Find the Latest Status about आसिफ पसरा family from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, आसिफ पसरा family.
Mehfil-e-Mohabbat
हो लेने दो बारिश हम भी रो लेंगे दिल में हैं कुछ ज़ख़्म पुराने धो लेंगे ©Mehfil-e-Mohabbat ✍️♥️ सदार आसिफ ♥️✍️
anand saraf
देश की नाकाम सरकार के पास इसके अलावा कोई रास्ता ही नही बचा। देश प्रधान सहित जिम्मेदार जब संक्रमण फैल रहा था, तब चुनाव में लाखों भीड़ एकत्रित कर खुद कोरोना का जहर फैलाने में मदमस्त थे, अबिनकी नाकामियों से देश मे चहुओर मातम पसरा हुआ है, कोरोना कर्फ्यू के सिवा कोई दूसरा विकल्प बचा ही नही ©anand saraf देश मे पसरा मातम
Mukhauta_
सन्नाटा पसरा चारो ओर, एक तेरे सांसों की आवाज़ सुनाई दे, चाँदनी चूमती गालों को, सूरत पर चमक दिखाई दे, मैं खामोश सा निहारता, तेरे जुल्फों को संवारता, करता गुरूर खुद पर, अपनी किस्मत पर विचारता, भर कर आगोश में, तुझको प्यार से दुलारता, चाहे बंद हो या खुली मेरी पलके, सिर्फ तू ही तू दिखाई दे, सन्नाटा पसरा चारो ओर, तेरे सांसों की आवाज़ सुनाई दे #सन्नाटा #पसरा #चारों #ओर #ShivEye
asif
बेजुबान--- वालिद आसिफ @अख्तर मंदी हुई सी आँखे थी ओर मुड़ी हुई सी उंगलियाँ थी, ये अहसास-ए-बयाँ तब का हे,जब दूनियाँ मेरे लिये सोयी हुई थी । चुपके से---चुपके से मेरे पास वो आता था ओर धीरे से मेरी बन्द मुट्ठी में उसकी उँगली जमाता था , कभी सिने से लगाता था, तो कभी नंगे बदन पर नया कपड़ा वो पहनाता था , त्योहार व्योहार की समझ ना थी मुझे फिर भी हर त्योहार मेरे साथ मनाता था , कभी ईद पर छोटे- छोटे कुर्ते वो सिलवाता था तो कभी होली पर रंग बिरंगी पिचकारी वो दिलवाता था वो बाप ही तो था जो मुझें सुबह की पहली किरण ओर ढलती शाम से मिलवाता था । घर में खाने के लाले थे फिर भी FD में पेसा जोडता था , खुद के सपनों को अधूरा रखकर मेरे सपनों के बारें में सोचता था ,कभी झुलो में झुलाता तो कभी करतब दिखाता था, व्क़्त का----वक़्त का सिलसिला इस तरह बदल रहा था , की वो अपनी उम्र घटा कर मेरी उम्र बडा रहा था । मेरे चेहरे का नूर ओर अपनी झुर्रिया साथ में बडा रहा था, मुझें नये नये कपडों से तो खुद को पुरानो से सजा रहा था, वो बाप ही तो था जो मुझें दरख्त के सबसे उँचे पतौ से मिलवा रहा था , फिर भी मे उसे परेशान करने में कोई कसर नही छोड रहा था ,चाहे रातों को जगाना हो या बिस्तर को गीला करना हो, फिर भी वो मेरी खुशी के लिये कभी घोड़ा तो कभी हाथी बन रहा था । अल्फजो से--- अल्फज़ो से तो गूँगा था में फिर भी वो मेरे इशारे समझ रहा था, में आज भी हेरान हूँ इस बात से की वो मेरे लिये अकेला सब कुछ केसे कर रहा था ,अरे----अरे वो बाप ही तो था जो मेरी दी हुई परेशानियों को अपने गुलशन का गुल समझ रहा था । व्क़्त का पहियाँ आगे बडा में भी अब उसे समझने लगा था उसके रंग में ढलने लगा था ओर रोज उसके ऑफ़िस से आने का इन्तजार करने लगा था क्योकि अब वो मुझें बाप नहीं जिंदगी का सबसे सुकून भरा पल लगने लगा था, उसकी घर मे दस्तक को मह्सूस करने लगा लगा था ओर उसके आने के इन्तजार में वाकर से इधर-उधर झाकने लगा था । व्क़्त कटा तो में अब जवानी की दहलीज पर कदम रखने लगा था, उसके प्यार ओर समर्पण को उसका फर्ज समझने लगा था , अब उसका मेरे लिये रातों को जगना ओर मेरे लिये कभी हाथी तो कभी घोड़ा बनना कहाँ याद आ रहा था, उसका मेरे लिये पूरी रात एक करवट में सोना भी में भूलने लगा था ,अपनी जवानी के आगे उसकी नसीहतों को बचपना समझने लगा था । अब व्क़्त के साथ मेरी फितरत वो समझने लगा था अब बेटा बाप से क्या बाप बेटे से डरने लगा था । माना कि आज तुम मसरूफ हो ओर वो उम्रदराज हे--लेकिन बाप से ही हर नये दिन की सुबाह ओर शाम हे, बाप हे तो बाजार के हर खिलौने अपने हे ओर बाप हे तो सभी सपनें अपने हे । माना कि वो आज हयात हे लेकिन कल वो नहीं होगा,फिर कल से उसके आने का इन्तजार नही होगा । मत भूलो उसकी नसीहतों को इतनी आसानी से पाना चाहतें हो अगर असल जन्नत को तो वो ही कल जन्नत का सरदार होगा-----वही जन्नत का सरदार होगा । बेजुबान।।।।।#।।।वालिद part/05/23/02/2020 आसिफ @अख्तर
Saurabh pal 85
आज प्रयागराज में पसरा सन्नाटा है..!! ©Saurabh Pal आज प्रयागराज में पसरा सन्नाटा है
ASIF TEETA
vedaant hansabat
यह जो सन्नाटा पसरा है ना जनाब किसी से इश्क का नतीजा है। हमने किया हम बेवफा वो बेहयाई के बाद भी पाकीज़ा हैं। ✍️vedaant hansabat यह जो सन्नाटा पसरा है ना #happyteddyday #valentine day