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Sunil Zarikar
माझ्या प्रेमाची ओळख तुच ग.. माझ्या अंतर्मनात तुझेच प्रतिबिंब ग.. माझे आयुष्य खुखकर तुझ्यामुळेच ग.. आई वडिलांनंतर माझ्यावर निस्वार्थ प्रेम करणारी फक्त तुच ग.. माझ्या जीवनाचा आधार तुच ग.. संकटात खंबीरपणे साथ फक्त तुझीच ग.. स्वतःच्या पेक्षा माझ्यावर जास्त प्रेम करणारी तुच ग.. आयुष्य आनंदी करणारी माझी अर्धांगिनी तुच ग.. माझ्या प्रेमाची ओळख तुच ग.. माझ्या प्रेमाची ओळख तुच ग..
yogesh atmaram ambawale
लाडाची,प्रेमाची, माझ्या खूप आवडीची, कल्पनाच करवत नाही, हिच्याशिवाय जीवनाची. दिपल #दिपल #लाडाची #withoutyou #mylife #mydaughter #yqtaai #yqmarathi लाडाची,प्रेमाची,माझ्या खूप आवडीची, कल्पनाच नाही करवत,हिच्याशिवाय जीवन
Samdarshi PrajaMandal
हे जगदीश्वर तुम्हें प्रणाम हे सर्वेश्वर तुम्हें प्रणाम । जहां देखता हूं वहां तुम ही तुम हो । झरनों में तुम हो, झीलों में तुम हो ।। पृथ्वी में तुम हो, शैलो में तुम हो सूरज में तुम हो, चंदा में तुम हो, जहां दृष्टि डालो वहां तुम ही तुम हो । जिधर देखता हूं उधर तुम ही तुम हो । तारों में तुम हो, सितारों में तुम हो । देवों में तुम हो, दनुजो में तुम हो । गंगा में तुम हो ,यमुना में तुम हो, हर मन में तुम हो, हर तन में तुम हो , धरा से गगन तक रमे तुम ही तुम हो । जिधर देखता हूं वहां तुम ही तुम हो ।। ग
Rajkamal Gupta
अल्फ़ाज़ मेरे दिल के, अल्फाज मेरे दिल के तन्हाईयाँ जो लिखी थी हमने सोचा न था कभी की नज़रो के सामने रहोगी हमारे पर हम दिल - ऐ - अल्फाज बयान ना कर पाएँगे । चाहना तो हम मे भी बहुत खूब लिखा है दिल - ऐ - दर्खाश्त, दरमीयाँ.... दिल भले मेरा जख्मी है, लेकिन सांसो में अब भी मगरूरी है मुर्खते - ऐ - जुबाने खारोफ कभी ऐहसास दिला न पाएँगे हम । ग
yashu tiwari
एक बेटी क्या कहती है... ♥️ आपकी आवाज सुनकर ही सुकून का एहसास होने लगता है पापा आपकी उदासी एक अनकहा संबल आपके प्यार की खुशबु जैसे महके सुगंधित मंदिर की अगरबत्ती आपकी विश्वसनीयता मेरा खुद पर और गर्व महसूस करना आपकी छोटी सी मुस्कान मेरी बड़ी सी ताकत आप का हरपल का साथ ख़ुशी का एहसास इस जहा मे मेरे लिए आप से ज्यादा कोई खास नही है कोई भी नही...पापा, आपके भार तले दबी है मेरी हर एक साँस ।।आकांक्षा सिंह (romi) ग
shubham hirode
मैं जिस दिन कहँ दु उस से मिलने को। वो कॉल तक न उठाये मुझसे बात करने को।। अब और क्या खाविशे रुकू में अपनी जुस्तजू में। वो जो कहे कि हमी तो बेठे हैं समझने को।। बता तकदीर के कौनसे पन्ने पर लिखू। वो जो अब दिल चाहता हैं करने को।। सब अपनी वफादारी अपने रब से रखो। इंसानो मैं क्या रखा हैं अब मिलने को।। जुस्तजू-मन की सोच में ग
Charu Chauhan