Find the Best हरी Shayari, Status, Quotes from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos aboutहरीरा क्या होता है, हरी है राजनीति पढ़ी आये, हरीरा meaning in hindi, हरीफ meaning in hindi, हरीश नाम की राशि,
Amit Singhal "Aseemit"
हाथों में हरी चूड़ियाँ और गले में मंगल सूत्र पहनकर, सुहागिन इतराती है, जैसे निकल आते हों उसके पर। ©Amit Singhal "Aseemit" #हरी #चूड़ियाँ
Rishi
ऋषि की कलम से... #rishi #जेठ #मनमानी #धरती #हरी #ओढ़नी #जल #Save_Earth #planttrees #SadStorytelling
read moreसुधा भारद्वाज"निराकृति"
#राम(#हरी,#प्रभु) ******************* #रोम_रोम_बसे_राम_हमारे! #ढूँढें_उनको_सकल_जहाँ_रे! #दर्शन_बडा_ही_दुर्लभ_उनका। #मोह_के_वश_हर_एक_यहाँ_रे! #लख_कर_भी_लख_ना_सके_हम। #मद_माया_का_झीना_परदा_पडा_रे! @सुधा भारद्वाज"निराकृति" (सर्वाधिकार सुरक्षित) ©सुधा भारद्वाज"निराकृति" #अन्तर्यामी
kanchan Yadav
सुनो एक दरबार लगाना हरि के द्वारे अर्जी हैं लगाना दुनिया में बड़ा क्लेश भरा स्वामी हमें उससे पार लगाना अपने चरण पद बैठाना ओ गिरधारी दया हम पर बरसाना सुनो एक दरबार लगाना हरि के द्वारे अर्जी है लगाना भूल चूक हो माफ कर सही राह दिखाना छल द्वेष ना मन घर करें सत्कर्म राह सदा पथ चलाना सुनो एक दरबार लगाना हरि के द्वारे अर्जी है लगाना क्रोध चिंतन विकार से बचाना स्वतंत्र मन प्रेम सुधा रस बरसाना गुण अवगुण की परिभाषा समझें मोह माया के बंधन से मुक्ति दिलाना सुनो एक दरबार लगाना हरि के द्वारे अर्जी है लगाना ! ©kanchan Yadav #हरी
Abundance
#हरी दूब नदी के आस पास कुछ हरी दूब में लड़ाईया हो गयी..... लड़ाई इस बात की थी लहरों ने किसे पहले डुबोया.... नदी ने कहाँ तुम लोग कही ओर रह लो बस मेरे आस पास नहीं जाओ पहाड़ो के आस पास रह लो..... एक छोटी दूब ने कहाँ ओ नदी, तुम हमें छोड़ कही ओर चली जाओ... हम कही ओर क्यूँ जाये...... नदी रोने लगी मै नहीं जाउंगी तुमलोगो को छोड़ कर ख़ुशी में छोटी दूब खुद झुक गयी ओर नदी की लहरे इतनी तेज हुई की वो डूब गयी...... जब लहरे स्थिर हुई छोटी दूब ने कहाँ देखो मै जीत गयी 😊😊😊......... ©Mallika #Mallika #Nojoto love #300.0K #Thoughts
#Mallika love 300.0K Thoughts
read moreNC
ऐसी लागि लगन जब से हरी से प्रीत लगी बिसरी जग उम्मीद जगी सांझ सुबह का बोध नहीं अब हर हार भी मोहे जीत लगी ।। #nojotohindi#लगन#हरी#preet#kavita#poetry
Dharmendra Azad
श्रीकृष्ण जन्माष्टमी के अवसर पर एक प्रेम कविता इस तरह भी- ओ राधेय ! ले लो आलू प्याज टमाटर...! चिल्लाते हुये जब गुजरता है सब्जीवाला तो उसकी आवाज से ज्यादा फैलती है हरी धनिया की खुशबू ! इस हरी धनिया को कितना ही मसलो कितना ही कुचलो ये और और महकती है और चटनी में मिलाये जाने वाले आम लहसुन प्याज टमाटर तो छोड़िये कुचलने वाले शिलपट्टे को भी अपने रंग में रंग लेती है ... ओ राधेय ! क्या ऐसा ही था तेरा प्रेम ...!!!!! @धर्मेन्द्र तिजोरी वाले "आजाद"
Anchal Dubey "अंकन"
देख मिलती हैं तेरी चूड़ियाँ , मुझे भा गई हरी हरी चूड़ियाँ,,
देख मिलती हैं तेरी चूड़ियाँ , मुझे भा गई हरी हरी चूड़ियाँ,,
read moreSunita Bishnolia
पर्यावरण (दोहे) हरी-भरी धरती रहे,नीला हो आकाश, स्वच्छ बहे सरिता सभी,स्वच्छ सूर्य प्रकाश।। पेड़ों को मत काटिए,करें धरा श्रृंगार। माटी को ये बांधते,ये जीवन आधार।। सुनीता बिश्नोलिया©® शुद्ध हवा में साँस लें,कोई न काटे पेड़। आस-पास भी साफ़ हो, सभी बचाएँ पेड़।। धरती माता ने दिए,हमें अतुल भण्डार, स्वच्छ पर्यावरण रखें, मानें हम उपकार।। कानन-नग-नदियाँ सभी,धरती के श्रृंगार। दोहन इनका कम करें,मानें सब उपहार।। साफ-स्वच्छ गर नीर हो,नहीं करें गर व्यर्थ। कोख न सूखे मात की, जल से रहें समर्थ। धूल-धुआँ गुब्बार ही,दिखते चारों ओर। दूषित-पर्यावरण हुआ,चले न कोई जोर।। कान फाड़ते ढोल हैं,फूहड़ बजते गीत, हद से ज्यादा शोर है,खोये मधुरिम गीत। हरी-भरी खुशहाली के,धरती भूली गीत। मैली सी वसुधा हुई,भूली सुर संगीत।। पर्यावरण स्वच्छ राखिये,ये जीवन आधार, खुद से करते प्यार हम,कीजे इससे प्यार। #सुनीता बिश्नोलिया #जयपुर #पर्यावरण #स्वच्छ #पर्यावरण