Find the Latest Status about सहभागी लोकतंत्र पर निबंध from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, सहभागी लोकतंत्र पर निबंध.
Ankit Upadhyay....
White गरीब की थाली में पुलाव आ गया लगता है शहर में चुनाव आ गया ©Ankit Upadhyay.... #election #कर्म_को_मतदान #धर्म_को_नहीं #एकमत__नीडरता ...... #लोकतंत्र
कवि: अंजान
White जो दीप खुद बुझा हुवा हो वो दीप न दूजा जला सकता जो निंदो में खुद सोया हुवा हो वो औरों को न जगा सकता 'अंजान' उठो मतदान करो क्यों झूठें वादों में खोए हुवे हो? जो खुद न कदम बढ़ा सकता तो कोई और भी न साथ आ सकता। ©कवि: अंजान #VoteForIndia #लोकतंत्र #मतदान #कविता #शायरी #election #Poetry #Shayari
अदनासा-
White जनसेवक जी की बातें थी सारी इधर-उधर की जिसका प्रचार प्रसार भी धुआंधार करवाया है जन भी बेशक़ सब समेट लो जो इधर-उधर है देखो-देखो लोकतंत्र का पर्व चुनाव आ गया है ©अदनासा- #भारत #लोकतंत्र #पर्व #चुनाव #मतदान #Vote #VoteForIndia #Instagram #Facebook #अदनासा
अदनासा-
जनता हूं मैं जानता हूं दब के रह जाती है मेरी हर आह, हमारे साहिब-ए-मसनद के हर दरबारी के वाह वाह में। ©अदनासा- #हिंदी #सत्ता #जनता #लोकतंत्र #आह #दरबारी #वाह #againstthetide #Instagram #अदनासा
अदनासा-
Praveen Jain "पल्लव"
पल्लव की डायरी लोकतंत्र का उत्सव,दमनकारी एजेंसियों का तांडव चल रहा है अन्याय अत्याचारी हो शासक खाल जनता और विपक्ष की उधेड़ रहा है मूल मुद्दों को दबाकर तौहीन सबकी कर रहा है डर और भय का माहौल पैदा कर व्यवस्था सब कराह रही है रावण कंस दुर्योजन जैसा अंहकारी शासक जनता और विपक्ष को पनपने नही दे रहा है प्रवीण जैन पल्लव ©Praveen Jain "पल्लव" #Likho लोकतंत्र का उत्सव दमनकारी #nojotohindi
अदनासा-
अदनासा-
शुद्ध, श्वेत एवं सत्य पत्र जनता के लिए, जनता द्वारा, मात्र जन हित में। महान लोकतंत्र (Democracy) की सबसे महत्वपूर्ण रीढ़ (Foundation) हमारा संविधान (Constitution) है, परंतु हमारे इस संविधान को मजबूत बनाने हेतु, इन चतुर्थ (Fourth) स्तंभों (Pillars) का सशक्त होना भी अतिआवश्यक है, जो सौभाग्य से अनगिनत उतार चढ़ाव के बावजूद भी अब तक खड़ा है। परंतु प्रश्न है आख़िर कब तक ? हमारे लोकतंत्र का प्रथम स्तंभ है कार्यकारणी (Executive), द्वितीय स्तंभ है विधायिका (Legislature), तृतीय स्तंभ है न्यायपालिका (Judiciary) मगर यह जो चतुर्थ स्तंभ है, वह भले ही संविधान से जुड़ा हुआ ना हो, परंतु चतुर्थ स्तंभ का महत्व, संविधान के अन्य स्तंभों में इसलिए आवश्यक है कि यह किसी भी सत्ता को निरंकुश होने नही देती, इनके कड़वे सवाल ही हर सत्ता के लिए लगाम का कार्य करती है, वह है पत्रकारिता (Journalism) जो अत्यधिक महत्वपूर्ण है। वैसे वर्तमान की वास्तविकता यह है कि यहां तो पत्रकारिता ही सत्ता के साथ बेलगाम हो चुकी है, वो चैनल निजी है, परंतु यह भी धीरे-धीरे पूर्णतया सरकारी होते जा रहे है या यूं कहें कि दरबारी हो चुकी है, कहने का उद्देश्य यह की चतुर्थ स्तंभ की स्थिति दयनीय एवं चिंताजनक है, साथ ही जो प्रथम एवं द्वितीय स्तंभ है वह भी लगभग सत्ता के चरणों में नतमस्तक है। वर्तमान में हमारे लोकतंत्र के पास मात्र तृतीय स्तंभ ही है जो अब तक सरकार की जवाबदेही तय कर रही है, मुझे यह कहने में कोई भय या दबाव बिल्कुल नही है, इसलिए मैं यह कह सकता हूं कि, हमारे महान लोकतंत्र एवं महान संविधान की नींव, इज्ज़त, लाज, मान, सम्मान एवं सुरक्षा मात्र तृतीय स्तंभ न्यायपालिका पर ही निर्भर है। अच्छा लगे तो अपना लो अपना समझो बुरा लगे भी तो ठुकरा दो बेगाना समझो ©अदनासा- #हिंदी #लोकतंत्र #संविधान #कार्यकारणी #विधायिका #न्यायपालिका #पत्रकारिता #Instagram #Facebook #अदनासा