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Praveen Jain "पल्लव"
White पल्लव की डायरी बन गये नर पिशाच खून सबका चूसने लगे है भाव मनोभाव दैत्यों जैसे राजा बनकर छलने लगे है जनता की सांसे रोकर फतेह सिंहासन जबरन करने लगे है पुण्यकर्म का सहारा लेकर पापो को बड़ा करने लगे है गति मति का ज्ञान नही आगे आने वाले भवो के दर्पण नरको जैसे दिखने लगे है प्रवीण जैन पल्लव ©Praveen Jain "पल्लव" #Sad_shayri भाव मनोभाव दैत्यों जैसे पुण्यकर्म की आड़ में पाप करने लगे है #nojotohindi
Mansha Sharma
White 🍁मन के भाव 🍁 No_3263 अक्षय तृतीया कलयुग मे धरती पर पापों का बढ़ गया भार एक बार फिर से धरती पर लो अवतार सतयुग और त्रेता का हुआ प्रारंभ आज के दिन बहुत कुछ हुआ था आरंभ आज का दिन बड़ा महान आज के दिन मां गंगा का हुआ अवतण आज ही के दिन महर्षि परशुराम जी का हुआ जन्म आज के दिन ही मां अन्नपूर्णा जन्म लेकर आई आज के दिन ही भगवान कृष्ण ने चीर बढ़ाकर द्रौपदी की थी लाज बचाई कृष्ण सुदामा का आज के दिन हुआ था मिलन कुबेर को मिला खजाना आज के दिन ब्रह्मा जी के पुत्र अक्षय कुमार आज के दिन ही थे जाये श्री बद्रीनाथ के कपाट आज के दिन भक्तो के लिए खुलवाएं आज के दिन महाभारत युद्ध हुआ था संपूर्ण वृंदावन के बांके बिहारी के चरण दर्शन से सब की मनशा होती पूर्ण अक्षय तृतीया अपने आप मे सिद्ध मुहूर्त समेटे है आयी सभी भारतवासियो को अक्षय तृतीया की हो बहुत-बहुत बधाई अक्षय तृतीया पर सबके घर हो खुशियां धन-धान्य की वर्षा बरसे कोई भी कभी अन्न जल को ना तरसे मनशा सभी के जीवन की करते है हम मंगल कामना एक बार फिर से आप सभी को अक्षय तृतीया की हो शुभकामना स्वरचित_सुरमन_✍️ 22/4/23 ©Mansha Sharma #मन के भाव #अक्षयतृतीया #akshaya_tritiya_2024 #nojato
Mansha Sharma
🍁मन के भाव 🍁 रुबरु जय श्री कृष्णा राधे राधे कहने का हमने खोजा यह रास्ता मकसद हमारा सभी को एक दूसरे को जोड़ते रहना अपने हो या पराए कभी तो पड़ता एक दूसरे से वास्ता रूबरू होना चाहते सबसे जिसमे कुछ अपने कुछ पराये क्यों ना एक दूसरे से जय श्री कृष्णा राधे राधे कहा जाये चलो इस बात पर कुछ तो लिखा जाये कुछ और नही तो सुबह-सुबह सबसे राम राम ही कहा जाये सुबह-सुबह के अभिवादन से चेहरों पर मुस्कान आये सुबह-सुबह मंदिरों से घंटे शंख की आवाज आए मन को एक शांति मिल जाये हमारा शीश श्रद्धा से झुक जाये सुबह सवेरे पक्षी भी चहक जाये प्रभु का नाम लेते ही विघ्न दूर हो जाये बिना कहे सबकी मनशा पूरी हो जाये स्वरचित_ सरमन_✍️ 2/222 ©Mansha Sharma #मन के भाव #सुरमन_✍️ #रुबरु
Ghumnam Gautam
भाव बिलखकर माँगते, शब्द-शब्द से ठौर पर अब आने से रहा, कविताओं का दौर #WorldPoetryDay #कवितादिवस ©Ghumnam Gautam #World_Poetry_Day #कविता #भाव #ghumnamgautam
Yogi Sonu
हर्ष कुमार श्रीवस्तव "आज़ाद"
फागुवां मनाएंगे होली खेलेंगे रंग भरे मौसम मे रंग खेलेंगे हो अपने पर भरोसा तो हम कुछ भी करेंगे दूसरे की भैस खोल के अपनी ही भैस कहेंगे फागुवां मनाएंगे होली खेलेंगे रंग भरे मौसम मे रंग खेलेंगे.... फागुन के मौसम मे मगन हो मिल कर रंग ग़ुलाल खेलेंगे जो डरना हैँ रंग ग़ुलाल से तो सब घर पर रहो शान से रंगों की महफिल जो आओगे तो फिर रंग से कहाँ बच पाओगे फागुवां मनाएंगे होली खेलेंगे रंग भरे मौसम मे रंग खेलेंगे.... जो भाँग पियेंगे भी घोटेंगे हो मस्त गुझिया भी खायेंगे फागुवां मनाएंगे होली खेलेंगे रंग भरे मौसम मे रंग खेलेंगे.... ©हर्ष कुमार श्रीवस्तव "आज़ाद" #Seawater भाव
Mansha Sharma
🍁मन के भाव 🍁 तस्वीर जिंदगी बीत रही पल-पल न जाने क्या हो अगले पल जो बीत गया वह था कल जियो तो खुलकर जियो जिंदगी कहीं जिंदगी थमने से थम न जाए रफ्तार जिंदगी नहीं मिलती बार-बार जिंदगी है जिंदा दिल्ली का नाम ना जाने कब हो जाए जीवन की शाम तुमसे लोगों की जुड़ी तकदीर कौन ना जाने कब बन जाए दीवार पर लगी तस्वीर मनशा है जीते जी लोगो के दिलों में बस जाओ तस्वीर बन उनके दिलों में छप जाओ जो हर छोटी-छोटी बात पर तुम्ही याद आओ बस उन्हे तुम्ही याद आओ स्वरचित_सुरमन_✍️ 3/2/22 ©Mansha Sharma #मन के भाव #तसवीर #nojato
Deepa Didi Prajapati
ईश्वरीय सम्पूर्ण सृष्टि का नक्शा रूपी पृथ्वी पर मनुष्य की भाव- संवेदनाओं को नष्ट कर देने वाला स्थल,कारागार रूपी नरक है। ©Deepa Didi Prajapati #भाव- संवेदनाएं
Mansha Sharma
🍁मन के भाव 🍁 तन्हाई दिख रहा है घुप अंधेरा क्या करे इन उजालो का हम जब साथी तु नही है मेरा हमे घेरे रहता है तेरी यादो का घेरा ना जाने कब होगा जीवन मे सवेरा यह तन्हाई हमे लगी डराने क्या करे तेरी याद जो लगी सताने तुम ना आने के ढूंढने लगे बहाने तुम्हे याद करते करते गला रुंध गया अश्क लगे बहने अब क्या कहे हमे तुमसे कुछ लफ्ज़ नही कहने मनशा है लौट आओ अब तुम्हारे बिना हमे तन्हाई के दर्द नही है सहने अगर तुम्हे कुछ लिखना चाहूं लिख ना पाऊं जज्बात कोरे कागज़ पर छलक ही जाती अंसुवन की धार क्यों छोड़ दिया मुझे इस तन्हाई की दुनिया मे बीच मझधार हम तो थे जन्म जन्म के साथी मनशा फिर क्यों बुझ गयी इस दिल की बाती टूट गये सांसो के तार टूट गये सांसो के तार स्वरचित _सुरमन_✍️ 12/8/22 ©Mansha Sharma #मन के भाव #तनहाई #कविता #nojato