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Arora PR

खंडहर #कविता

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Suditi Jha

यूं खंडहर न होती जिंदगी मेरी..
लोग अपना कहकर 
दिल में रह कर 
फिर छोड़कर गए हैं। #qsstichonpic2049 
#खंडहर 
#दिल 
#छोड़कर 
#शायरीमित्र 
#शायरी 
#अल्फाज़_ 
#शायरी_के_अल्फ़ाज़

Shiva hooda

खंडहर #जानकारी

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लगता नहीं है मन मेरा इस  बेजान हुए जहां में
उठो लो ना अब मुझे इस खंडहर हुए मकान से।
ना यहां रुह को सकुन है ना दिल में आराम है,
धर्म और जातियों में बटा संसार है,
मैं बड़ा मै बड़ा करके हो रहा नरसंहार है।
लगता नहीं मन मेंरा इस जलते हुए मशान में,
उठा लो ना अब मुझे इस खंडहर हुऐ मकान से।
 मुहब्बत की बात करते हैं,
और परमाणु हथियारों निर्माण करते हैं।
एक दूसरे को सिने से लगाकर पीठ पर वार करते हैं।
लगता नहीं मन मेरा गिर रहे मानव प्रवेश में,
उठा लो ना अब मुझे इस खंडहर हुए मकान से।
जगंलौ की वो दुनिया तबाह कर दी हमने अपने अहम
धरती को जागिर बना लिया अपनी पता नहीं किस वहम में,
स्वर्ग से नरक बन गया जहां मानव के कहर में।
लगता नहीं मन मेंरा इस तपते हुए रेगिस्तान में,
उठा लो ना अब मुझे ईस खंडहर हुए मकान से।

©Shiva hooda खंडहर

sarika

खंडहर

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स्वार्थी रिश्ते और मकड़ी के जाले ,
अगर जिंदगी और मकान में लग जाये  तो ..!!
उसे खंडहर बना देते हैं,
इसलिए  उसे समय रहते हटा दीजिए..!! खंडहर

Nilam Agarwalla

वहां जो भी जाता है लौटकर नहीं आता। वहां भूतों का डेरा है,बुरी आत्माओं का बसेरा है। तुम भूलकर भी उधर का रूख मत करना, वरना बेमौत मारे जाओगे।

©Nilam Agarwalla #खंडहर

untoldstoryy1

हर रोज आधी रात एक बुरी आत्मा उस खंडहर में नृत्य करती है
और फिर अचानक पायल कि झनकार बंद होते हि
जोर जोर से कभी रोने की आवाज आती है
तो कभी हंसने की आवाज और कभी कभी
जोर जोर से चीखने की आवाज आती है
ऐसा लगता हो जैसे वो दर्द में हो या फिर
उसकी कोई खास चिज़ खो गई हो।
और फिर चीखते चीखते अचानक
उस आत्मा की आवाज शांत हो जाती है।

©untoldstoryy1 #एक_आत्मा #खंडहर

Anjali Soni

खंडहर दिल

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Jai Singh

मैं चाहतों का खंडहर हूं
चाहतों की दौड़ में
मेरी चाहतें मुझे निगल गयीं

आर्ज़ुओं को क्या कहूँ
नासूर की तरह फैल कर
चाहतें,चाहतों को ही छल गयीं

आकांक्षा बढ़ उच्चाकांक्षा हुईं
उच्चाकांक्षा बढ़कर महत्वाकांक्षा
फिर सुरसा बन, खुशियां निगल गयीं

इक प्रेम की तमन्ना थी 
एक साथ कि थी अभिलाषा
ये कागजों के बोझ तले 
सारी रूमानियत कुचल गयी

मैं चाहतों का खंडहर हूं
चाहतों की दौड़ में
मेरी चाहतें मुझे निगल गयीं #खंडहर
#चाहतें
#ख्वाहिशें

Alok Verma "" Rajvansh "Rasik" ""

खंडहर के शिवा...........!

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हाल भी कैसे अब उसको बयां करूं,
दर्द मुझसे ज्यादा उसके पास है।
मैं तो उस चांदनी के समान हूं,
खंडहर  के शिवा कुछ न पास है।
रूह भी जिसे सोचकर काप जाए,
ऐसी जिंदगी हमारे ही पास है।
लगता है कहीं जमी में जिस्म दबाए बैठा हूं,
ख्वाहिशें मांगने को जमीं से हाथ फैलाए बैठा हूं,
अब इससे ज्यादा मैं "रसिक" क्या बताऊं,
खंडहर के शिवा कुछ न पास है......! खंडहर के शिवा...........!

सहज

वो खंडहर यादें #शायरी #सहज

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कुछ खंडहर यादें दफ्न हो गई इश्क़ की दीवार मे

वो न हमको याद आये, हम थे जिनके प्यार मे

#सहज वो खंडहर यादें
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