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Best AaveshVaani Shayari, Status, Quotes, Stories

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Ashok Mangal

हमें भिखारी बनाने के कई उपक्रम दिन रात चलाए जा रहे !
हम बेरोजगार और मंहगाई से आगे बढ़कर कारण बता रहे !!
अनचाहे फ़ोन हमारे व्यापार करने के समय और मनस्थिति पर जुल्म ढा रहे !
ऐसे में बैंको के एजेंटो के फ़ोन तो सायबर क्राइम की तलवार भी लटका रहे !!

बगैर इनके पुख्ता इंतजाम किए, सरकार डिजिटल मुद्रा प्रचलन को तरंगित है !
बहुसंख्य जनता संगणकीय शिक्षा से वंचित व साइबर क्राइम से आतंकित है !!
आई आई टी जैसी अति उच्च शिक्षा प्राप्त किए छात्र भी है बेरोजगार !
प्रक्रिया किनारे लगा उच्च पदों पर सीधी भर्ती भी करने लगी है सरकार !!

आरक्षण का झुनझुना राजनीति का खिलौना समझ बजाया जाता रहा है !
दरअसल सरकारी पदों को खाली, उनका काम ठेके से कराया जा रहा है !!
पांच किलो राशन बांट भिखारियों सा महसूस कराने की साज़िश रची जा रही !
मुफ्त अनाज से जनता अपने खाने भर के इंतजाम से कमाने के हक को भुला रही !!

सरकार राजशाही व्यवस्था की नहीं लोकतन्त्र की व्यवस्था के तहत सत्तासीन है !
अफसोस सत्ता राजशाही तानाशाही के आचरण में तल्लीन है !!
छोटे मोटे व्यापार से कोई कमा खा ले, ऐसे हालात ही नहीं है !
इक्के दुक्के कमा ले तो क्लिष्ट जी एस टी की पुर्तत्ता आसान नहीं है !!

जी एस टी भर के खरीदे माल का भी तब तक इनपुट क्रेडिट नहीं मिलता !
जब तक माल बेचने वाला उस जी एस टी को सरकार में जमा नहीं करता !!
खरीद का भुगतान करने के बाद हमारा विक्रेता पर कोई नियंत्रण नहीं !
ऐसे में उसके कुकर्मों की सजा हमपर लादना, कदापि न्यायसंगत नहीं !!

कुछेक उच्च मध्यम वर्ग ने कमा खा के कुछ जमा भी कर रक्खा है !
तो उन्हें भिखारी बनाने के लिए मोबाइल पर जुआ बिछा रक्खा है !!
बैंको में जमा राशि भी पांच लाख तक ही है सुरक्षित !
रकम घटती ही जाती यदि रखी जाय बैंको में संचित !!

मिलने वाले ब्याज से अधिक दर से रुपए की कीमत घटती है !
अनुमान के अनुसार 10 साल बाद बैंक जमा राशि आधी ही बचती है !!
बगैर काम के दाम बांटने के मंसूबे भी नेता जाहिर कर रहे !
इसके भार से भी मध्यम वर्ग भिखारियत की ओर बढ़ रहे !!

खानपान में धड़ल्ले से कैंसर परोसा जा रहा !
इसका मंहगा इलाज परिवार को भिखारी बना रहा !!
राजनीति अब सिर्फ अपनी और चेले चपाटों की समृद्धि की सोचती है !
देश की प्रगति किसी के जहन में रची रमी बसी नहीं है !!

युवाओं को अनैतिकता और नशे पत्ते में धकेला जा रहा !
बेरोजगारी का आलम गुन्हेगारी ही बढ़ा रहा !! हे राम...
- आवेश हिन्दुस्तानी 7.5.2024

©Ashok Mangal #election_2024 
#AaveshVaani 
#JanMannKiBaat

Ashok Mangal

White रोजगार की नीतियां जब तक नहीं बनेगी !
देश की भावी पीढ़ी की दशा नहीं बदलेगी !!
मशीनों की जरूरत मशीनों से पूरी करो !
इंसानों की जगह रोबोट न खड़े करो !!

श्रम कानूनों को पहले जैसे बहाल करो !
देश के मजदूर के हकों पे न प्रहार करो !!
किसानों को सही दाम देकर करो समृद्ध !
कर्ज माफी की आए ही नहीं कभी नौबत !!

उद्योजकोंं का कर्ज़ हरगिज़ न माफ़ करो !
सारी संपत्ति जब्त कर सही से हिसाब करो !!
मध्यम वर्ग अमीर गरीब के लिए नहीं कमाता !
सरकारों का कर इस वर्ग पर ही कहर ढाता !!

अमीर लूट से, गरीब छूट से लाभ उठाता !
इस सारे बोझ तले मध्यम वर्ग दबता ही जाता !!
कुछ रोज़गार हम सुझाना चाहते हैं !
सरकारी जमीनों पर पेड़ लगाए जा सकते हैं !!

कार्बन क्रेडिट का लाभ भी देश को मिलेगा !
पर्यावरण संवर्धन से इलाज का भार घटेगा !!
बरसे जल को ज़मीन में संचित करने के हो उपक्रम !
कानून अनुपालन में भी रोजगार हो सकते उत्पन्न !!

जुर्माने की कुछ रकम अनुपालन कराने वाले को दें !
जनकोष पर इसका भार भी कतई न पड़े !!
सड़कों पर वाहन अक्सर कानून नहीं पालते हैं !
इससे दुर्घटना के शिकार हो कई स्वर्ग सिधारते हैं !!

नेताओं को कमाने नहीं जाना, मध्यम वर्ग ने कमाना है !
दोनों हाथों से लुटाना, मध्यम वर्ग पर कहर बरपाना है !!
किसान को सही दाम, हर मजदूर को सही दाम पर काम !
इससे ज्यादा मुफ्त समृद्धि बंटने पे लगनी ही चाहिए लगाम !!
हे राम...
- आवेश हिन्दुस्तानी 04.05.2024

©Ashok Mangal #alone 
#AaveshVaani 
#JanMannKiBaat

Ashok Mangal

White मध्यम वर्ग की यही गुहार ! 
हमें भी जीने दे सरकार !!

एक अमीरों को बांटे है,
एक गरीबों को बांटेगा !
मध्यम वर्ग की जेब तो,
ये दोनों ही काटेगा !!

अमीर बहुत ही है अमीर,
पर संख्या उनकी थोड़ी है !
गरीब बड़ी संख्या में है,
मध्यम वर्ग उनसे कम ही है !!

मध्यम के खर्चे बढ़ रहे,
उनके बच्चे कैसे पलेंगे !
उनपर कर का भर पड़ेगा,
वे भी गरीब हर हाल में बनेंगे !!

आरक्षण से गुणवत्ता को,
किनारे लगाया दशकों से !
गुणवत्ता से बैर रखोगे,
आखिर गुणवंत कितना तरसे !!

नेताओं से एक सवाल,
नौकरियों को करो बहाल !
नीतियां बनाओं की ऐसी,
नौकरियां पाए हरेक लाल !!

अमीर गरीब को बांट देने से 
समृद्धि आनी ही नहीं !
5 किलो अनाज या 8.5 हजार,
बगैर रोजगार तरक्की नहीं !!
आवेश हिन्दुस्तानी 03.05.2024

©Ashok Mangal #Hope 
#AaveshVaani 
#JanMannKiBaat

Ashok Mangal

निरंकुशता पर अंकुश के सर्वोच्च के पास सीमित है अवसर !
तानाशाही प्रवृत्ति प्रेरित सत्ता, फ़ैसले ही बदल देती है अक्सर !!

लोकतन्त्र की पताका फहराने में सर्वोच्च की है अटूट आस्था !
अन्य संवैधानिक संस्थाओं बनिस्पत सर्वोच्च में है जनआस्था !!

आज़ादी के चमन में लोकतन्त्र ही शोभायमान हुआ करता है !
तानाशाही में तो आज़ाद वतन गुलामों जैसा ही सिसकता है !!

चुनावी चरण शुरू हुआ, वीवीपैट गिनने के फ़ैसले के बगैर !
फांसी सजायाफ्ता हेतु सर्वोच्च सहमति देर रात सुनवाई पर !!

यहां एक व्यक्ति की नहीं देश की न्याय अपेक्षा टाली जा रही !
तारीख पे तारीख से जनता जनार्दन की आस्था डगमगा रही !!

वीवीपैट का आदेश भी सर्वोच्च ने सालों पहले दिया है !
गिनने में आनाकानी है तो लगाने का औचित्य ही क्या है !!

बॉन्ड असंवैधानिक ठहराने पर भी आगे कोई कार्यवाही नहीं !
जुटाई रकम व उससे अर्जित संपत्ति की जब्ती जरूरी ही !!

नकली दवाओं के दोषियों को भी सलाखों में भेजना चाहिए !
जनस्वास्थ्य से खिलवाड़ वालों पर सख्ती ही बरतनी चाहिए !!

लगता है देश की जनता को जीना है अब राम भरोसे ही !
आज़ादी के सपने भी छोड़ देने, किसी को भी बिना कोसे ही !!

- आवेश हिन्दुस्तानी 19.04.2024

©Ashok Mangal #AaveshVaani 
#JanMannKiBaat

Ashok Mangal

सर्वोच्च की मानहानि, माफ़ी नहीं गई मानी !

सलवार पहन के बाबा बेबी रुपधर में भागे थे !
आज सर्वोच्च में उनके सारे सितारे अभागे थे !!

भ्रामक प्रचार, झूठे दावे,अब हलफनामा भी निकला झूठा !
सबूत स्वरूप सर्वोच्च में पेश हवाईटिकट भी निकला झूठा !!

सर्वोच्च की मानहानि में दो तीन माफीनामे किए पेश !
सर्वोच्च ने सभी ठुकरा दिए, कस दिये बाबा के पेच !!

झूठी दवा पर तीन अधिकारियों को भी सर्वोच्च ने निलंबित किया !
केंद्र और राज्य सरकारों को भी कड़ी कार्यवाही का निर्देश दिया !!

लगता है अब इस बाबाजी को करनी पड़ेगी जेल की सैर !
यदि ऐसा किया तो अन्य बाबाओं की भी नहीं रहेगी खैर !!

जादुई दवाओं का प्रचार प्रसार उत्पादन विक्रय प्रतिबंधित है !
अफ़सोस आजकल के विज्ञापनों में ये धड़ल्ले से प्रचलित है !!

देश के कानूनों की जो जो उड़ा रहे धज्जियां !
सर्वोच्च कार्यवाही से अब पड़ेगी हथकड़ियां !!

भला हो समय रहते सुधर जायें सारे बाबा !
माफी मांगे और अब भ्रामकता से करे तौबा !!

तभी सिर्फ़ तभी जेल यात्रा टल सकती या अल्प हो सकती !
यदि ऐसा न हुआ तो सारी उमर सलाखों में गुजर सकती !!

हे राम...

- आवेश हिन्दुस्तानी 10.04.2024

©Ashok Mangal #GarajteBaadal 
#AaveshVaani 
#JanMannKiBaat 
#Health

Ashok Mangal

💐आओ नये वर्ष पर करें, गये वर्ष के लेखे जोखे का विचार 💐

आपके स्वास्थ्य पर प्रहार, मिलावटी खाद्य से भरे बाज़ार !
धड़ल्ले से नशे का व्यापार, प्लास्टिक पैकिंग की भरमार !!
मोबाइल रेडिएशन की मार, चिकित्सा व्यवस्था में लूटमार !!!

आपके समय पर प्रहार, अनचाहे फ़ोन आते बारंबार !
कर कानूनों में बदलाव लगातार, व्हाट्सएप पर भ्रामक प्रचार !!
झूठी खबरों की भरमार, राजनैतिक गुमराही का गरम बाज़ार !!!

आपकी बुद्धि पर प्रहार, बाबा भोपे के झूठे चमत्कार !
इतिहास के तथ्यों से छेड़छाड़, नामचीनों द्वारा जुए का प्रचार !!
बचपन से मोबाइल की मार, पाठ्यक्रमों में बदलाव का अभाव !!!

आपके गृहस्थ जीवन पर प्रहार, शादियां हो रही उम्रदराजी पार !
प्रजनन में असहजता की मार, बात बिनबात तलाक़ को तैयार !!
बच्चों का लालन पालन तार तार, आपसी रिश्ते बेरुखी के शिकार !!!

आपकी संस्कृति पर प्रहार, फूहड़ टीवी सीरियलों की मार !
फिल्मों में अश्लीलता की भरमार, नैतिकता का जड़ मूल से संहार !!
कपड़े पहनते कर तार तार, तरुणाई स्वछंदता से बढ़ रहा दुराचार !!!

आपकी समृद्धि पर प्रहार, सायबर धोखेबाजी लगातार !
बैंकों का दूषित कारोबार, माफिया समृद्ध सर पर सवार !!
शिक्षा खर्च अपरम्पार, कानूनी प्रक्रिया पहुंच से बाहर !!

सोचें समझें और नये वर्ष की शुभकामनाओं सहित आगे भेजें !
जवलंत मुद्दों को न टाला जाये, न ही छोड़ा जाये राम भरोसे !!
राजनीति के शिकार न बन, एकजुटता से इन सबका हाल सोचें !!!

- आवेश हिन्दुस्तानी 09.04.2024

©Ashok Mangal #raindrops 
#AaveshVaani 
#JanMannKiBaat

Ashok Mangal

💐आओ नये वर्ष पर करें, गये वर्ष के लेखे जोखे का विचार 💐

आपके स्वास्थ्य पर प्रहार, मिलावटी खाद्य से भरे बाज़ार !
धड़ल्ले से नशे का व्यापार, प्लास्टिक पैकिंग की भरमार !!
मोबाइल रेडिएशन की मार, चिकित्सा व्यवस्था में लूटमार !!!

आपके समय पर प्रहार, अनचाहे फ़ोन आते बारंबार !
कर कानूनों में बदलाव लगातार, व्हाट्सएप पर भ्रामक प्रचार !!
झूठी खबरों की भरमार, राजनैतिक गुमराही का गरम बाज़ार !!!

आपकी बुद्धि पर प्रहार, बाबा भोपे के झूठे चमत्कार !
इतिहास के तथ्यों से छेड़छाड़, नामचीनों द्वारा जुए का प्रचार !!
बचपन से मोबाइल की मार, पाठ्यक्रमों में बदलाव का अभाव !!!

आपके गृहस्थ जीवन पर प्रहार, शादियां हो रही उम्रदराजी पार !
प्रजनन में असहजता की मार, बात बिनबात तलाक़ को तैयार !!
बच्चों का लालन पालन तार तार, आपसी रिश्ते बेरुखी के शिकार !!!

आपकी संस्कृति पर प्रहार, फूहड़ टीवी सीरियलों की मार !
फिल्मों में अश्लीलता की भरमार, नैतिकता का जड़ मूल से संहार !!
कपड़े पहनते कर तार तार, तरुणाई स्वछंदता से बढ़ रहा दुराचार !!!

आपकी समृद्धि पर प्रहार, सायबर धोखेबाजी लगातार !
बैंकों का दूषित कारोबार, माफिया समृद्ध सर पर सवार !!
शिक्षा खर्च अपरम्पार, कानूनी प्रक्रिया पहुंच से बाहर !!

सोचें समझें और नये वर्ष की शुभकामनाओं सहित आगे भेजें !
जवलंत मुद्दों को न टाला जाये, न ही छोड़ा जाये राम भरोसे !!
राजनीति के शिकार न बन, एकजुटता से इन सबका हाल सोचें !!!

- आवेश हिन्दुस्तानी 09.04.2024

©Ashok Mangal #MeriMatiMeraDesh 
#AaveshVaani 
#JanMannKiBaat

Ashok Mangal

सर्वोच्च में बजने लगा अब बिगुल न्याय संगत !
रमने लगी जनमन में न्याय पे विश्वास की रंगत !!

संजय सिंह की रिहाई से राहत की सांस आई !
और नेताओं के छूटने की भी आस बंध आई !!

चुनाव में जनपेक्षित सब के लिए समान अवसर !
सत्ता के जारी दुरुपयोग से ये हरगिज़ नहीं संभव !!

ईवीएम पर भी किसी को लेशमात्र भी नहीं भरोसा !
आयोग की मनमानी से इसे ही जा रहा परोसा !!

आयोग चुनाव प्रक्रिया में सत्ता का बहुमत है !
ज़ाहिर है वही नियुक्त होगा जो सत्ता से सहमत है !!

लोकतंत्र को लहूलुहान सरे आम किया जा रहा !
विपक्षी विरोध बहुत ही कमज़ोर नजर आ रहा !!

बेरोजगारी समस्या पर निदान कोई न सुझा पा रहा !
बेरोजगारी भत्ते से आगे कोई दिमाग ही न चला रहा !!

बिचौलियों की लूट में सभी दलों की भागीदारी है !
इसीलिए किसानी में कमाई की मारामारी है !!

एमएसपी का भार भी आम जनता पर ही पड़ता है !
बिचौलियों की लूट को रोकना किसी को न सूझता है !!

कुल मिला सारे नेता जन प्रश्नों के हल से दूर भागते है !
जन की गाड़ी कमाई हड़प जन पर ही रोब झाड़ते हैं !!

आज़ादी के इस चमन में नेता ही आज़ाद है !
जनता रही गुलाम सदियों तक आज भी गुलाम है !!

- आवेश हिन्दुस्तानी 4.4.2024

©Ashok Mangal #AaveshVaani 
#JanMannKiBaat

Ashok Mangal

Holi is a popular and significant Hindu festival celebrated as the Festival of Colours, Love, and Spring. चुनाव नहीं चुनाव का तमाशा हो रहा !
निष्पक्षता है ही नहीं छलावा हो रहा !!
बैलेट की मांग जनता उठा रही है !
मिलने से मनाही संशय बढ़ा रही है !!

बिका हुआ मीडिया, प्रेस वार्ता से दूरी !
यानि मनमानी पर टिकी चुनावों की धुरी !!
वी वी पैट की गिनती में भी है आनाकानी !
सर्वोच्च के द्वारा इसपर आंखें मूंदी जानी !!

साफ है, खतम हुई लोकतंत्र की कहानी !
तानाशाही के दौर में आ पहुंची सत्ता सुहानी !!
देश की युवा पीढ़ी को जुए सट्टे नशे पत्ते में धकेला जा रहा !
नैतिक मूल्यों की होली कर पग पग पे स्वार्थ में ठेला जा रहा !!

शादियां समय पर नहीं, वृद्धावस्था में बच्चों का साथ नहीं !
भारतीय संस्कृति पर पाश्चत्यता का आघात दिन रात ही !!
कलाकारों ने भी जुए के प्रसार में शौहरत नीलाम कर दी !
टीवी सीरियलों ने पारिवारिक व्यवस्था में साजिशें भर दी !!

काम के फ़ोन में नेटवर्क काम ही नहीं करता !
अनचाहे फोनों का आतंक दिन रात तंग करता !!
साइबर फ्रॉड के आतंक से हर कोई भयभीत है !
बैंकों द्वारा फ़ोन आने से हर ग्राहक संशयित है !!

बैंक कर्मियों की मिलभगत भी नई बात नहीं !
सत्ता का जनप्रश्नों से सरोकार ही नहीं !!
बुरा लगाने जैसी बात नहीं बोली है !
होली है प्यारे, बुरा न मानों होली है !!

-आवेश हिन्दुस्तानी 24.03.2024

©Ashok Mangal #holi2024 
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#JanMannKiBaat 
#Elections

Ashok Mangal

काले धन से सने सब नेता !
'कर' छूट हर दल ले लेता !!

जन जन पर 'कर' लाद देता !
नाना प्रकार के कष्ट भी देता !!

कर उद्गम पे काट के लेना !
निश्चित समय पे जमा करा देना !!

नहीं किया तो दण्ड ब्याज भी देना !
यानि बिना वेतन कर वसूल के देना !!

जिसका कट गया है कर उद्गम पर !
कर काट कर भरा ही नहीं गया गर !!

जमा नहीं मिलेगा उसे कटा है जिसका !
ये जिम्मा क्यूं कर माना जाता उसका !!

सरकार ने भरोसा काटने वाले पे किया !
उसने गर सरकार को धोखा दिया !!

कटवाने वाले का इसमें क्या दोष !
अफ़सोस इनको इतना भी न बोध !!

कलम की इल्तज़ा है सर्वोच्च से !
स्वयं से वो इसका स्वबोध ले !!

जारी करे इस मुद्दे पर स्पष्ट दिशानिर्देश !
ताकि करदाताओं में जाय सही संदेश !!

इसी प्रकार का दोष जीएसटी  में भी !
सही बिल बना के जीएसटी ले ले जो भी !!

यदि वो जमा न कराए सरकार में !
उसी से वसूली उपक्रम चले सरकार से !!

जिसने भर दिया खरीद पर ही !
उसे उसका क्रेडिट न देना ठीक नहीं !!

यहां भी एकमात्र दोषी वही है !
जिसने वसूल करके भरा नहीं है !!

मेरे सुझाव हर दृष्टिकोण से तर्क संगत ही है !
सरकार जनता की सेवक, जनता सरकार की गुलाम नहीं है !!
-आवेश हिन्दुस्तानी 23.03.2024

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