Nojoto: Largest Storytelling Platform

Best अलौकिक Shayari, Status, Quotes, Stories

Find the Best अलौकिक Shayari, Status, Quotes from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos aboutराधे कृष्ण की ज्योति अलौकिक, अलौकिक शब्द का अर्थ, अलौकिक का मतलब, अलौकिक का प्रत्यय, अलौकिक मीनिंग इन हिंदी,

  • 15 Followers
  • 17 Stories

बेजुबान शायर shivkumar

#navratri #navaratri2024 #navratri2025 #नवरात्रि शीश पर #चंद्र विराजे, मां #चंद्रघंटा कहलाती । तृतीय रुप में #माता , जग में बड़ी सुहाती ।। #अलौकिक , #अविकारी , मां है कल्याणकारी ।

read more

Amit Singhal "Aseemit"

Pallavi

कुछ लोगों से मिलकर
अपनापन सा लगता है
खोया हुआ अपना कोई
लौट आया सा लगता है....

पल भर बस बात करने से जिनके
मन महक सा जाता है
कुछ लोगो से रिश्ता भी
कुछ अनोखा सा लगता है.....

अजनबी होकर भी जो
अपने से लगते हैं
पहली बार मिलकर भी जिनसे
अपनापन सा लगता है....

लगता है जैसे इनसे
नाता कोई गहरा सा है
या जैसे कोई रिश्ता इनसे
लगता बहुत पुराना सा है....

ना जाने कैसे कभी 
किसी से इतना लगाव सा लगता है
की अजनबी होकर भी कोई
बेहद खास सा लगता है....

©Pallavi Mamgain #delusion #Connection #अलौकिक 
#Divine

LOL

प्रेम कविताएं पढ़ना
उतना ही अलौकिक है
जितना कि..
प्रेम में पड़ना
©KaushalAlmora #प्रेम 
#love 
#रोजकाडोजwithkaushalalmora 
#kaushalalmora 
#yqdidi 
#yqbaba 
#अलौकिक 
#कविता

Anjali Jain

#अलौकिक सीता 03.05.20

read more
प्यारी सीता, तुम पर बहुत अभिमान है पर इस अभिमान को व्यक्त करने के लिए उपयुक्त शब्द नहीं हैं! सारी सुख - सुविधाओं को छोड़ दें, लेकिन जो मानसिक यातना व कष्ट तुमने सहे, उनके लिए अयोध्या अक्षम्‍य है इससे यह तो सिद्ध होता है कि स्त्री अपने कष्टों में बिल्कुल अकेली है! कोई परिवार, कोई समाज,कोई बंधु - बांधव उसके साथ नहीं होता! चाहे वह सीता रही हो या द्रोपदी!
सीता, तुम्हारी असीम पीड़ा को समझने के लिए भी हृदय चाहिए! सुकोमल सीता ने वज्र जैसा हृदय बनाकर, पुत्रों का मोह त्यागकर, दृढ़तापूर्वक धरती मां की गोद में जाने का जो निर्णय लिया, वह अहो! अहो!
तुम्हारी इस कठोरता ने हृदय और आत्मा को असीम शांति और शीतलता प्रदान की, सारे कष्टों को झुलसन जैसे शीतल हो गई! स्त्री चुपचाप सहन करती है उसका आशय यह तो नहीं कि उसकी सहनशीलता की कोई सीमा नहीं, एक सीमा के बाद उसका हृदय सचमुच वज्र बन जाता है! पुरुष और समाज पहला निर्णय कर सकता है पर अंतिम निर्णय तो उसीका होगा!
राम, उस समय तुम कितने अकेले थे? ये परिवार, ये समाज क्या उस दुख को दूर कर सकते थे, जिस समाज के लिए तुमने  निर्दोष और महान सीता का साथ छोड़ दिया था! #अलौकिक सीता #03.05.20

Vikas Dhaundiyal

 #अलौकिक #प्रेम

Follow us on social media:

For Best Experience, Download Nojoto

Home
Explore
Events
Notification
Profile