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Sh@kila Niy@z
White कभी-कभी ना इंसान के पास वो हक़ ही नहीं होता कि वो किसी ख़ास शख़्स के लिए अपने दिल में मौजूद एहसास और जज़्बात उस शख़्स के सामने ज़ाहिर कर सके । इक ऐसा शख़्स जिस से उसका सिर्फ़ दिल-ओ-रूह से जुड़ा हुआ रिश्ता है लेकिन उस रिश्ते का कोई नाम ही नहीं, बस इक बेनाम सा रिश्ता । किसी ऐसे शख़्स के लिए अपने जज़्बात ज़ाहिर करने से वो इंसान ख़ुद को इसलिए नहीं रोकता कि वो ज़माने से या फ़िर लोगों से डरता है, बल्कि ख़ुद को इसलिए रोक लेता है क्यूॅंकि वो अपने रब से डरता है और इस बात से डरता है कि कहीं वो उस दूसरे शख़्स को ऐसी उम्मीदों में मुब्तिला न कर दे जो शायद कभी पूरी नहीं हो सकती और उम्मीदें टूट जाने पर उस शख़्स का यक़ीन भी कहीं टूट न जाए, वो शख़्स फ़िर उस इंसान को कहीं बेवफ़ा और धोखेबाज़ इंसान ना समझने लग जाए। बस इसलिए वो इंसान ख़ामोश रहता है और उस शख़्स के लिए दिल में मौजूद एहसासात और जज़्बात कभी ज़ाहिर नहीं कर पाता। वो दूसरा शख़्स अगर अपनी समझ से समझ जाए उन जज़्बातों को और उन सारी अनकही बातों को, तभी वो बेनाम सा रिश्ता बरक़रार रह पाता है वर्ना ग़लत-फ़हमियों और ख़ामोशियों की गहराइयों में डूब जाता है, ख़त्म हो जाता है । #bas yunhi ek khayaal ....... ©Sh@kila Niy@z #basekkhayaal #basyunhi #haq #Rishta #understanding #ehsaas #jazbaat #nojotohindi #Quotes #31dec
Sh@kila Niy@z
White रिश्तों में या फ़िर हम इंसानों के दरमियाॅं इख़्तिलाफ़ात इसलिए नहीं होते कि हम सोच अलग-अलग रखते हैं, बल्कि ज़्यादातर इख़्तिलाफ़ात इसलिए होते हैं क्यूॅंकि हम इक-दूसरे की सही सोच का भी एहतराम नहीं करते। किसी की सोच ही अगर ग़लत हो तो बात और है लेकिन सिर्फ़ किसी और इंसान की सोच हमारी सोच से मेल नहीं खाती बस इसलिए हम अक्सर उसकी सोच को रद कर देते हैं। इख़्तिलाफ़ात फ़िर इसी वजह से होते हैं कि हम उस इंसान को उसकी सोच के साथ क़ुबूल ही नहीं कर पाते। इंसान नेक और अच्छा है अगर तो उसकी सोच भी वैसी ही होती है, लेकिन ये ज़रूरी नहीं कि आप की और उसकी सोच हर बार एक जैसी ही हो, आप की सोच सही है तो हो सकता है कि उसकी सोच भी सही ही हो। हमें ये समझना चाहिए कि हर एक का किसी भी बात को देखने का नज़रिया अलग होता है और हर इंसान अपने नज़रिए के हिसाब से ही सोचता है। किसी बात को लेकर आप जो सोचते हैं उसी बात पर कोई और कुछ अलग भी तो सोच सकता है। इसलिए रिश्तों की ख़ूबसूरती बना कर रखनी है अगर तो ... " दूसरों को और उनकी सोच को समझने की कोशिश किया कीजिए। और दूसरे भी आप को समझ सके, ऐसा मौक़ा दूसरों को भी दिया कीजिए।" ©Sh@kila Niy@z #basekkhayaal #basyunhi #rishte #Soch #NAZARIYA #understanding #nojotohindi #Quotes #20Dec
Sh@kila Niy@z
White इंसान अक्सर कुछ नहीं भूलता, इंसान के ज़ेहन में अक्सर सब कुछ महफूज़ रहता है। बस वक़्त के साथ इंसान ये बात समझ जाता है कि, हर बात को ज़ाहिर करना भी ज़रूरी नहीं होता है । और जिस ने समझ लिया हो आप को, फ़िर वो आप की ख़ामोशियों को ना समझे, भला ऐसा भी कभी होता है?? ख़ैर, कभी-कभी ऐसा भी हो सकता है । #bas yunhi ....... ©Sh@kila Niy@z #basekkhayaal #basyunhi #understanding #nojotohindi #Quotes #12Dec
Sh@kila Niy@z
White इंसान जब किसी दूसरे इंसान को समझने लगता है तब आहिस्ता-आहिस्ता वो उस इंसान के दिल को, जज़्बात को,उसकी बातों को और उसकी ख़ामोशी को भी समझने लग जाता है। लेकिन इन सारी बातों को समझने के लिए पहले उस इंसान को और उसके हालात को समझना ज़रूरी होता है । ©Sh@kila Niy@z #basekkhayaal #basyunhi #Insaan #Haalaat #understanding #nojotohindi #Quotes #6Dec
Sh@kila Niy@z
White किसी ने कहा है कि .... दिल पर लगी बातें अगर बोल दी जाऍं तो रिश्ता मर जाता है और अगर दिल में रख ली जाऍं तो दिल मर जाता है। और इसलिए मुझे ऐसा लगता है कि, जिसके साथ हम रिश्ता निभा रहे हैं उस इंसान का सच में समझदार होना ज़रूरी होता है क्यूॅंकि समझदार और सब्र रखनेवाला इंसान ही हमारी नाराज़गी में कही हुई हर अच्छी-बुरी बात को ख़ामोशी से सुन लेता है और बर्दाश्त भी कर लेता है, और हमें भी दिल पर लगी हुई बातों को दिल में दबा कर रखना नहीं पड़ता, फ़िर दिल पर बोझ नहीं बढ़ता और ऐसे लोगों का साथ हमारे दिल को कभी मरने नहीं देता । #bas yunhi ek khayaal ....... ©Sh@kila Niy@z #basekkhayaal #basyunhi #Dil #rishte #baatein #understanding #nojotohindi #Quotes #26november #flowers
Sh@kila Niy@z
©Sh@kila Niy@z #basekkhayaal #basyunhi #understanding #baatein #nojotohindi #Quotes #24Nov
Sh@kila Niy@z
White एक ख़ामोशी के तो बहुत सारे मतलब हो सकते हैं जैसे कि, ग़ुस्सा, नाराज़गी, शर्मिंदगी, दर्द,तकलीफ़, ग़म। या फ़िर इंसान तब भी ख़ामोश रहता है जब वो किसी को नज़र-अंदाज़ करना चाहता है । इंसान तब भी ख़ामोश रहता है जब वो किसी से बात नहीं करना चाहता है । और तब भी ख़ामोश रहता है जब किसी से बेज़ार हो चुका होता है । अब उसकी रोज़-रोज़ की ख़ामोशी का इन में से क्या मतलब समझना चाहिए था मुझे?? वो किस वजह से ख़ामोश रहता है ये बिन बताए कैसे समझ आता मुझे?? "उसकी हर रोज़ की ख़ामोशी का मतलब हम समझ ही पाएं नहीं" "इसलिए अब उसके सामने ख़ामोश ही हो गए हैं हम भी" #bas yunhi ....... ©Sh@kila Niy@z #basekkhayaal #basyunhi #Khamoshi #understanding #nojotohindi #Quotes #18Nov