Nojoto: Largest Storytelling Platform

बदनामी की कैसी संध्या भाग्य हमारा लाया है। प्रेम,स

बदनामी की कैसी संध्या भाग्य हमारा लाया है।
प्रेम,समर्पण,आज़ादी का हमने कैसा ये फल पाया है।१।
जिस माँ ने पाला उसको अपने तन का लहू पिलाकर।
आज उसी माँ को बेटी ने अपना दुश्मन बतलाया है।२।
जिस भाई ने तेरी ख़ातिर जगभर  से रार ठाना था ।
आज उसी भाई को देखो,
कैसे बहन ने ही उसकी झुठलाया है।३।
देखो दौड़ना सीख गई है चलते चलते जाने कब ।

बदनामी की कैसी संध्या भाग्य हमारा लाया है। प्रेम,समर्पण,आज़ादी का हमने कैसा ये फल पाया है।१। जिस माँ ने पाला उसको अपने तन का लहू पिलाकर। आज उसी माँ को बेटी ने अपना दुश्मन बतलाया है।२। जिस भाई ने तेरी ख़ातिर जगभर से रार ठाना था । आज उसी भाई को देखो, कैसे बहन ने ही उसकी झुठलाया है।३। देखो दौड़ना सीख गई है चलते चलते जाने कब । #Poetry #Love #Family #Thoughts #writersofindia #wordporn #writeaway #writersofinstagram #quoteoftheday #quotestagram #wordswag #wordsofwisdom #writersofig #poem #feelings #inspirationalquotes #yourquote #RESPECT #qotd #instawriters #igwriters #igwritersclub #yqbaba #yqdidi #newwritersclub #vद्रोही

783 Views