Find the Latest Status about wants poem from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, wants poem.
The Kane
White मोबाइल पर पढ़ते बच्चे ऐसे आगे बढ़ते बच्चे बिना परीक्षा अगली कक्षा घर बैठे ही चढ़ते बच्चे बिना संग मित्रों में खेले नई जिंदगी गढ़ते बच्चे खोया बचपन, दोष समूचा कोरोना पर मढ़ते बच्चे ©The Kane #poem
Sai Angel Shaayari
कोई स्त्री कभी ताज महल नहीं चाहती वो चाहती है सिर्फ मान-सम्मान, इज्ज़त और क़दर । No Woman Ever Wants The Taj Mahal. She Just Wants Respect , Honour And Appreciation. ©Sai Angel Shaayari कोई स्त्री कभी ताज महल नहीं चाहती वो चाहती है सिर्फ मान-सम्मान, इज्ज़त और क़दर । No Woman Ever Wants The Taj Mahal. She Just Wants Respect
कोई स्त्री कभी ताज महल नहीं चाहती वो चाहती है सिर्फ मान-सम्मान, इज्ज़त और क़दर । No Woman Ever Wants The Taj Mahal. She Just Wants Respect #Life
read moreInternet Jockey
Red lights can't stop who wants to fly. ©Internet Jockey Red lights can't stop who wants to fly.
Red lights can't stop who wants to fly. #Quotes
read moreishant Thakur
White ह्बायों के रुख से लगता है कि रुखसत हो जाएगी बरसात बेदर्द समां बदलेगा और आँखों से थम जाएगी बरसात . अब जब थम गयी हैं बरसात तो किसान तरसा पानी को बो वैठा हैं इसी आस मे कि अब कब आएगी बरसात . दिल की बगिया को इस मोसम से कोई नहीं रही आस आजाओ तुम इस बे रूखे मोसम में बन के बरसात . चांदनी चादर बन ढक लेती हैं जब गलतफेहमियां हर रात तब सुबह नई किरणों से फिर होती हें खुसिओं की बरसात . सुबह की पहली किरण जब छू लेती हें तेरी बंद पलकें चारों तरफ कलिओं से तेरी खुशबू की हो जाती बरसात . नहा धो कर चमक जाती हर चोटी धोलाधार की जब पश्चिम से बादल गरजते चमकते बनते बरसात ©ishant Thakur prakrti poem #Lake #poem #tranding
प्रेरक विचार
आखिर सब कुछ इतना बदल क्यों गया मौसम बदले,कपड़े बदले और लोग भी बदल गये लेकिन, ये नहीं पता था कि उनके जज्बात भी बदल जायेंगे नहीं सोचा था कि,..अब घर के रिश्ते भी सिर्फ़ रिस्तेदार बन जाएंगे..... ©प्रेरक विचार #modern logo ke naye zaazzbat wants money 🤑 baaki bhaad mai jaye riste naateh
Capital_Jadon
क्या करोगे यूँ रातों को गुफ़्तगू तो कर रहे हो हमसे, जो दिल लगा बैठे तो क्या करोगे मानता हु कि अभी हम कुछ नहीं तुम्हारे, मगर जो हमे कुछ मान बैठे तो क्या करोगे यूँ रातों को गुफ़्तगू तो कर रहे हो हमसे, जो दिल लगा बैठे तो क्या करोगे ये प्यार की बातें किताबों में रहने दो, हकीकत में दिल लगा बैठे, तो उजड जाओगे कहते है फिर दुबारा नहीं बसा करते,उजड़े हुए दिल जो हमारे होगये ,तो क्या करोगे यूँ रातों को गुफ़्तगू तो कर रहे हो हमसे, जो दिल लगा बैठे तो क्या करोगे क्या कर पाओगी यकीन फिर से इश्क़ पे, या ज़माने के डर से बिछड़े तो न जाओगे बन्झर से दिलों के इस बीरान सफर में ताउम्र साथ चल पाओगे क्या कह पाओगे ज़माने को की फिर से इश्क हुआ है, या डर के ज़माने से फिर भागा जाओगे ©Capital_Jadon #poem
Aarti Sirsat
वक्त शायद जख़्मो को भर भी दे, मगर जाओं... जिंदगी से पूछकर आओं... क्या वोह मेरी उम्र की भरपाई कर पायेगी....! ©Aarti Sirsat #poem