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pawan RaikwaR MP
Vedantika
धागे की कला, जादू पैदा करे। एक खाली सूती कपड़े पर। वर्षों के अनुभव के साथ, आंखों में आंसू लेकर जिंदा है। हमारा देश भारत विविधताओं से भरा हुआ है। यहां सभी धर्मों और सभी संस्कृतियों का सम्मान किया जाता है। हमारे देश की संस्कृति ने दुनिया की अन्य
अनिता कुमावत
स्त्रियाँ टांके लगा लेती है अपनी ख्वाहिशों को बुन लेती है कुछ नये ख्वाब रंग देती है अपने प्रेम- स्नेह से रिश्तों के कच्चे धागे को और पक्का कर लेती उन्हें उम्र भर के लिए ...!!!! स्त्रियाँ बुनाई सिलाई कढ़ाई में निपुण होती हैं ना 😊😊 #स्त्री #ख्वाहिशें #निपुण #yqdidi #yqhindi #pinterest
Shree
कायदे जब ये कह कर सिखाए जाएंगे कि कपड़े ठीक से पहनो, शर्म-लाज, साज-श्रृंगार कम किया करो, कह कर बुरी नजर से बचाएंगे। कामकाज, रहने के ढंग बताए जाएंगे कि कल कोई शिकायत ना आए घर। कसीदे कढ़ाई और सिलाई शौक नहीं,देवन फरियाने के काम आएंगे। जब पुरुष 'आजादी' का नाम दे बहन बेटियों का हक उन तक पहुंचाएंगे। समझौते की उम्र नहीं होती। अब बस, अन्यथा पीढ़ियों तक पछताएंगे। ___________________________ समझौते की उम्र नहीं होती... स्त्री और समाज कायदे जब ये कह कर सिखाए जाएंगे कि कपड़े ठीक से पहनो, शर्म-लाज, साज-श्रृंगार कम किया करो, कह कर बु
Hrishabh Trivedi
The Non-Family Man (भाग -3) (अनुशीर्षक में पढ़े) भाग 1 और 2 के लिए, यहां क्लिक करें 👉👉 #the_non_family_man डिस्क्लेमर:- कहानी के सभी पात्र और घटनाएं काल्पनिक हैं, इन्हें अपने ऊपर ना लें, औ
अशेष_शून्य
प्रेम .... संदेश ❤️ Dedicating a #testimonial to मृणाल चतुर्वेदी🐼 प्रिय मृगनयनी❤️ ...मेरी मृणाल हम सबकी प्यारी सी गुड़िया ....,,❣️🥰 तुम तक तुम्हारे अपनों ने क
Harshita Dawar
Written by Harshita ✍️✍️ #Jazzbaat तिलस्मीं दुनियां का अंदाज़ा लगाया। कुदरत पर गुमान नज़र आया। खेल निराले अंदाज से खेलती है। मौत के बाद भी आत्मयों को बिखेर देती है। कहीं बेवक्तं की मौंत।कभी ख़ुद ख़ुशी। कहीं ख़ुद वक़्त आया तो। दूत बनकर ज़िन्दगी स्वर्णं अक्षरों । से स्वर्गं कहीं नरक की कढ़ाई । में ताकते चुनते देखते। सवाल जवाबों से मरहम पट्टीं । बांध कोने मै बिठाते। कहीं कर्मों का हिसाबं लेते । हसीं के ठहाकें भी मारे जाते। कोई टिप्पणी नहीं कस्ता वहां। प्रभु के दरबार में एक है जहां। ख़ुद पर गुमान था। गुरूंर रेत के ढ़ेर के साथ ही उड़ते नज़र आए। कुंसूर इतना सा था के दिल में उतर जाओ। या दिल से उतर जाओ। कुछ शब्दों का खेल है जनाब। कुछ ऐसा कर जाओ। हम रहे ना रहे।। बस एहसास कायमं रहे। दिलों में शामिंल हमारी। बात कयामं रहे। #words #spirituality #depth #yqquotes #yqquotes #yqhindi Written by Harshita ✍️✍️ #Jazzbaat तिलस्मीं दुनियां का अंदाज़ा लगाया। कुदरत पर गुम
इकराश़
कुछ यूँ मेरी कलम की कमाई है, माँ की साड़ी किश्तों में चुकाई है। - Anu Chhangani कुछ यूँ मेरे कलम की कमाई है, पापा की छड़ी हर बार खाई है। Anu आपकी 700वी रचना पर आपको बहुत बहुत बधाई और एक छोटी सी भेंट। आशा करता हूँ आपको ये पसन्द आए। आप इसी तरह बेहतरीन लिखती रहें और हमे आपको पढ़ने
शुभी
मेथी, गोभी, मटर सब चबाया है, मेरे प्यारे मुर्गे तू बड़ा याद आया है. (check caption) (Vegetarians proceed with caution. 🙈) Ek sacha non-vegetarian hi is virah ki peeda ko samajh sakta hai. ------------------------ सावन के जाते ही श्राद्ध आ जाते हैं, सांस लूँ उस