यूँ मस्ती छाई है।
तुझे पुकारे हर पल ये, जैसे मिलन की बेला आई है।

आ मिल मुझसे ऐ दिलबर, क्यूँ तू खुद को छुपाई है।
तू मेरी हमसफ़र, तू ही "साहिल" की परछाईं है। 🌝प्रतियोगिता-103 🌝
 
✨✨आज की रचना के लिए हमारा शब्द है ⤵️

🌹"कुहासे की चादर "🌹

🌟 विषय के शब्द रचना में होना अनिवार्य नहीं है I कृप्या 
केवल मर्यादित शब्दों का प्रयोग कर अपनी रचना को उत्कृष्ट बनाएं I

DR. SANJU TRIPATHI

🌝प्रतियोगिता-103 🌝 ✨✨आज की रचना के लिए हमारा शब्द है ⤵️ 🌹"कुहासे की चादर "🌹 🌟 विषय के शब्द रचना में होना अनिवार्य नहीं है I कृप्या केवल मर्यादित शब्दों का प्रयोग कर अपनी रचना को उत्कृष्ट बनाएं I #yqdidi #YourQuoteAndMine #yqhindi #क़लम_ए_हयात #कुहासे_की_चादर_Qeh

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ठिठुरते सर्दी के मौसम में कुहासे की चादर देखकर सूरज भी अपना मुंह ढककर सो जाता है।
देखता रहता है हसीनों के सपने जागता है तो कभी दूसरा पहर कभी दूसरा दिन हो जाता है।
कुहासे की चादर पड़ी हो गर आंखों पर तो दूर तक देखने का प्रयास करना व्यर्थ हो जाता है।
जीवन की राह दिखाई ना दे तो एक-एक कदम आगे बढ़ते रहो रास्ता खुद ही मिलता जाता है 🌝प्रतियोगिता-103 🌝
 
✨✨आज की रचना के लिए हमारा शब्द है ⤵️

🌹"कुहासे की चादर "🌹

🌟 विषय के शब्द रचना में होना अनिवार्य नहीं है I कृप्या 
केवल मर्यादित शब्दों का प्रयोग कर अपनी रचना को उत्कृष्ट बनाएं I

Writer1

फ़स्ल -ए- गुल: बाहर का मौसम हिद्दत-ए-ताब: तपिश और चमक शम्स: सूरज 🌝प्रतियोगिता-103 🌝 ✨✨आज की रचना के लिए हमारा शब्द है ⤵️ #yqdidi #YourQuoteAndMine #yqhindi #क़लम_ए_हयात #कुहासे_की_चादर_Qeh

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फ़स्ल -ए- गुल बीत गया, आगमन शरद ऋतु का हुआ,
कुहासे की दौशाला ने,ऐ प्रकृति जिस्म तेरा ओढ़ लिया,
शम्स की हिद्दत-ए-ताब को मध्यम किया,
जैसे चुपके से कोई आंख-मिचोली हो खेल रहा। फ़स्ल -ए- गुल: बाहर का मौसम
हिद्दत-ए-ताब: तपिश और चमक
शम्स: सूरज

🌝प्रतियोगिता-103 🌝
 
✨✨आज की रचना के लिए हमारा शब्द है ⤵️

Anil Prasad Sinha 'Madhukar'

🌝प्रतियोगिता-103 🌝 ✨✨आज की रचना के लिए हमारा शब्द है ⤵️ 🌹"कुहासे की चादर "🌹 🌟 विषय के शब्द रचना में होना अनिवार्य नहीं है I कृप्या केवल मर्यादित शब्दों का प्रयोग कर अपनी रचना को उत्कृष्ट बनाएं I #yqdidi #YourQuoteAndMine #yqhindi #क़लम_ए_हयात #कुहासे_की_चादर_Qeh

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सर्द हवाओं ने  अपने रूतबे को, बड़ी खूबसूरती से  फैलाया है,
शबनमी बूँदें  धरा की हरी  चादरों पर, मोतियों को  बिछाया है।
धुँध शांत  वातावरण में, सर्द हवाओं का शोर  फैला चहुँओर है,
फलक पर आफ़ताब कुहासे की चादर में, अपने को छुपाया है। 🌝प्रतियोगिता-103 🌝
 
✨✨आज की रचना के लिए हमारा शब्द है ⤵️

🌹"कुहासे की चादर "🌹

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केवल मर्यादित शब्दों का प्रयोग कर अपनी रचना को उत्कृष्ट बनाएं I


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