Find the Latest Status about writing 21st century fiction from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, writing 21st century fiction.
Pragya Karn
दूर होकर भी करीब पाया तुम्हें ,, अब अपना नसीब बनाया तुम्हें,, गुस्सा होकर तुझसे, तुझसे ही बात करने को बेताब रहता है ये दिल ,, शायद तेरे हर लहजे में जादू है कोई,, जो दिल ने सबसे हसीन बताया तुम्हें ,, हाय, ये कातिल आंखें और चेहरा मासूम, शायद ,कुदरत ने फुरसत से बनाया तुम्हें दिल और धड़कन में रहेते हो तुम ,, एक पल भी नहीं भुलाया तुम्हें ,, मेरा खिलना-मुरझाना है तेरे हाथों में,, लो अपना दामन फैलाया तुम्हें ,, मेरे इन आंखों में तुम पढ़ लेना ,,, जो अब तक कह ना पाई तुम्हें ...... दूर होकर भी करीब पाया तुम्हे ,, अब अपना नसीब बनाया तुम्हे ...... ©Pragya Karn #tereliye #poem #poetry❤ #love❤ #writing #nojoto❤ #writing
Kumar.Satyajit
कोई तुम्हें नहीं जानता, ये तुम जानते हो। तुम्हें कोई अपना नहीं मानता, ये तुम जानते हो।। लाखों कि भीड़ में दिखाते हो, खुद को आजकल तुम। फिर भी तन्हा हो, ये राज तेरा हम जानते हैं।। ©Kumar.Satyajit #writing
Mili
पढ़ने वालों को लगता है मैंने सजाकर बस कुछ शब्दों को लिखा है... सच कहूं तो मैंने अपनी प्रेम कविताओं में हमेशा तुम्हें सिर्फ़ तुम्हें लिखा है... ©मिली #Pencil #writing #rainbowglimpse
#Pencil #writing #rainbowglimpse #Love
read moremovie facts
18th Century Japanese Man Time Travels to 2022 | Film/Movie Explained in Hindi/ #Videos
read moreDeepak Kumar 'Deep'
एक शायर की नजर में पाँच किस्म के शेर होते हैं _ एक वो जो जंगल में रहते हैं अपनी बादशाहत साबित करने के लिए शिकार करके अपनी दहशत फैलते हैं, दूसरे हैं कागजी शेर जो घर बैठे लिख तो सकते हैं पर अपनी बात नहीं रख सकते तीसरे वो जो घर में तो शेर हैं, मुश्किल वक़्त में ढ़ेर हो जाते हैं चौथे वो जो आपके घरों में खा कर पीठ पीछे आपकी ही बातें करते है पाँचवें वो जो रहते तो शांत हैं पर जरूरत पड़ने पर दहाड़ते भी हैं और अपनी ताकत का लोहा भी मनवाते हैं ©Deepak Kumar 'Deep' #Writing
चाँदनी
कविताएँ अभिश्रपित है उनके पथ पर जो समझ ना सके भावार्थ की शूल दिग्भ्रम अहिंसक है साथी चारों दिशा डाले है फूट शीर्ष पर रखिये आकलन को मन माया से दूर ऐसा ना हो मूल से वंचित रह जाए सागर निर्मूल गहराई मे डूब ©चाँदनी #writing