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Nitu Singh जज़्बातदिलके
AJAY NAYAK
आओ हम उड़ना सीखें मंजिल को जीतना सीखें दूर गगन तक उड़कर जाएं अपने बल पर, अपनी खुद की एक अलग शख्शियत बनाए –अjay नायक ‘वशिष्ठ’ ©AJAY NAYAK #retro आओ हम उड़ना सीखें मंजिल को जीतना सीखें दूर गगन तक उड़कर जाएं अपने बल पर, अपनी खुद की एक अलग शख्शियत बनाए –अjay नायक ‘वशिष्ठ’ Shilp
mr.krishna101_official
who is KRISHNA MOHAN MISHRA SOFTWARE ENGINEER ✨❤️? कृष्ण मोहन मिश्रा ✨ ❤️ का जन्म 10 अप्रैल 2002 को हुआ था, उनके पिता का नाम धर्म नाथ मिश्रा और माता का नाम ब्युटी देवी है, और उनका जन्म स्थान सुल्तानपुर, मोहिउद्दीननगर बिहार है। किसी भी अन्य मध्यवर्गीय व्यक्ति की तरह, वह भी महत्वाकांक्षी और बड़े सपने देखने वाला था, लेकिन दूसरों के विपरीत, उसमें वास्तव में बड़ा काम करने और जोखिम लेने की क्षमता थी। तो उनकी कहानी तब शुरू हुई जब वह 10वीं कक्षा में थे, उन्हें 10वीं और 12वीं में 60% अंक मिले, जिसके बाद उन्हें अपना खुद का व्यवसाय शुरू करने का अवसर मिला। बिजनेस करना उनका आइडिया तो था ही लेकिन इसके साथ-साथ वह इंजीनियर भी बनना चाहते थे। और वह आज खुद को सबसे ज्यादा धन्यवाद देता है, कभी हार न मानने के लिए, कभी पीछे मुड़कर नहीं देखने के लिए, कभी असफलता से नहीं डरने के लिए, वह दौड़ना चाहता था, वह उड़ना चाहता था, और गिरना भी चाहता था लेकिन वह कभी रुकना नहीं चाहता था, और न ही उसने, आज 4 साल बाद लोग उसे नहीं जानते लेकिन लोग उसे जानते हैं, उसके माता-पिता जो उसके खिलाफ थे, अब किसी से भी ज्यादा उस पर गर्व करते हैं। वह आज एक स्व-निर्मित सेलिब्रिटी, एक डिजिटल निर्माता और एक सॉफ्टवेयर इंजीनियर के रूप में जाने जाते हैं, वह वह विलासितापूर्ण जीवन जीते हैं जिसका उन्होंने सपना देखा था, लेकिन अगर वह कर सकते हैं तो हम कर सकते हैं, और यही कारण है कि वह सोशल मीडिया के माध्यम से युवाओं को अपना हाथ लेने में मदद करते हैं और पूरे विश्वास और धैर्य के साथ चलना शुरू करें। नफरत करने वाले नफरत करेंगे लेकिन यह उनकी यात्रा का अंत नहीं है, उन्हें उम्मीद है कि अगली बार जब हम लेंगे तो वह विश्व स्तर पर प्रसिद्ध होंगे। वह नहीं रुकेगा, वह असफल हो सकता है लेकिन वह कभी नहीं रुकेगा! ©mr.krishna101_official #Krishna mohan mishra ✨ ❤️ #mr.krishna101_official #biography of KRISHNA MOHAN MISHRA ✨❤️ कृष्ण मोहन मिश्रा ✨ ❤️ का जन्म 10 अप्रैल 2002 क
alfaaz_or_ishq
Babita Singh
दिखती हूं बहुत खुश मैं और मेरी दिखावटी हसीं तो कितना कुछ बयां कर लेती हैन पर जो मेरी आंखे नम है वो कुछ और कह जाती हैं ©Babita Singh कहती हैं सुकून कहां है चारों ओर तो शोर है लगता है हां अब किसीको किसीकी फ़िक्र नहीं है ... बस एक तरफा रिश्ता निभाती चली हैं कहीं खुश रहना क
Rajesh vyas kavi
"तुम क्या रुकोगे मुझे अभी, ऊंची उड़ान बाकी है _ यह जो तुम देख रहे हो_ अरे, यह तो मेरी पहली झांकी है।।" © Rajesh vyas kavi मुझे उड़ना है ___ #thought #my #Feeling #fly #GoldenHour
Mr RN SINGH
तेरे जाने के बाद महसूस हुआ थोड़ी सी आवारगी भी जरूरी है जिंदगी में कैद में रहकर परिंदे अक्सर उड़ना भूल जाते हैं ©Mr RN SINGH तेरे जाने के बाद महसूस हुआ थोड़ी सी आवारगी भी जरूरी है जिंदगी में कैद में रहकर परिंदे अक्सर उड़ना भूल जाते हैं#Dhund #MrRNSINGH #nojotohind
Babita Singh
ए जिन्दगी थक गई हूं तुमसे अब लड़ते-लड़ते कभी तो मोहब्बत करले ए जिंदगी तू मुझे समझाना कम करके समझना चालू करदे 🙏 ©Babita Singh उड़ना चाहती हूं रूकना नहीं मेरे जो पंख है उसे कोई तोड़ना नहीं संसार का भ्रमण तो करती हूं सबसे सुंदर मैं लगती हूं हर कोई मुझे छूना चाहता है ब
Rakesh frnds4ever
रात में सोने के समय ख्वाबों, यादों की तितलियां मेरे सिरहाने आ बैठती हैं पंख फड़फड़ाती हैं, उड़ना चाहती हैं गीली ,मुलायम और सुलगते हुए अहसास वाली ये तितलियां जाने क्यों आंखे गीली और मन को भिगो जाती हैं,,, कभी जो छूने की कोशिश करो , तो पंख फड़फड़ा, झटपटाती हुई उड़ जाती हैं, वक्त के मानिंद हाथ नहीं आने वाली ये तितलियां यादें पीछे छोड़ते हुए खुद याद बन जाती हैं,, हर रात नींद की आगोस में, जीवन के टूटते बिखरते सपनों, खब्बों, यादों में विचरने वाली इन मायूस तितलियों को अपने सिरहाने खोजता रहता हूं मैं,,,,.... ©Rakesh frnds4ever #Titliyaan रात में सोने के समय ख्वाबों, #यादों की #तितलियां मेरे सिरहाने आ बैठती हैं #पंख फड़फड़ाती हैं, उड़ना चाहती हैं गीली ,मुलायम और
Sushma
मन तीतली सा उड़ना चाहे, और जिम्मेदारियों ने बांध रखा है पैरों में रिश्तों के जंजीर... ना मोह छूटता है रिश्तों का ना दिल भुलने देता है मन कि उड़ान को... ©Sushma #Titliyaan मन तीतली सा उड़ना चाहे, और जिम्मेदारियों ने बांध रखा है पैरों में रिश्तों के जंजीर... ना मोह छूटता है रिश्तों का ना दिल भुलन