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Anjali Singhal

"मन हुआ जाए बाबरा कि तुझको ही मैं प्यार करूँ, करना पड़े चाहें कितना भी बस तेरा ही इंतज़ार करूँ! पर धड़कनों को अपनी मैं कब तक बेक़रार करूँ, #Shayari #AnjaliSinghal

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Mansha Sharma

#मन के भाव सुरमन_✍️ #जुदा #UskeHaath #nojato #शायरी

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🍁मन के भाव 🍁
जुदा 
मकसद जिंदगी का  तुम्हे ना भूलाना था  
हमे तेरी नजरों से  कभी दूर ना जाना था
हमे तो तुम्हारी जिंदगी मे  कमल सा खिल जाना था 
मगर हमे यह मालूम ना था  अगले ही पल जुदा हो जाना था 
सितम यह कैसा हुआ  तू मेरा होकर भी मेरा ना हुआ 
बहुत समझाया  अपने दिल को
 यह दर्द सदा ना रहेगा  ना सदा रहेगी यह  जिंदगी 
जिसने तुझे भूला दिया ऐ दिले नादान  क्यों करता है उसकी बंदगी 
अब ना कोई मनशा  ना कोई शिकवा ही रहा 
बस एक बार तेरे हाथो मे  मेरे हाथ को छूने का अहसास रहा 
जुदाई का वक्त  हमे बेकरार करता रहा 
 हम  तो नजर आयेगे  दीवार की  बनकर तस्वीर 
शायद यही लिखी थी  हमारी तकदीर 
कमल की पंखुड़ियों के जैसे  हम बिखर गये 
मिलने से पहले  ही बिछड़ गये 
तुम खुश रहना अपनी जिंदगी मे  कहीं विरानो मे  मै खो जाती हूं 
तुमसे दूर हो कर मै सदा के लिए मौत की नींद सो जाती हूं 
स्वरचित _सुरमन_✍️
3/6/22

©Mansha Sharma #मन के भाव 
#सुरमन_✍️ 
#जुदा 
#UskeHaath 
#nojato

Sudhir Sky

#mountain # मन #Love

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Shivkumar

mountain Mountains कविता ये पर्वत कहता तुम शीश उठाकर , तुम भी ऊँचे बन जाओ । ये सागर कहता तुम लहराकर , तेरे मन में जो

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दोस्ती

#साहस अगर मन मैं हो तो बड़ा काम भी छोटा लगता है #IPL2024

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Hina Kumari my Instagram ID @Rakesh radhika sarda

#SunSeअपने विचारों से लड़ने की कोशिश मत करो, उन्हें अपने ऊपर नियंत्रण दिए बिना आने और जाने दो। जब आप कुछ भी नहीं कर रहे होते,न शरीर से,न मन #महसूस #Bhakti #ज़िक्र

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Shashi Bhushan Mishra

#यह इलाज है इस मन का# #शायरी

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White यह इलाज है इस मन का, 
ध्यान करो तुम जीवन का,

सुंदर  भुवन  मिला सबको, 
ख़्याल रखो मानव तन का,

ऋषि-मुनियों की धरा यही, 
आभारी हूँ  कण-कण का,

सागर  सरिता  पर्वत  सब, 
यह  निवास  गोवर्धन  का,

शिक्षा-दीक्षा संस्कार  सब, 
संसाधन ज्ञान संवर्द्धन का,

मानवता  की सेवा करना, 
सर्वोत्तम  सुख  निर्धन का,

अवसर का कर सदुपयोग, 
है मंत्र यही अब गुंजन का,
--शशि भूषण मिश्र 'गुंजन'
        चेन्नई तमिलनाडु

©Shashi Bhushan Mishra #यह इलाज है इस मन का#

Mansha Sharma

#मन के भाव सुरमन_✍️ #दोस्ती #Dosti #nojato #मोटिवेशनल

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White 🍁 मन के भाव 🍁
दोस्ती 
तुम्हारे बिना  हर साथ अधूरा  हर बात अधूरी 
तुम्हारे बिना  दोस्तो  दोस्ती है अधूरी
दोस्ती मे कभी  ना ये हाथ छूटे  और ना कभी  यह साथ छूटे 
चाहे अपने पराये  या सारी दुनिया रुठे 
मनशा यही  गर हम  साथ मिलकर चलेगे 
एक दिन  आसमान की बुलंदियों  को छुयेगे 
हम साथ है  साथ रहेगे  दोस्तो तुम्हारे बिना  एक पल ना रहेगे 
दोस्तो मे दोस्ती है  तो आपस मे  हर सुख-दुख कहेगे 
दोस्ती मे  जब दोस्तो मे  हो गम 
हमारी  भी  आंख  होगी  नम 
दोस्ती मे दोस्त के  कंधे पर  हाथ  रख कहेगे 
ऐ दोस्त  तू  क्यों है  परेशान  क्यों  तेरी  आंखे है नम 
तेरी परेशानी मे  साथ खड़े है हम
सच्चे दोस्त  वही होते है  जिनकी दोस्ती मे  हो दम
स्वरचित_सुरमन_✍️
9/8/21

©Mansha Sharma #मन के भाव 
#सुरमन_✍️ 
#दोस्ती 
#Dosti 
#nojato

MAHENDRA SINGH PRAKHAR

चौपाई छन्द :- पीर पराई बनी बिवाई ।  हमको आज कहाँ ले आयी ।। मन के अपनी बात छुपाऊँ  । मन ही मन अब रोता जाऊँ ।। चंचल नैनो की थी माया । जो कंच #कविता

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चौपाई छन्द :-

पीर पराई बनी बिवाई ।  हमको आज कहाँ ले आयी ।।
मन के अपनी बात छुपाऊँ  । मन ही मन अब रोता जाऊँ ।।

चंचल नैनो की थी माया । जो कंचन तन हमको भाया ।।
नागिन बन रजनी है डसती । सखी सहेली हँसती तकती ।।

कौन जगत में है अब अपना । यह जग तो है झूठा सपना ।।
आस दिखाए राह न पाये । सच को बोल बहुत पछताये ।।

यह जग है झूठों की नगरी । बहु तय चमके खाली गगरी ।।
देख-देख हमहूँ ललचाये । भागे पीछे हाथ न आये ।।

खाया वह मार उसूलो से । औ जग के बड़े रसूलों से ।।
पाठ पढ़ाया उतना बोलो । पहले तोलो फिर मुँह खोलो ।।

आज न कोई उनसे पूछे । जिनकी लम्बी काली मूछे ।
स्वेत रंग का पहने कुर्ता । बना रहे पब्लिक का भुर्ता ।।

बन नीरज रवि रहा अकाशा । देता जग को नित्य दिलाशा ।
दो रोटी की मन को आशा । जीवन की इतनी परिभाषा ।।

लोभ मोह सुख साधन ढूढ़े । खोजे पथ फिर टेढे़ मेंढ़े ।
बहुत तीव्र है मन की इच्छा । भरे नहीं यह पाकर भिच्छा ।।

राधे-राधे रटते-रटते । कट जायेंगे ये भी रस्ते ।
अपनी करता राधे रानी । जिनकी है हर बात बखानी ।

प्रेम अटल है तेरा मेरा । क्या लेना अग्नी का फेरा ।
जब चाहूँ मैं कर लूँ दर्शन । कहता हर पल यह मेरा मन ।।

२४/०४/२०२४     -    महेन्द्र सिंह प्रखर

©MAHENDRA SINGH PRAKHAR चौपाई छन्द :-

पीर पराई बनी बिवाई ।  हमको आज कहाँ ले आयी ।।
मन के अपनी बात छुपाऊँ  । मन ही मन अब रोता जाऊँ ।।

चंचल नैनो की थी माया । जो कंच

Sadhna Sarkar

#ankahe_jazbat मन के विचारों को लिखा है, इसे लिखने में हुई मेरी भूल त्रुटि को क्षमा करें 🙏 #कविता

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