Find the Best नित Shayari, Status, Quotes from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos aboutनितंबों क्या होता है, सरकून बसा की नित, नित्यानंद की वाणी, नित्यानंद की पुस्तक, सागरीय नितल की संरचना,
Dilip Singh Harpreet
दुर्गाष्ठमी के उपलक्ष में ..............* माँ सिद्धेश्वरी देवी * ....को समर्पित मुक्तक . दरबार में मैया नित उठ तेरे आऊँ सेवा को संसार दिया ... माँ नित ..... दर्शन तेरे पाऊँ . जिस कारज में डारू हाथ आशिष तेरे से ... माँ उसमें ही सुफल हो जाऊँ . में अग्यानी मनुज ... माँ ना कोई जानू मंत्र ही ना ही चढ़ाबे को है , पास मोरे .... मधुपर्क . देवमही नही में ... सिद्धेश्वरी में हूँ .... अंश तेरा ... क्षत्रिय . बस कृपा इतनी कीजो .... माँ " हरप्रीत " दास पे सेवा तोरी ..... पा जाऊँ !! ... .......... दिलीप सिंह हाड़ा " हरप्रीत शशांक " #Nojotonews #Hindikavi #हरप्रीत #Nojotolover #poem #Satya #Nojotoshayri #Nojotokavita #Nojotostory
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read moreगिरीश तिवारी आजाद
मां आदि शक्ति जगदम्बा है माता भवम भवानी तुम ही हो जगत रचैता तुम ही हो जग कल्याणी तुम असुर निकन्दनी माता तुम जग की भाग्यविधाता हे मइया शेरा वाली हे मइया जोता वाली तुमने ही असुर संहारे तुमने ही भक्त उबारे कण*कण में आप समाई तेरी महिमा गाई न जाये ब्रह्म*बिष्णु,शिवशंकर नित ध्यान तुम्हारा धरते नित ध्यान तुम्हारा धरते मां सुमिरन भी हैं करते तुम अजर*अमर*अविनासी तुम हो घट*घट की वासी मां मैं गिरीश शरण तेरी आया दे दो चरणों की छाया🙏 जय माता की #gk001
Satendra Sharma
🇮🇳🇮🇳🙏🙏🌹🌹 "हिन्दी दिवस के अवसर पर हिन्दी की सेवा में रत हिन्दी के सभी पुत्रियों और पुत्रों को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनायें" निज भाषा पर हम मान करें, अभिमान करें । हिन्द के कोने-कोने को जोडे़ रखना उसकी प्रकृति है ।। हिन्दी भाषा को हम क्षण-क्षण, नित-नित प्रणाम करें । हिन्दी, भाषा ही नहीं, भावों की अभिव्यक्ति है ।। सतेन्द्र शर्मा 'तरंग'
Gudvin Barche
हे गणेश गणपति गजानन मेरी पूजा तुझको अर्पण हिंदी गणित और व्याकरण सब करु तुम्हें समर्पण हे गजमुख गजानन मुझे ले लो अपनी शरण नित नित चोमू आपके चरणन हे गणेश गणपति गजानन मेरी पूजा तुझको अर्पण मेरा जीवन तुम्हें समर्पण जीवन के सारे विषय चरणों करू में अर्पण अर्पण समर्पण #-गुडविन-# #GaneshChaturthi
GaneshChaturthi
read morePrabodh Prateek
जय हिंद जय भारत है प्रीत जहाँ की रीत सदा मैं गीत वहाँ के गाता हूँ भारत का रहने वाला हूँ भारत की बात सुनाता हूँ काले-गोरे का भेद नहीं हर दिल से हमारा नाता है कुछ और न आता हो हमको
है प्रीत जहाँ की रीत सदा मैं गीत वहाँ के गाता हूँ भारत का रहने वाला हूँ भारत की बात सुनाता हूँ काले-गोरे का भेद नहीं हर दिल से हमारा नाता है कुछ और न आता हो हमको
read moreShiwalika_SSS
Kashmir 🇮🇳🇮🇳🇮🇳 नयन कमल माँ भारती के देखो आज हर्ष झलकाते हैं, देख अखंड सौंदर्य उसका हम नित-नित शीश झुकाते हैं। प्रतीक्षा सात दशकों की आज अंततः फलीभूत हुई, 15 अगस्त पूर्व ही चलो आज स्वतंत्रता दिवस मनाते हैं। #kashmir #article370 #article35a #abolished #conpleteindia #newindia #independenceday #pmmodi #nozotonews #nozotohindi #hindishayri #hindipoetry
Rohit Saini
साथ तेरा मिले मुझको दिल चाहता है, पर जाने किन मजबूरी से पीछे रहता है । खुवाइशे मेरी कई दबी है वक़्क़्त में, तेरी न रहे अधूरी कोई सोच के पीछे रहता हूँ । हाथो में हाथ तेरा लेकर रिमझिम सावन चाहता हूँ, पर जाने किन मजबूरी से समर में घाव सहता हूँ । भीग न जाये चक्षु तेरे वक़्क़्त मेरे की आड़ में, निज-निज नित-नित देख कदम ना आगे बढ़ाता हूँ । हाँ मै भी संग तेरे चलना चाहता हूँ, पर जाने किन मजबूरी से पीछे रहता हूँ $रोहित सैनी$
Rohit Saini
साथ तेरा मिले मुझको दिल चाहता है, पर जाने किन मजबूरी से पीछे रहता है । खुवाइशे मेरी कई दबी है वक़्क़्त में, तेरी न रह जाये अधूरी कोई सोच के पीछे हटता हूँ । हाथो में हाथ तेरा लेकर रिमझिम सावन चाहता हूँ, पर जाने किन मजबूरी से समर में घाव सहता हूँ । भीग न जाये चक्षु तेरे वक़्क़्त मेरे की आड़ में, निज-निज नित-नित देख के कदम पीछे हटाता हूँ । हाँ मै भी संग तेरे चलना चाहता हूँ, पर जाने किन मजबूरी से पीछे रहता हूँ । $रोहित सैनी......$
Sweta Baisla
किसी बहते झरने सा है ये जीवन जो नित प्रवाहित होता है नित नई धाराओ का समावेश करके
ओम भक्त "मोहन" (कलम मेवाड़ री)
देश वतन मेरा वहाँ जा रहा है ,जिसके लायक था,,,परम वैभवं नेतुतंस्वराष्ट्रंम्,, देश मेरा विकास के चरम पर,अग्रसर है नित नित,,कदम कदम लिख रहा कहानी एक कदम पुरोधा,,निज जीवन का त्याग कर,बनकर वो संन्यासी सा राम,,,,,लेकर यह सकल्प ,,,,, सौगंध मुझे इस मिट्टी की,यह देश नही झुकने दुँगा,,,,,,,,,मेरा वतन विश्व पटल पर अपनी छाप छोडने जा रहा है,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,, ओम भक्त मोहन बनाम कलम मेवाड की,,,,,,यह मेरे विचार है मेरे देखने का तरीका है,,हो सकता है मेरे विचार आपको पसंद नही लेकिन मै आपके विचारो को प्रकट करने मे सहायता करुँगा,,,,वाल्तेयर सर की यह पंक्ति मेरी प्रेरणास्त्रोत है
देश मेरा विकास के चरम पर,अग्रसर है नित नित,,कदम कदम लिख रहा कहानी एक कदम पुरोधा,,निज जीवन का त्याग कर,बनकर वो संन्यासी सा राम,,,,,लेकर यह सकल्प ,,,,, सौगंध मुझे इस मिट्टी की,यह देश नही झुकने दुँगा,,,,,,,,,मेरा वतन विश्व पटल पर अपनी छाप छोडने जा रहा है,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,, ओम भक्त मोहन बनाम कलम मेवाड की,,,,,,यह मेरे विचार है मेरे देखने का तरीका है,,हो सकता है मेरे विचार आपको पसंद नही लेकिन मै आपके विचारो को प्रकट करने मे सहायता करुँगा,,,,वाल्तेयर सर की यह पंक्ति मेरी प्रेरणास्त्रोत है
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