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shreshthikhandel1889
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shreshthi khandelwal

//writer //instagram account:-@anka_hidastan @solitary_writers

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shreshthi khandelwal

समझते हो तुम तन्हा खुद को,
यहां और भी लोग तन्हा हैं...
लगता है तुमको कि तुम ही गुजरे हो इन हालातों से,
पर जनाब यहां हर किसी के चेहरे पर झूठी मुस्कान का पहरा है...
पहना है नकाब यहां हर किसी ने,
जिसके पीछे इक हंसता और इक रोता चेहरा है...
झांक कर देखो उनकी इस गहरी खामोशी में,
उनका दिल कभी इधर तो कभी उधर भटकता है...
नहीं मिल रहा उनको कोई सुकून अब,
उनका दर्द तुमसे भी कहीं ज्यादा गहरा है...
खामोशी भी सुन लोगे तुम उनकी,
अगर लगे वो दर्द तुमको अपना है...

©shreshthi khandelwal #alone

14 Love

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shreshthi khandelwal

कुछ इस प्रकार सुकून मिलता है एक भक्त को,
हाथों में चाय हो और सामने महादेव हों...

©shreshthi khandelwal

15 Love

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shreshthi khandelwal

We remain silent when we  लोगों की तो आदत है,
किसी के दर्द पर बेबाक हंसने की...
फर्क नहीं पड़ता उनको,
किसी के मर मर कर जीने से...
लोगों का क्या है जीते जी तो जीने नहीं देते,
और जब लेटे हों मौत की सेज पर
तो अच्छा इंसान था, वही लोग ये बोल देते हैं...

©shreshthi khandelwal #Silent

12 Love

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shreshthi khandelwal

#आखिर कौन हूं मैं...

#story

#आखिर कौन हूं मैं... #story #poem

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shreshthi khandelwal

जिस दिन मिले वह दिन भी कितना हसीन था,
तुम मेरे और मैं तुम्हारे करीब थी,
लग रहा था सब इक सपने जैसा,
पर जब छूआ तो पता चला
तुम मेरे साथ थे,
वही मेरी जिंदगी का असल सुकून था....

©shreshthi khandelwal

12 Love

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shreshthi khandelwal

#बेआबरू

#poetryunplugged
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shreshthi khandelwal

इश्क़ की बूंदे कुछ इस कदर पड़ीं,
कुछ ख्वाब संजोए,कुछ लम्हे बंटोरे...
मासूम सा वो रिश्ता,जिसमें बंधते दो हसीन चेहरे,
यादों की टहनी,खड़ी है अबतक पेड़ को जकड़े...
अपने बीज को दे इक नई पहचान,
उन दोनों ने दी एक नई उड़ान...
अपने अनमोल रिश्ते की निशानी को,
समझाया इस जिंदगी का रुझान...
कभी सूखी शाखा,कभी टूटी शाखा,
लड़खड़ाया रिश्ता तो,एक दूजे का हाथ थामा...
फिर सावन आए फिर से लहराई शाखा,
जड़ से सींचा रिश्ता, और बना फिर एक मजबूत इरादा...
यादों की पोटरी बढ़ती गई,
दोनों की उम्र होती गई...
जिंदगी से तकाजा अब कोई ना रहा,
पहले एक ने साथ छोड़ा,
फिर दोनों ने ही जिंदगी से मुंह मोड़ा...

©shreshthi khandelwal

15 Love

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shreshthi khandelwal

#पापा
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#पापा . . . . . . . #Birth

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shreshthi khandelwal

#Maa❤ 
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मां अगर मैं तुम्हारी बेटी हूं,तो तुम मेरी दोस्त क्यूं नहीं?

Maa❤ . . . . . मां अगर मैं तुम्हारी बेटी हूं,तो तुम मेरी दोस्त क्यूं नहीं? #MyPoetry

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shreshthi khandelwal

मैं सांवली सी छोरी,
देखती हूं खुद को आईने में चोरी चोरी...
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मैं सांवली सी छोरी, देखती हूं खुद को आईने में चोरी चोरी... . . . . . #kahanikaar

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