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person
लाखों बात कहने को रखा था पर मेरी बातें कोई समझता ही नहीं यह दुनिया बड़ी बेरहम है यहां पर कोई अपना ही नहीं खुशी की तलाश मैंने बहुत ही की थी पर वो कभी भी मिलती ही नहीं मन बैरागी हो गया था ऐसा के तन्हा रहने का आदत पड़ गया ©person शब्द है
Nilam Agarwalla
White अक्षर अक्षर मिलकर बन जाते हैं शब्द। शब्द शब्द मिलकर कहते मन का दर्द।। कभी छंद में ढ़लकर बन जाते हैं गीत। कभी कहानी बनकर दिखलाते हैं प्रीत।। कभी दोजख दिखलाते कभी जन्नत से मिलवाते। दुःख सुख दोनों ही से अपना रिश्ता निभाते। अक्षर ही से 'राम' बनता अक्षर ही से बने रहिम। जाति-धर्म भेदभाव नहीं न कोई हिन्दू मुस्लिम।। - निलम ©Nilam Agarwalla #शब्द
Priyanka Jaiswal
White शब्द शब्दच सुख,शब्दच दुःख, शब्दच आहे भावना.. शब्दातच आयुष्य आपले, सामावले आहे रे मना... शब्दच हसवतात, शब्दच रडवतात, शब्दच घेतात परीक्षा आयुष्याची.. शब्दाविना व्यर्थ सर्व, नाही मजा जीवन जगण्याची.. शब्दच आहे प्रेम,शब्दच द्वेष आहे, शब्द म्हणजे देवाने,आपल्याला दिलेले वरदान आहे.. म्हणून वापरा शब्द जपून आपले, दुखऊ नका कोणाचे मन.. आयुष्यात परत येणार नाही, निघून गेलेले क्षण.. ©Priyanka Jaiswal #शब्द
Shashi Bhushan Mishra
White शान्त बैठा है सुलगता मन, चाँदनी से भर गया आँगन, दर्द से राहत मिली मन को, कोई आकर मल गया चंदन, जब उगा दिनमान के जैसा, रौशनी से भर गया प्रांगण, चमकता नभ में सितारों सा, बहारें करती चरण वंदन, गर्व करता राष्ट्र का गौरव, है तुम्हारा सतत अभिनंदन, ज्ञान है अनमोल जीवन में, नमक बिन फीका है व्यंजन, खिल गई है कली बगिया में, भ्रमर का मनुहार है 'गुंजन', --शशि भूषण मिश्र 'गुंजन' प्रयागराज उ•प्र• ©Shashi Bhushan Mishra #चाँदनी से भर गया आँगन#
Anuj Ray
White अंदर की रोशनी " न जाने कब से ढके पड़े थे, अमावस के अंधेरों से दिल के वीराने। प्यार से एक निगाह डाल के तूने, दिल के अंदर की रोशनी रोशन कर दी। जगमगा उठा है दिल का हर कोना, शहर की रोशनी भी आज कमतर लगती। खुशी से पागल है तमन्ना दिल की, बताना मुश्किल है इतनी खुशियां भर दीं ©Anuj Ray # खुशियां भर दी "
Srk writes
मुद्दते बीत गई ख्वाब सुहाना देखे; :: जगता रहता है हर नींद में बिस्तर मेरा ©Srk writes # नींद नहीं आती रात भर
Neel
भर आई आँखें पर.. क्यूं नमी हाथों में थी, दिल में था दर्द पर.. क्यूं गमी बातों में थी। समझ ही न आया कि.. रेत सा क्यूं वक्त था, धड़कनें थी मद्धम पर.. रवानगी सांसों में थी। 🍁🍁🍁 ©Neel भर आई आँखें 🍁
kunti sharma
कुछ शब्द सिर्फ तुम्हारे लिए हम तुम्हारे लिए और तुम हमारे लिए ©kunti sharma #शब्द