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Best फिसलता Shayari, Status, Quotes, Stories

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Mukesh Poonia

कितना भी #पकड़ो #फिसलता #जरूर है, ये #वक्त है '#साहब' #बदलता जरूर है। #विचार

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Ashraफ Ali (اشرف علی)

#फिसलता वक़्त

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गुरवत,
तन्हाई बेसबब बे हिसाब मिली
जब मैं बढ़ गया आगे, तो कुदरत को नई चाल
 मिली
वर्षो झूलसते रहे जिस आग मे
फिर वो मिली, तो वक़्त के बाद मिली....


                                           by...✍Ashraफ #फिसलता वक़्त

Author Sanjay Kaushik (YouTuber)

पानी की इक इक बूंद की तरह  वक़्त  हाथों से फिसलता जा रहा,
  बचपन गया जवानी चली जायेगी ये बुढ़ापा इशारो में बता रहा है
फिर इक दिन अपनो को छोड़ कर जाना पड़ेगा 
बस यही डर सता रहा है 
पानी की बूंदों की तरह वक़्त हाथो से फिसलता जा रहा है ।

.......…....संजय कौशिक #किसबातकाडरलगताहै वक़्त

Binay Babu

nojoto#Life#fol

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कुछ नही ठहरा यहाँ सब चलता चला गया।
ज़िंदगी रेत की भाँती फिसलता चला गया।

दिन, महीना,साल सब निकलता चला गया।
बचपन,जवानी,बुढ़ापा सब ढलता चला गया।

हित,नाता,रिशता सब सिमटता चला गया।
गांव,कस्बा,शहर सब बदलता चला गया।

खेल,खिलौना,कूचा सब खलता चला गया।
दिल,नैन,रैन,चैन सब जलता चला गया।

वादा,इकरार,विश्वाश सब टलता चला गया।
आह,पीड़ा,जज़्बात सब मचलता चला गया।

प्यार,स्नेह,अपनापन सब भुलता चला गया।
चेहरा,नकाब,मुखौटा सब खुलता चला गया।

रूप,किरदार,काया सब बलता चला गया।
व़क्त, लम्हा,दौर सब पिघलता चला गया।

कुछ नही ठहरा यहाँ सब चलता चला गया।
ज़िंदगी रेत की भाँती फिसलता चला गया। #nojoto#life#fol

Anup Giri

कितना भी पकङ लो #फिसलता ज़रूर है😜 ये #वक्त है साहब बदलता ज़रूर है😎

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कितना भी पकङ लो #फिसलता ज़रूर है😜 
ये #वक्त है साहब बदलता ज़रूर है😎

Shriyanshu Agrawal

Boy's Life...😴 #feelings #boyslife #hindiwriter #ash_babu

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Night sms quotes messages in hindi  प्यार संभालू तो यार फिसलता है,
यार संभालू तो परिवार फिसलता है,
खुद से ज्यादा फ़िक्र होती है अपनों की,
फिर ना जाने क्यों मेरा संसार फिसलता है... #NojotoQuote Boy's Life...😴
#feelings #boyslife #hindiwriter #ash_babu

Amit Manoher

ज़बर का ज़ोर मुझ पर चलता नहीं अब ये दिल किसी पर फिसलता ही नहीं। यू तो गुल है बहुत अभी भी गुलदान में पर मन है की अब मचलता ही नहीं। उड़ती है महक तेरे बदन की हवाओ में मैं हूँ की अब बाहर निकलता ही नहीं। #Poetry

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ज़बर का ज़ोर मुझ पर चलता नहीं
अब ये दिल किसी पर फिसलता ही नहीं।

यू तो गुल है बहुत अभी भी गुलदान में 
पर मन है की अब मचलता ही नहीं।

उड़ती है महक तेरे बदन की हवाओ में
मैं हूँ की अब बाहर निकलता ही नहीं।


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