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Mamta kumari
प्रिये माँ और पापा सादर प्रणाम मैं आपके कृपा से ठीक हूँ आशा है कि आप सभी भी ठीक होंगें ।मैं यहाँ रात-दिन मेहनत करती हूँ कि आपके सपनें को साकार कर सकूं ।और आपके उमीद पर खड़ा हो सकू। और मैं क्या लिखूं बड़ो को प्रणाम छोटो को मधुर प्यार । आपके तनुजा ममता । ©Mamta Kumari पुत्री का पत्र पिता के नाम ।
पुत्री का पत्र पिता के नाम ।
read moreRabendra pal @ Bablu Raj
अलवर उद्दीन ऐबक..! अक्सर लोग चकाचौंध में यह भूल जाते हैं भारत को भी हिंदुस्तान बोल जाते हैं जो नाम दिया था एक मुसलमान ने बड़े गुस्से से हिंदू कहने वाले भूल जाते हैं ©Bablu Raj Divy अलवर उद्दीन ऐबक
अलवर उद्दीन ऐबक #शायरी
read moreRabendra pal @ Bablu Raj
अलवर उद्दीन ऐवक..! अक्सर लोग चकाचौंध में यह भूल जाते हैं भारत को भी हिंदुस्तान बोल जाते हैं जो नाम दिया था एक मुसलमान ने बड़े गुस्से से हिंदू कहने वाले भूल जाते हैं ©Bablu Raj Divy #DarkCity अलवर उद्दीन ऐबक
Shilpi Rani Kaushik
तुम्हारे लिए प्लेन राइस,ब्राउन राइस, फ्राइड राइस ये राइस वो राइस होता होगा जो महंगी प्लेटों में परोसता होगा.. जहाँ बारिश होते ही एक्साइटिंग एडवेंचर के मध्य इनके दावत उड़ाये जाते हो .. प्यार मोहब्बत का खुमार परवान चढ़ता हो.. पैसे से इन्हें और इनके स्वाद को तौला जाता हो.. चाहे कितना क्यों न अन्न बर्बाद हो टशन में कमी नहीं होना माँगता क्योंकि आपने फुल पेमेंट जो किया है इसका। इसलिए तुम्हें नहीं पता है इनका मोल ... क्यों सर से लगाते हम इनको .. क्यों सर झुकता है अपने आप इनके आगे ?? कभी महसूस नहीं कर सकते तुम। हम तो तस्वीर देख के ही चरण छू लिए माता जी का। क्योंकि हमें पता है इनका मोल। भारत में जिइये.. भारत में दौड़िये.. भारत में कूदिये फांदिये.. माटी-धूरा-कादो से लहालोट होइये फिर इस तस्वीर का मर्म समझ में आयेगा और इस भारत भूमि का भी। रोपा-मास भारत का भविष्य तय करता है।.. माता जी को नमन उस भविष्य का आधार है। *गर्व है कि मै कुर्मी किसान पुत्री हूँ* नमन माते !! नमन भूमि!! हमर माटी हमर चिन्हारी जय जय छत्तीसगढ़ महतारी।। SRK❤ #मैं किसान की पुत्री हूँ❤
#मैं किसान की पुत्री हूँ❤
read moreShilpa Yadav
कितना सुन्दर यह क्षण है ,पापा का जन्मदिन है डरकर हम यहीं कहते हैं, पापा से सब डरते हैंं कांप,कांपकर स्वरों से अधूरी बातें करते हैं,हां पापा से अपने, हम सब ह्रदय की बातें कहते हैं छिपकर सही मगर पापा मेरे सबसे स्नेह करते हैं हम सब भी नहीं हैं कम बिना पाप के अधूरे लगते हैं जब कभी हो जाते हैं गुस्सा आंखें लाल करते हैं ,नाना का नाती आकर बोला नाना कमेडी अच्छा करते हैं एक छोटा सा है घर मेरा, जिसमें रहतें कभी कभी सदस्य बारह कितना प्यारा लगता है तब ,मेरा ह्रदय बस कुछ कहता है पापा के बिन सबका सारा सपना टूटा बिखरा लगता है।। मेरे पापा एक अध्यापक हैं जो आज भी मुझे पढा़ते हैं खुश हूं मैं भी क्योंकि पापा मेरे संग कइयों का अस्तित्व बनाते हैं ©शिल्पा यादव जन्मदिन पर पापा की पुत्री का पिता के प्रति असीम/प्रेम/भावना/अभिव्यक्ति/ पत्र
जन्मदिन पर पापा की पुत्री का पिता के प्रति असीम/प्रेम/भावना/अभिव्यक्ति/ पत्र #कविता
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